अमरावती/दि.10 – नीयती का भी अजीब खेल है, नियती क्या-क्या रंग दिखाएगी, कोई नहीं जानता. ऐसा ही एक वाकया अमरावती शहर में सामने आया है. जहां कोरोना महामारी ने अपना भयावह रुप दिखाते हुए एक ही परिवार के तीन लोगों को एक के बाद एक मौत के आगोश में ले लिया.
यहां बता दें कि देश सहित राज्य व जिले में कोरोना महामारी कहर बरपाने का काम कर रही है. हालात काफी बिगड़ गये हैं. महामारी से बचाव के लिए लोगों को घर पर ही रहने की सलाह दी जा रही है. फिर भी कोरोना का कहर बरप ही रहा है. कोरोना का भयावह रुप शंकर नगर परिसर के महालक्ष्मी कॉलोनी में रहने वाले निंभोरकर परिवार पर इस कदर टूटा है कि पूरा परिवार ही मौत के आगोश में समा गया. महालक्ष्मी कॉलोनी में रहने वाले दामोदर निंभोरकर (68) कुछ दिनों पहले कोरोना पॉजीटीव पाये गये. वे भारतीय स्टेट बैंक के सेवानिवृत्त कर्मचारी थे. उनकी कोरोना उपचार के दौरान 23 फरवरी को अस्पताल में मृत्यु हो गई थी. घर के मुख्य व्यक्ति को कोरोना बीमारी होने के बाद उनकी देखभाल व सेवा करते समय उनकी पत्नी शारदा (65) को भी कोरोना ने अपनी चपेट में ले लिया. उन्हें जेनिथ अस्पताल के कोविड अस्पताल में भर्ती किया गया. जहां उपचार के दौरान अत्यधिक दवाईयों का उपयोग करने से उन्हें फंगल इन्फेक्शन हुआ. पश्चात पति के निधन के बाद केवल पखवाड़ेभर में ही 2 मार्च को शारदा निंभोरकर की भी मौत हो गई. निंभोरकर दंपत्ति के दोनों बेटों में से रुपेश पुणे में व राजेश मुंबई में रहता है. माता-पिता बीमार होने से दोनों तत्काल अमरावती पहुंचे थे. विशेष बात यह है कि इस दरमियान राजेश की शादी भी तय हुई थी. शादी गुडीपाडवा के दिन होने वाली थी. लेकिन शादी होने से पहले ही माता-पिता की मृत्यु हो गई. फिर भी माता-पिता की अंतिम इच्छा पूरी करने भाई रुपेश की उपस्थिति में 23 अप्रैल को राजेश का विवाह हो गया. माता-पिता कोरोना बाधित होने के बाद आयटी कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर राजेश ने पुणे से अमरावती में आकर वर्क फॉर्म होम शुरु रखा था. लेकिन शादी के बाद उसमें भी कोरोना के लक्षण दिखाई दिये. उसे उपचार के लिये 4 मई को सनशाइन अस्पताल में उपचारार्थ भर्ती कराया गया. जहां पर 9 मई को उपचार के दौरान 39 वर्षीय राजेश की मौत हो गई. एक ही परिवार के तीन सदस्यों को कोरोना ने अपनी चपेट में ले लिया. जिससे पूरा परिवार सदमे में है.