परिवार नियोजन शल्यक्रिया में पुरूषों का प्रमाण नगण्य
कोविड काल के दौरान शल्यक्रियाओं का प्रमाण घटा
अमरावती/दि.26- जनसंख्या नियंत्रण हेतु परिवार नियोजन की शल्यक्रिया बेहद प्रभावी माध्यम है. किंतु इसमें पुरूषों का प्रमाण बेहद नगण्य है. विगत तीन वर्षों के आंकडों को देखते हुए कहा जा सकता है कि, परिवार नियोजन की शल्यक्रिया करानेवालों में पुरूषों का प्रतिशत चार फिसद से अधिक नहीं है. इसके साथ ही कोविड संक्रमण काल के दौरान परिवार नियोजन की शल्यक्रियाओं में काफी कमी भी आयी है.
बता दें कि, जनसंख्या विस्फोट को रोकने हेतु सात दशक पहले परिवार नियोजन की शल्यक्रिया करने की संकल्पना को अमल में लाया गया था. जिसके तहत ‘हम दो-हमारे दो’ का नारा भी दिया गया. जो काफी लोकप्रिय भी हुआ, लेकिन बावजूद इसके परिवार नियोजन की शल्यक्रिया करवानेवालों का प्रमाण तुलनात्मक रूप से काफी कम है. इसमें नागरिकों का सहभाग बढाने हेतु सरकार द्वारा समय-समय पर विभिन्न अभियान चलाये जाते है. साथ ही इन दिनों शल्यक्रिया में अत्याधुनिक तंत्रज्ञान का प्रयोग किया जाता है, लेकिन इसके बावजूद भी तय लक्ष्य को पूरा करना संभव नहीं हो पा रहा.
उल्लेखनीय है कि, कम संतान रहनेवाले परिवारों में बच्चों का पालन-पोषण काफी बेहतर तरीके से होता है. ऐसे में एक अथवा दो संतान होने के बाद बच्चों का जन्म रोकने हेतु महिलाओं व पुरूषों से परिवार नियोजन की शल्यक्रिया करने का आवाहन स्वास्थ्य विभाग द्वारा लगातार किया जाता है. किंतु इसे नागरिकों की ओर से अपेक्षित प्रतिसाद नहीं मिलता. साथ ही शल्यक्रिया करवानेवालों में महिलाओं की संख्या पुरूषों की तुलना में काफी अधिक है.
* पुरूषों का प्रमाण चार फीसद भी नहीं
नसबंदी करवानेवाली महिलाओ की तुलना में पुरूषों का प्रमाण विगत तीन वर्षों के दौरान चार फीसद से भी कम रहा. नसबंदी करवानेवाली महिलाओं की तुलना में पुरूषों का प्रमाण सन 2019 में 4.20 फीसद, 2020 में 3.37 फीसद तथा 2021 में मात्र 1.37 फीसद है.
* कोविड काल में घटे मामले
कोविड संक्रमण काल से पहले एक वर्ष के दौरान नसबंदी की 5 हजार से अधिक शल्यक्रियाएं हुई. लेकिन इसके बाद कोविड संक्रमण काल के दौरान सन 2020 में 3 हजार 93 तथा सन 2021 में 3 हजार 753 शल्यक्रियाएं हुई. कोविड संक्रमण का असर घटने के बाद धीरे-धीरे नसबंदी की शल्यक्रियाओं की संख्या बढती दिखाई दे रही है.
* किस वर्ष में कितनी शल्यक्रियाएं
वर्ष शल्यक्रियाएं महिला पुरूष
2019 5,157 4,949 208
2020 3,093 2,992 101
2021 3,755 3,704 51