अमरावती

धानोरा में पानी की टंकी में सात वर्षों से पानी की एक बूंद तक नहीं

आमसभा में बबलू देशमुख ने अधिकारियों को लगाई फटकार

अमरावती/दि.22 – चांदूर रेल्वे तहसील के धानोरा म्हाली गांव में जलापूर्ति करने के लिये जिला परिषद के जलापूर्ति विभाग व्दारा टंकी बनाई गई. लेकिन इस टंकी में सात वर्षों से पानी की एक बूंद भी नहीं है. इसके साथ ही अन्य जलापूर्ति के विषय पर सोमवार को जिला परिषद की आमसभा में अध्यक्ष बबलू देशमुख ने जलापूर्ति विभाग के अधिकारियों को फटकार लगाई.
जिला परिषद की आमसभा 21 जून को विविध विषयों को अनुसरित कर आयोजित की गई थी. इस समय सभा में अनुपालन के मुद्दे पर चर्चा शुरु रहते पूर्व अध्यक्ष नितिन गोंडाणे ने सभागृह में धानोरा म्हाली गांव का मुद्दा प्रस्तुत किया. जलापूर्ति विभाग ने कुछ वर्षों पूर्व नयी पानी की टंकी बांधी, लेकिन उसमें पानी की बूंद तक नहीं है. परिणामस्वरुप आज की घड़ी में ग्रामवासियों को पुरानी टंकी से ही जलापूर्ति की जा रही है. नई टंकी सहित जलापूर्ति करने के लिये डाली गई पाईपलाइन भी लीक होने का मुद्दा अध्यक्ष महोदय के ध्यान में लाया गया. इस पर लाखों रुपए खर्च करने पर भी पानी की टंकी का कोई उपयोग नहीं, इस कारण जलापूर्ति विभाग व्दारा क्या किया जा रहा है, ऐसा सवाल अध्यक्ष बबलू देशमुख ने संबंधित अधिकारियों से किया व तुरंत कार्रवाई के निर्देश दिये.
इस समय काटपुर,राजुरा बाजार और 11 गांवों की जलापूर्ति योजना का मुद्दा भी सभागृह में उपस्थित किया गया. वहीं अन्य विभागों के प्रश्नों पर चर्चा कर निर्णय पारित किया गया. इस समय उपाध्यक्ष विठ्ठल चव्हाण,सभापति सुरेश निमकर,बालासाहब हिंगणीकर, दयाराम काले, पूजा आमले, सदस्य रविन्द्र मुंदे, प्रताप अभ्यंकर, जयंत देशमुख, महेन्द्र गैलवार,सुहासिनी ढेपे,गौरी देशमुख, शरद मोहोड,राजेन्द्र बहुरुपी,वासंती मंगरोले,सारंग खोडस्कर, सुखदेव पवार सहित सीईओ अविश्यांत पंडा,डेप्युटी सीईओ तुकाराम टेकाले उपस्थित थे.

घरकुल प्रोत्साहन अनुदान

प्रधानमंत्री आवास योजना में रोहयो से प्रत्येकी 22 हजार रुपए अनुदान दिया जाता है. अब तक घरकुल के चार हफ्ते मिलने के बाद भी रकम मिलती थी. रोजगार सेवक, सचिव ने मजदूर उपस्थिति का मस्टर न भरने से अनुदान नहीं मिलने का मुद्दा सदस्य गौरी देशमुख, महेन्द्र गैलवार आदि ने उपस्थित किया. अब घरकुल लाभार्थियों को पहला हफ्ता मिलते ही मस्टर भरकर ऑनलाइन एन्ट्री करना जरुरी है. इसके लिये रोजगार सेवक, ग्रामपंचायतों व्दारा पंचायत समिति स्तर पर यह प्रक्रिया तुरंत करना आवश्यक है.

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