नेप्च्यून ग्रह यह आज पृथ्वी के निकट ही दिखेगा
अमरावती/दि.19-सूर्यमाला का सबसे आखरी ग्रह नेप्चयून यह 19 सितंबर को पृथ्वी के पास आयेगा. इस दिन यह ग्रह सूर्य के सामने ही रहेगा. इसे खगोलशास्त्र में प्रतियुति कहते हैं. इस समय पृथ्वी से ग्रहों का औसतन अंतर कम होने से इसे अच्छे टेलीस्कोप द्बारा देखा जा सकता हैं. पृथ्वी के चारों और एक परिक्रमा पूर्ण करने से इस ग्रह को 165 वर्ष लगते हैं व स्वयं के चारों ओर एक परिक्रमा 16 घंटे में पूरी करता हैं. इस ग्रह की खोज 13 सितंबर 1846 में जर्मन वैज्ञानिक गॅले और लव्हेरिया ने की. इस ग्रह को 13 चंद्र है. इस ग्रह के वातावरण में मिथेन होने से यह ग्रह नीला दिखाई देता है. इस ग्रह का व्यास 48600 किमी है व भुपृष्ठ का तापमान 214 अंश सेल्सियस है.
24 अगस्त 1989 को व्हायेजर-2 हे मानवरहित यान नेपच्यून के पास से गये थे. सूर्य से इस ग्रह का अंतर 452 करोड किलोमीटर अथवा 301 खगोलीय एकक है. इस खगोलीय घटना का मानवी जीवन पर कोई भी बुरा परिणाम नहीं होगा, ऐसी जानकारी खगोलीय अभ्यासकों ने दी.
* फीके नीले रंग का ग्रह
ुइस ग्रह का निरीक्षण करने पर वह फीके नीले रंग का दिखाई देता है. 19 सितंबर को यह ग्रह पूर्व क्षितिज पर उगता हुआ दिखाई देगा और पश्चिम की तरफ अस्त होगा. रातभर आकाश में यह ग्रह दिखेगा. किंतु हाल ही में इसे खुली आंखों से नहीं देखा जा सकेगा. इसके लिए माइस्क्रोप की जरूरत पडेगी, ऐसा मराठी विज्ञान परिषद के विभागीय अध्यक्ष प्रवीण गुल्हाने व खगोल अभ्यासक विजय गिरूलकर ने बताया.