अमरावती

हाथी पर सवार होकर मां दुर्गा सुख-समृद्धि लाई

घटस्थापना और पूजन के मुहूर्त

अमरावती/दि.13– शारदीय नवरात्र में घटस्थापना का मुहूर्त आश्विन शुक्ल प्रतिपदा रविवार दिनांक 15 अक्टूबर , 2023 ई .को शारदीय नवरात्र प्रारंभ हो रहे हैं. देवी पुराण में प्रातः के समय ही देवी का आह्वान, स्थापना व पूजन करने को लिखा है , जिसमें चित्रा नक्षत्र एवं वैधृति योग को त्याज्य बताया है, किन्तु इन दोनों के आदि के दो चरणों को त्याग कर घट् स्थापना करने की अनुमति भी प्रदान की है. यथा – तदुक्तं तत्रैव कात्यायनेन प्रतिपद्याश्विने मासि भवो वैधृति चित्रयोः . आद्य पादौ परित्यज्य प्रारभेन्नवरात्रकमिति इस वर्ष आश्विन शुक्ल प्रतिपदा रविवार को चित्रा नक्षत्र सायं 06:12 बजे तक तथा वैधृति दिन के 10:24 बजे तक है . किन्तु उपरोक्त मतानुसार इस दिन चित्रा – वैधृति के प्रथम दो चरण सूर्योदय पहले की समाप्त हो चुके हैं. घटस्थापना प्रातःकाल 06:30 से 08:47 बजे तक करना सर्वश्रेष्ठ समय रहेगा. इसके अलावा अभिजित मुहूर्त्त दोपहर11:50 से 12:36 बजे तक भी घट् स्थापना की जा सकती है. चौघड़ियों के हिसाब से घट्स्थापना करने वाले प्रातः 07:55 से दिन के 12:13 बजे तक चंचल,लाभ व अमृत के चौघड़िये में तथा दोपहर बाद 01:38 से 03:04 बजे तक शुभ के चौघड़िये में भी घटस्थापना कर सकते है. देवी भागवत के अनुसार मां दुर्गा का वाहन सिंह को माना जाता है, लेकिन हर साल नवरात्रि के समय तिथि व वार के अनुसार माता अलग-अलग वाहनों पर सवार होकर धरती पर आती हैं,यानी माता सिंह की बजाय दूसरी सवारी पर सवार होकर भी पृथ्वी पर आती हैं. माता दुर्गा आती भी वाहन से हैं और जाती भी वाहन से हैं.

नवरात्रि का विशेष नक्षत्रों और योगों के साथ आना मनुष्य जीवन पर खास प्रभाव डालता है. ठीक इसी प्रकार कलश स्थापना के दिन देवी किस वाहन पर विराजित होकर पृथ्वी लोक की तरफ आ रही हैं इसका भी मानव जीवन पर विशेष असर होता है.देवीभागवत पुराण के अनुसार शशि सूर्य गजरुढा शनिभौमै तुरंगमे. गुरौशुक्रेच दोलायां बुधे नौकाप्रकीर्तिता. इस श्लोक में सप्ताह के सातों दिनों के अनुसार देवी के आगमन का अलग-अलग वाहन बताया गया है. इस वर्ष नवरात्रि रविवार से प्रारंभ होगी देवी हाथी पर सवार होकर आयेगी धार्मिक मान्यता के अनुसार नवरात्रि में जब मां दुर्गा हाथी पर सवार होकर आती हैं तो ये बेहद शुभ माना जाता है. हाथी पर सवार होकर मां दुर्गा अपने साथ ढेर सारी खुशियां और सुख-समृद्धि लेकर आती हैं. मां का वाहन हाथी ज्ञान व समृद्धि का प्रतीक है. इससे देश में आर्थिक समृद्धि आयेगी. साथ ही ज्ञान की वृद्धि होगी. हाथी को शुभ का प्रतीक माना गया है. ऐसे में आने वाला यह साल बहुत ही शुभ कार्य होगा, लोगों के बिगड़े काम बनेंगे. माता रानी की पूजा अर्चना करने वाले भक्तों पर विशेष कृपा बरसेगी.
– पंडित करण गोपाल पुरोहित (शर्मा )
पत्ता :-विलास नगर गल्ली नंबर 2 हनुमान मंदिर के पास अमरावती

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