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नानीबाई का मायरा आयोजन को सफल बनाने हुई नियोजन बैठक

18 से 20 अप्रैल तक नानीबाई के मायरा का आयोजन

* ख्यातनाम प्रवचक जया किशोरी जी पहली बार अमरावती जिले में
*श्रीमती शकुंतलादेवी के जन्मदिवस पर अग्रवाल परिवार का आयोजन
*सुनीता अग्रवाल चैरिटेबल ट्रस्ट व राधेश्याम बहुउद्देशीय संस्था का संयुक्त उपक्रम
परतवाडा/दि.28– स्थानीय प्रतिष्ठित अग्रवाल परिवार की वरिष्ठ सदस्या श्रीमती शकुंतलादेवी चिरौंजीलाल अग्रवाल के 75 वे जन्मदिवस के उपलक्ष्य में सुनिता अग्रवाल चैरिटेबल ट्रस्ट व राधेश्याम बहुउद्देशीय संस्था द्वारा आगामी 18 से 20 अप्रैल 2022 तक परतवाडा-चिखलदरा रोड स्थित नंदनवन पैलेस में नानीबाई को मायरो का आयोजन किया जा रहा है. जिसमें ख्यातनाम प्रवचक व कथाकार जया किशोरी जी द्वारा संगीतमय भजनों की प्रस्तुती दी जायेगी. विशेष उल्लेखनीय है कि, देश-विदेश में कथा व प्रवचन की प्रस्तुति दे चुकी जयाकिशोरी जी का आगामी वर्ष 18 अप्रैल को पहली बार अमरावती जिले में आगमन होने जा रहा है. ऐसे में इस आयोजन को ऐतिहासिक रूप से सफल बनाने हेतु गत रोज रविवार 27 फरवरी को स्थानीय अग्रवाल भवन में एक विशेष सभा का आयोजन किया गया था.
दैनिक अमरावती मंडल व मातृभुमि के प्रबंध संपादक तथा राजस्थानी हितकारक मंडल के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल की अध्यक्षता में आयोजीत इस बैठक में कार्यक्रम के मुख्य आयोजक अनिल चिरौंजीलाल अग्रवाल ने सभा में उपस्थित सभी गणमान्यों को आयोजन से संबंधित जानकारी देते हुए बताया कि, परतवाडा शहर में पहली बार इतने बडे तथा भव्य-दिव्य पैमाने पर नानीबाई का मायरा कार्यक्रम आयोजीत किया जा रहा है. जिसकी प्रस्तुति जया किशोरी जी जैसी अंतरराष्ट्रीय ख्यातीप्राप्त कथा वाचक व प्रवचनकार द्वारा दी जायेगी. अत: परतवाडा शहर के सभी धर्मशील एवं श्रध्दालुजनों ने अपनी-अपनी ओर से हर संभव सहयोग देना चाहिए. इस विशेष बैठक में प्रमुख अतिथी के तौर पर सर्वश्री दुर्गासेठ अग्रवाल, रवि अग्रवाल, भावेश अग्रवाल, प्रेमकुमार अग्रवाल तथा चोपड गांव से पधारे घनश्याम अग्रवाल उपस्थित थे. इस समय अपने अध्यक्षीय संबोधन में दैनिक अमरावती मंडल व दैनिक मातृभुमि के प्रबंध संपादक अनिल अग्रवाल ने कहा कि, नानीबाई का मायरा ईश्वर के प्रति अटूट श्रध्दा पर आधारित प्रेरणादायी कथा है. यहां कथा के माध्यम से भगवान श्रीकृष्ण का गुनगान किया जाता है. साथ ही यह कथा यह संदेश भी देती है कि, यदि भगवान को सच्चे मन से याद किया जाये, तो वे अपने भक्तों की रक्षा करने खुद चले आते है. भक्तिभाव से परिपूर्ण इस कथा का विश्व प्रसिध्द कथावाचक व भजन गायक जया किशोरीजी के स्वर में पहली बार परतवाडा शहर में आयोजन होने जा रहा है. यह परतवाडा शहर सहित समूचे जिले के लिए गौरव की बात है और इस आयोजन में हर किसी ने अपनी ओर से हर संभव सहायता प्रदान करनी चाहिए.
वहीं इस बैठक में प्रमुख अतिथि के तौर पर उपस्थित दुर्गासेठ अग्रवाल ने कहा कि, जयाकिशोरी जी द्वारा भजन एवं कथा सुनाने का एक अलग ही अंदाज है. अब तक हमने उन्हें टीवी या विडीयो के जरिये ही देखा है और अब पहली बार उन्हें प्रत्यक्ष देखने व सुनने का अवसर मिलेगा. यह अपने आप में बेहद शानदार अनुभव रहेगा. ऐसे में हम सभी का यह परम कर्तव्य बनता है कि, हम इस आयोजन को भव्य-दिव्य तरीके से सफल बनाने हेतु अपनी ओर से यथा संभव सहयोग प्रदान करे. इसके साथ ही सभी तरह के धार्मिक आयोजनों में हमेशा ही बढ-चढकर हिस्सा लेनेवाले रवि अग्रवाल ने भी इस आयोजन को पूरी तरह से सफल बनाने हेतु सभी से यथासंभव सहयोग प्रदान करने का आवाहन करने के साथ ही कार्यक्रम की भव्यता व दिव्यता को देखते हुए कार्यक्रम में शामिल होनेवाले अतिथियों के स्वागत, आयोजन में शामिल होनेवाले सभी श्रध्दालुओं के यथोचित सत्कार एवं सफल आयोजन हेतु किये जानेवाले कामों को लेकर कई मुद्दों के संदर्भ में चर्चा की और इन कामों को लेकर आवश्यक नियोजन भी किया गया. इस समय अन्य गणमान्य अतिथियों ने भी अपने समयोचित विचार व्यक्त करते हुए इस आयोजन को भव्य-दिव्य तरीके से संपन्न कराने हेतु अपनी ओर से हर संभव सहयोग देने की बात कहते हुए समाज के सभी वर्गों से परतवाडा में पहली बार आयोजीत होने जा रहे इस भव्य-दिव्य कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु सहयोग देने का आवाहन किया.
वही इस अवसर पर अपने विचारों को रखते हुए घनश्यामजी अग्रवाल ने बताया कि गर्मी के दिनों को ध्यान में रखते हुए श्रोताओं की व्यवस्था करनी होंगी. इस मांगलिक कार्य मे पंद्रह से बीस हजार लोगों के आने की पूरी संभावना है. दूरदराज और अन्य शहरों से आते श्रद्धालुओ के आवास-निवास व भोजन की व्यवस्था करनी पड़ेगी.
इस नियोजन बैठक में प्रस्तावना उज्ज्वल अग्रवाल ने की. साथ ही उपस्थित अतिथियों का स्वागत अचलपुर कृषि मंडी के संचालक सतीश व्यास, उद्योजक गोविंद सिरोया, श्यामबाबू खंडेलवाल, रवि आर. अग्रवाल, अनिलबाबू शक्करवाले द्वारा किया गया. इस सभा मे दुर्गाशंकर अग्रवाल,अनिल अग्रवाल (शक्करवाले), गुड्डू अग्रवाल अचलपुर, मनोहर अग्रवाल (अभिनव कृषि), तांबी परिवार अचलपुर, अमित अग्रवाल, प्रवीण पाटिल, रूपेश लहाने, एड. रविंद्र खोजरे, एड. भोला चौहान, बाबु महाराज दीक्षित, प्रकाश वैद्य, भावेश सुभाषजी अग्रवाल, उज्ज्वल रमेश अग्रवाल, दीपेश अनिलजी ककरानिया, शिवा सुनिल पेढ़ीवाल, सर्वेश विनोदकुमार अग्रवाल, अमोल गोविंद अग्रवाल, आनंद संतोष अग्रवाल, गौरव संतोषकुमार अग्रवाल, मनिष अग्रवाल, मनोज वर्मा, अनिल आर वर्मा, विनोद अग्रवाल, अश्विन अग्रवाल, मनिष एम अग्रवाल, संजय एम. जयस्वाल, मिलिंद झंवर, चेतन शर्मा, अमित अग्रवाल, दिवेश अग्रवाल, राजेश अग्रवाल, गुड्डू गुप्ता, अमन सिरोया, राम तिवारी, विपुल अग्रवाल, सचिन जयस्वाला, निरज नरेडी, विजय अग्रवाल, मनोज बंसीलाल अग्रवाल, विजय थावानी, प्रवीण पाटील, बंटी ककरानिया, मनोज नंदवंशी, निलेश अग्रवाल, मुरारी अग्रवाल, प्रफुल्ल अग्रवाल, अर्पित खंड़ेलवाल, अ‍ॅड. भोला चौहान, रविंद्र कोंडे, समंग जालोरी, अनिकेत अनिल अग्रवाल, विशुल अग्रवाल, विशाल अग्रवाल, पंकज अग्रवाल, प्रल्हाद अग्रवाल, गौरव बंसल, महावीर जैन, अतुल जाला, गौरव जैन, लोकेश भंसाली, कैलाश खंडेलवाल, तुषार अग्रवाल, मुकुंद नरेडी, पप्पु सिरोया, सुनिल अग्रवाल, हरिशंकर अग्रवाल, मुकुल अग्रवाल, भुपेंद्र पूरबगोला, पंकज मोदी, भरत सिंघानिया, सुमित अनिल कुमार गोपाल, डॉ.अभिषेक नरेडी, विनोद अग्रवाल, कैलाश अग्रवाल, ओमप्रकाश अग्रवाल, हरिकिशन अग्रवाल, निर्मिल कुमार वाजपेयी, संतोष खंडेलवाल, मनोहर अग्रवाल, पुरुषोत्तम अग्रवाल, विश्वनाथ बंसल, राजेंद्र अग्रवाल, प्रफुल्ल भंसाली, गणेश खंडेलवाल, निलेश मांडले, छगनलाल वर्मा, डॉ. विजय वर्मा, सुनिल बुब, राजेंद्र चांड़क, नितिश सातपुते, सूर्यकांत जयस्वाल, प्रमोद डेरे, शशिकांत जयस्वाल, विजय कुमार अग्रवाल, प्रदीप धोंडे, संजय तिवारी, हिरालाल बंसल, विनोद अग्रवाल (अमरावती), अनिल राम बिलास (अमरावती), अजय हरिप्रसाद अग्रवाल, अजय अमरचंद अग्रवाल, महेंद्र अग्रवाल, संतोष अग्रवाल, अजय जयस्वाल, गणेश कुमार अग्रवाल, अशोककुमार अग्रवाल, जयकुमार घीया, संतोष सिरोया, गोपीचंद सिरोया, गोपाल शर्मा, मुन्ना पांडे, रम्मी महाराज, भिखुलाल तिवारी, प्रकाश वैद्य, संतोष अग्रवाल, हरिश खंडेलवाल, सतिश व्यास, सागर व्यास, ओमप्रकाश अग्रवाल, रवि कालोया, श्रीकांत कडु, कमल केजडीवाल, कैलाश अग्रवाल, दिपेश अग्रवाल, सुनिल अग्रवाल, गोपाल अग्रवाल, गुड्डु गुप्ता, दीपेश केजड़ीवाल, अनिल अग्रवाल, चंदन बंसल, राजु लोहिया, आकाश शर्मा, सतिश व्यास, दयाशंकर गुप्ता, सुनय बंसल, वरुण शर्मा (लालु), लखन शर्मा, कपिल मंडले, संजय केजड़ीवाल, प्रकाश बावीसकर, अनिरुद्ध मिश्रा, रुपेश ढेपे, संजय आर. अग्रवाल (दै.अमरावती मंड़ल) रवि एच. अग्रवाल, रवि एस. अग्रवाल, पंकज आर. अग्रवाल, रुपेश व्ही. तांबे, राजकुमार सिंघानिया, राजेश आर अग्रवाल सहित करीब तीन सौ मान्यवर उपस्थित थे.

* जीवन का अस्तित्व बताता है नानीबाई का मायरा
ईश्वर की भक्ति किसी भी परिस्थिती में नहीं छोड़नी चाहिए. भगवान की कृपा हो, तो हमारा जीवन सफल होता ही है. भगवान किसी भी भक्त को अधर में नहीं छोड़ते. नानी बाई का मायरा की शुरूआत नरसी भगत के जीवन से हुई. उनका जीवन काफी पीड़ादायी रहा. परंतु उनका भगवान कृष्ण पर अटूट विश्वास था और उनका वही विश्वास उन्हें परमपिता परमेश्वर के दर्शन कराने में सफल रहा. नरसी भगत की बेटी नानीबाई के जीवन की संपूर्ण कथा है नानीबाई का मायरा. यह कथा भक्तों को जीने की नई प्रेरणा देती है, ईश्वर के आज भी हमारे साथ होने की भावना को और प्रज्वलित करती है. यह कथा जहां एक ओर सच्चे भक्तों पर भगवान की असीम कृपा को दर्शाती है. वही मनुष्य जीवन को अनमोल बताते हुए भक्तों को जीवन का सदुपयोग करने की बात भी कहती है. इस कथा में भगवान का भजन करने से जीवन का कल्याण होने की बाते कथा में कही गई है. इन सभी बातों को प्रसिद्ध कथा वाचक, भजन गायक जया किशोरी अपने अंदाज में यहां व्यक्त करेगी. परतवाड़ा शहर में होने जा रहे इस भव्य दिव्य ऐतिहासिक कार्यक्रम का नियोजन इस बैठक में किया गया.

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