* समाजकल्याण विभाग को दो माह पूर्व ही लिखा था पत्र
अमरावती/दि.5- समाज कल्याण विभाग द्वारा शहर के चर्मकार समाज के बेरोजगारों को रोजगार उपलब्ध कराने के उद्देश्य से लोहे के 417 टीन शेड दूकान स्थापित करने के लिए दिए गए थे. लेकिन इनमें से मनपा की ओर से केवल 139 को ही दूकान लगाने सड़क के किनारे अधिकृत जगह दी गई है. लेकिन शहर के विविध इलाकों में अनाधिकृत तौर पर लगाए गए 278 दूकान किसके ओआदेश पर लगाये गए, इस अतिक्रमित दूकान के लिए जिम्मेदार कौन? इस तरह का प्रश्न विधायक प्रवीण पोटे पाटील द्वारा मनपा में ली गई समीक्षा बैठक में उपस्थित किया गया.
जानकारी के अनुसार पूर्व सांसद आनंदराव अडसूल के कार्यकाल में अमरावती मनपा परिसर में चर्मकार समाज के बेरोजगारों को व्यवसाय स्थापित करने नीले रंग के टीन के शेड दिए गए थे. मनपा क्षेत्र में मनपा की ओर से अब तक सिर्फ 139 दूकानें लगाने को अधिकृत अनुमति बहाल की थी. लेकिन तहसील के सामने स्थित खाऊ गली में 8 और शहर के विभिन्न इलाकों में अनेक जगहों पर यह नीले रंग की दूकानें दिखाई देती हैं. मनपा क्षेत्र में ऐसे लगाए गए खोके की संख्या 417 है.
* 278 शेड अतिक्रमित जगह पर लगाए
मनपा ने सिर्फ 139 खोके लगाने की अनुमति दी, बावजूद इसके शेष 278 खोके अतिक्रमित जगह पर लगाए गए हैं. विशेष यह है कि यह खोके केवल बूट पॉलिश, जूते चप्पल दुरुस्ती व जूते चप्पल बिक्री की दूकान लगाने के लिए दिए है, लेकिन अधिकांश में अलग-अलग दूकानें भी लगाई गई है. जैसे कुछ टीन शेड का उपयोग चाय कैंटीन का व्यवसाय करने व कुछ का उपयोग चष्मा बिक्री के लिए गैरकानूनी तरीके से किया गया. इस कारण मनपा ने समाज कल्याण विभाग को पत्र लिखकर कितने लाभार्थियों को दूकानें वितरित की गई, जिन लाभार्थियों को दूकानें दी गई क्या उन्होंने किसी और को खोके बेच दिए.
समाज कल्याण विभाग को सही लाभार्थी कितने और बोगस लाभार्थी कितने इसका सर्वेक्षण कर सूची सौपने के आदेश दिए गए थे. लेकिन विभाग द्वारा इस ओर अनदेखी की गई है. जिससे दो दिन पहले मनपा की ओर से समाज कल्याण अधिकारी को स्मरण पत्र लिखकर फिर से सर्वेक्षण कर रिपोर्ट शीघ्र सौपने के आदेश दिए है.