अमरावती

सोयाबीन पर अब मोझॅक का अटैक

किसान चिंतित, फसलें हो रही पीली, मार्गदर्शन जरुरी

अमरावती-दि.1 इस बार के खरीफ में मृग नक्षत्र के शुरुआत से ही सोयाबीन की फसल पर संकट जारी है.संततधार बारिश से एक लाख हेक्टर पर के सोयाबीन का नुकसान होने से किसान अब तक संभल नहीं पाया,उस पर अब कुछ भागों में हरा व पीला मोझॅक दिखाई देने से किसानों के सामने फिर से संकट मंडराया है.
वरिष्ठ कीटकशास्त्रज्ञ डॉ. अनिल ठाकरे ने टीम व कृषि विभाग के अधिकारियों सहित जांच की. सोयाबीन के पत्तों पर बिखरी हुई अवस्था में पीले रंग के पट्टे दिखाई दिये. कुछ स्थानों पर सोयाबीन का पूरे पौधे पीले पड़ गए. इस रोगग्रस्त पेड़ों को फल्ली व फुल कम लगते हैं. जिसके चलते उत्पादन कम होता है.
* मोझॅक का नियंत्रण
प्रति एकड़ 50 पीले चीपचिपे कंपाउंड लगाए,10 प्रतिशत तक रोगग्रस्त पेड़ होने पर उखाड़कर नष्ट करे, विषाणु रोगवाहक मावा, सफेद मक्खी, चक्रभुंगा, उंटइल्ली पर नियंत्रण के लिए पहले फवारणी थायमिथोकझान 12.6 प्रतिशत, और लंबडा सायहॅलोथ्रिन 9.5 प्रतिशत झेड 2.5 मिली, 10 लिटर पानी में करें.
* कीड़ों के लिए उपाय योजना
10 से 15 दिनों में दूसरी फवारणी इमामेक्टिन बेंजोएट 1.9 ओईसी 8.5 मिली 10 लिटर पानी या 170 मिली प्रति एकड़ अधिक टेबूकोनाझोल 10 प्रतिशत वेटेबल सल्फर 65 प्रतिशत डब्ल्युपी मिश्र फफूंदनाशक 25 ग्राम 10 लिटर पानी या 500 ग्राम प्रति एकड़ के हिसा से कीड़ों के लिए उपाय योजना करनी चाहिए.

 

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