अमरावती

कवि कुसुमाग्रज के जन्मदिन पर मना मराठी भाषा गौरव सप्ताह

मराठी एवं वर्‍हाडी भाषा ने मुझे तारा : हास्य सम्राट मिर्झा रफी अहमद बेग

अमरावती/दि.20 – मराठी व विशेषतः वर्‍हाडी भाषा से मेरे जीवन में अच्छे दिन आये,मेरे मान-सम्मान की भूख मिटाई, इन शब्दों में हास्य सम्राट डॉ. मिर्झा रफी अहमद बेग ने मराठी के बारे में कृतज्ञता व्यक्त की.
यशवंतराव चव्हाण मुक्त विद्यापीठ,नाशिक कुसुमाग्रज अध्यासन व्दारा मराठी भाषा गौरव सप्ताह निमित्त आयोजित वर्‍हाडी कवितांचा नजराणा इस विशेष कार्यक्रम के प्रस्तुतिकरण में उन्होंने अपने विचार व्यक्त किये. उन्होंने कहा कि वर्‍हाडी कविताओं ने ही मुझे आधार दिया. इसके साथ ही वर्‍हाडी कवि प्रा. देवीदास सोटे, डॉ.विठ्ठलवाघ का अत्यंत आदरपूर्वक नामोल्लेख कर डॉ. मिर्झा ने कहा कि वे प्रा. सोटे का शागीर्द हैं. उनसे ही वर्‍हाडी कविता करने की स्फूर्ति मिली.
धर्माचं अन भाषेचं काय आहे नातं, भाषा म्हणजे धान्य अन धर्म म्हणजे जात ऐसी दमदार शुरुआत कर डॉ. मिर्झा ने कहा कि जरी असली माझ्या आचरणात मुसलमानी, भारतीय माणूस मी, विचारांनी हिंदुस्थानी.कवि व्दारा हास्य की निर्मिति किस तरह होती है, इस बारे में उन्होंने सोदाहरण स्पष्ट किया. कार्यक्रम में उन्होंने कोरोना काल में मास्क के कारण होने वाली मजा, विविध हास्य कविता प्रस्तुत की. कवि कुसुमाग्रज के जन्मदिन निमित्त मराठी भाषा गौरव सप्ताह निमित्त झूम व यु ट्युब लिंक व्दारा आयोजित इस कार्यक्रम के प्रास्ताविक से विद्यापीठ के कुलसचिव डॉ. दिनेश भोंडे ने मराठी भाषा गौरव सप्ताह आयोजित कर ने की भूमिका विषद की. इस समय अमरावती विभागीय केंद्र के संचालक डॉ.अंबादास मोहिते ने डॉ. मिर्झा का परिचय करा उनका दुपट्टा व पौधा देकर स्वागत किया.
विद्यापीठ के जनसंपर्क अधिकारी दत्ता पाटील ने अतिथियों व उपस्थितों का आभार माना. कार्यक्रम को सफल बनाने राजेश बर्वे, विभागीय केंद्र के कक्ष अधिकारी प्रकाश मानकर,विनोद इंगले, विवेक गुल्हाने,सागर उज्जैनकर,राहुल गायकवाड़,प्रवीण धर्माले, बबन हजारे, अब्दुल रजाक, आसावरी धनोडकर ने परिश्रम किया.

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