दर्यापुर/दि.15- बेटी जैसे ही बडी होती है माता-पिता उसके लिए एक अच्छा रिश्ता खोजने के प्रयास में जुट जाते हैं. सभी माता-पिता अपनी बेटी का ब्याह अपने रिश्तेदारी, जिले में या तहसील में ही करवाने पर जोर देते हैं, परंतु अमरावती की एक युवती ने सात समुंदर पार अपना जीवनसाथी खोजा. अभिभावकों ने भी अपनी बेटी की पसंद को स्वीकार कर लिया. अपने पालकों की रजामंदी के बाद अमेरिका के जमाई से अपनी बेटी का धूमधडाके से ब्याह रचाया.
* साल भर के विरह के बाद मिले
जिले के दर्यापुर शहर निवासी श्रद्धा म्हस्के का विवाह एक वर्ष पूर्व अमेरिका कके एंड्रयू रॉबिन्स के साथ हुआ. एंड्रुयू रॉबिन्स अमेरिका के पुलिस दल में सायबर क्राइम में कार्यरत है. 1 वर्ष श्रद्धा म्हस्के एक टूरिस्ट कंपनी में कार्यरत थी. अपने काम के प्रति समर्पित भाव व मिलनसार स्वभाव होने के कारण पर्यटक के तौर पर आए शाह परिवार ने श्रद्धा को उसके विवाह के बारे में पूछा. साथ ही माता-पिता की सहमति पश्चात अमेरिका में विवाह योग्य वर दिखाया. कोविड-19 के दौरान अंतर्राष्ट्रीय हवाई सेवा बंद थी. अमेरिका के एंड्रुयू रॉबिन्स और श्रद्धा की उसके परिवारों की सहमति से पहचान हुई और दोनों का ब्याह करवाया गया. श्रद्धा अमरावती में और एंड्रुयू अमेरिका में था. इस दौरान दोनों की शादी की पहली वर्षगांठ होने के चलते दोनों दर्यापुर आए. प्यार का इजहार कर विवाह की वर्षगांठ धूमधाम से मनाई. एंड्रुयू और श्रद्धा दोनों सुखी जीवन यापन कर रहे हैं. एक साल के विरह के बाद एंड्रुयू हाल ही में भारत आया था. वीजा के अडचन के कारण श्रद्धा फिलहाल मायके में ही रह रही है. वीजा मिलने के पश्चात श्रद्धा जल्द ही अमेरिका जाएगी. श्रद्धा ने यह भी बताया कि हम एक-दूसरे से भले ही सात समंदर दूर है, लेकिन दिन में लगभग 3 से 4 बार मोबाइल पर बात हो जाती है. मेरे व्दारा सात समंदर पार जीवनसाथी चुने जाने पर रिश्तेदार सहित सभी दोस्त भी नाराज हुए, साथ ही कुछ रिश्तेदारों ने तो बात करना भी बंद कर दिया था. लेकिन हम अपने निर्णय पर कायम रहे, अब तो विवाह को 1 साल हो गया है. हम दोनों काफी खुश है. ऐसी भावना नवदंपति ने व्यक्त की.