अमरावती

विदेशी पक्षियों को लुभा रहा निसर्ग संपन्न मेलघाट

195 पक्षियों का पंजीयन, यूरोप, रशिया मंगोलियत से आगमन

चिखलदरा-/ दि. 12 मेलघाट व्याघ्र प्रकल्प सहित वन विभाग में पक्षी सप्ताह निमित्त पक्षियों का पंजीयन किया जाता है. पक्षीप्रेमियों के लिए यह शानदार अवसर है. यहां लगभग 195 पक्षियों का पंजीयन किया गया. यूरोप, रशिया, मंगोलियत से 100 से अधिक पक्षियों का आगमन हुआ
मेलघाट व्याघ्र प्रकल्प अंतर्गत सभी वन्यजीव विभाग में पक्षी सप्ताह स्थानीय शाला, महाविद्यालय, स्थानीय गांव में जनजागृति के माध्यम से उत्साह से मनाया जाता है. अकोट वन्यजीव विभाग अंतर्गत सोनाला वनपरिक्षेत्रधिकारी सुनील वाकोडे फोटोग्राफर है. उन्होंने भी वन्यप्राण्यांसहित विविध पक्षियों का फोटो कैमरे में कैद किया. मेलघाट व्याघ्र प्रकल्पसहित वन विभाग के जंगल में डेढ सौ से अधिक पक्षियों का पंजीयन पक्षीमित्र, वनाधिकारी, क्षेत्रीय वन कर्मचारी, फोटोग्राफर के कैमरे में है. उच्चश्रृंखला क्षेत्र के प्राकृतिक और कृत्रिम पनघट सहित तालाब, पेडों पर पंजीयन होने की जानकारी पक्षीमित्र संगठन के अध्यक्ष जयंत वडतकर ने दी.

पूरे राज्य में 1400 पक्षीमित्र , वनविभाग व अन्य संगठना पक्षी सप्ताह उत्साह से मनाते है. मेलघाट में 195 प्रजाती के पक्षी है. 100 से अधिक प्रजाति के विविध देश के पक्षी जिले में आते है.पक्षीप्रेमी सप्ताह उत्साह से पंजीयन कर मनाते है.

इन दुर्लभ पक्षियों का समावेश
मेलघाट में राज्य पक्षी हरियाल बडी संख्या में है. दुर्लभ समझा जानेवाला युरोपियन नीलपंख, काली टोपी का धीवर, मलबारी धनेश, हेवी मुनिया, नदी टिटवी, मलबारी, कस्तूर सर्प, गरूड सहित शूंगी घुबड, चातक, स्वर्गीय नर्तक, नवंरग, खंड्या, मोर अन्य भी प्रजाती के पक्षी है. राज्य पक्षी हरियाल बडी संख्या में है.
100 विदेशी अतिथि मुलाकात के लिए
यूरोप, रशिया, मंगोलिया, सायबेरिया सहित अन्य क्षेत्र के विदेशी अतिथि पक्षी वन और व्याघ्र प्रकल्प के जंगल में आते है. कुछ समय रूककर वे फिर वापस जाते है. खेत की फसल, अनाज, मछलिया, कीटक, मृत जानवर, जंगली फल, फुल ऐसे विविध प्रकार की खाद्य इन पक्षियों के लिए शानदार अवसर है.

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