शालाबाह्य विद्यार्थियों हेतु ‘मिशन जीरो ड्रॉप आऊट’
शिक्षा विभाग का निर्णय, 5 से 20 जुलाई तक चलेगा विशेष खोज अभियान
अमरावती/दि.30- राज्य में शालाबाह्य अनियमित व स्थलांतरित विद्यार्थियों को शिक्षा के मुख्य प्रवाह में लाने हेतु ‘मिशन जीरो ड्रॉप आऊट’ अभियान चलाने का निर्णय शालेय शिक्षा विभाग द्वारा लिया गया है. जिसके तहत विद्यार्थियों को शालाबाह्य होने से रोकने के लिए 5 से 20 जुलाई की कालावधि के दौरान यह अभियान चलाया जायेगा. जिसके अंतर्गत पात्र विद्यार्थियों की खोजबीन करते हुए उन्हें शालाओं में प्रवेशित किया जायेगा और अपनी पढाई बीच में ही छोड देनेवाले विद्यार्थियों की संख्या शून्य पर लाने का प्रयास किया जायेगा.
बता दें कि, विगत दो वर्ष के दौरान कोरोना के चलते अधिकांश जिलों में बडे पैमाने पर लोगबाग अपने परिवार सहित स्थलांतरित हुए. स्थलांतरित होनेवाले परिवार वंचित, भूमिहिन अथवा अल्पभूधारक समाज से वास्ता रखते है. अमूमन स्थलांतरण की कालावधि सितंबर से मई माह के दौरान होती है, जब ईटभट्टी, गिट्टी खदान, कोयला खदान, खेतीहर काम, निर्माण कार्य, जिनिंग मिल और सार्वजनिक विभाग के काम करने हेतु कई परिवार स्थलांतरित होते है. ऐसे में इन परिवारों के बच्चों की पढाई बीच में ही छूट जाती है. इस बात के मद्देनजर स्थलांतरित व शालाबाह्य बच्चों की पढाई बीच में ही न रूके, इस हेतु राज्य में मार्च 2021 में विशेष जांच अभियान चलाया गया था. लेकिन इसी दौरान कोविड वायरस के लगातार बढते खतरे की वजह से शालाएं अपनी पूरी क्षमता के साथ शुरू नहीं हो पायी. ऐसे में यह अभियान पूरे प्रभावी तरीके से अमल में नहीं लाया जा सका. लेकिन अब चूंकि कोविड संक्रमण का असर व खतरा काफी हद तक खत्म हो गया है और शालाओं को पूरी क्षमता के साथ शुरू कर दिया गया है. इस बात के मद्देनजर अब ‘मिशन जीरो ड्रॉप आऊट’ को पूरे प्रभावी तरीके से चलाया जायेगा. इसके तहत शालाबाह्य विद्यार्थियों की खोजबीन करने हेतु ग्राम पंचायत, नगर परिषद व मनपा क्षेत्र में जन्म-मृत्यु कार्यालय से जन्म प्रमाणपत्र के संदर्भ में जानकारी प्राप्त की जायेगी. साथ ही ‘मिशन जीरो ड्रॉप आऊट’ अभियान अंतर्गत 18 वर्ष तक की आयुवाले दिव्यांग बच्चों का भी समावेश किया जायेगा. जिसकी जिम्मेदारी महिला व बालविकास विभाग द्वारा अलग-अलग स्तर पर स्थापित बाल संरक्षण समिती पर सौंपी जायेगी.
* इन स्थानों पर होगा संरक्षण
‘मिशन जीरो ड्रॉप आऊट’ के तहत सभी घरों, बस स्थानकों, रेल्वे स्थानकोें, बाजार क्षेत्रों, ईटभट्टों, गिट्टी खदानों, शक्कर कारखानों, गांव व बस्तियों, विशेष दत्तक संस्थाओं, खेत परिसरों एवं जंगल परिसर में रहनेवाले लोगों की बस्तियों में शालाबाह्य विद्यार्थियों का खोज अभियान चलाया जायेगा.