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अमरावती/दि.5– शरीर पर सफेद दाग या कोड यह संसर्गजन्य नहीं. इसके कारण जान को किसी भी प्रकार का धोखा नहीं है, तथापि इसे भयंकर सामाजिक बीमारी मानी जाती है. अनेक लोगों की त्वचा पर अलग-अलग प्रकार के फीखे या सफेद दाग दिखाई देते हैं. इनमें कई दाग कोड के नहीं होते. जन्म के पश्चात किसी भी कारण के बगैर शरीर पर अलग-अलग आकार के दाग अचानक दिखाई देने लगे, तो वह कोड हो सकता है, ऐसी जानकारी त्वचारोग तज्ञ ने दी है. कोड का स्थिर व अस्थिर ऐसे दो मुख्य प्रकार है. उचित समय पर इस बीमारी ध्यान में आते ही उपचार करना आवश्यक है.
कोड यह संसर्गजन्य नहीं है. इसका स्वास्थ्य पर कोई असर नहीं होता. संपर्क में आने के बाद एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति को कोड नहीं हो सकता. शरीर पर सफेद दाग अचानक दिखाई देने पर वह कोड हो सकता है. कोड होने पर संपूर्ण शरीर नहीं बल्कि एक हाथ पर या पैर पर एक रेखा में सफेद दाग दिखाई देने के साथ ही पेट, पीठ पर आड़ा पट्टा दिखाई देता है. शरीर के कई हिस्सों पर सफेद दाग दिखाई देते हैं.
त्वचा में मेलॅनोसाइट नामक रंग तैयार करने की पेशी होती है. सि मेशी मेलॅनीन तैयार करती है व इसलिए त्वचा पर रंग दिखाई देता है. कुछ व्यक्तियों में अज्ञात कारणों से त्वचा को यह मारने वाली एंटीबॉडी तैयार होती है और वह मेलॅनीन की पेशी को निष्क्रिय नष्ट करती है.
उपचार हो सकता है
कोड के बारे में ज्ञात होते ही इस पर उपचार किया जा सकता है. निदान में विलंब व आखिरी चरण में उपचार करने पर उपचार करना कठिन होता है, ऐसा त्वचारोग तज्ञों का कहना है. कोर्ड यह संसर्गजन्य नहीं है, इसलिए घबराये नहीं. शरीर पर सफेद दाग दिखाई देने पर शुरुआत में डॉक्टरों की सलाह ले, समय पर उपचार करने पर सफेद दाग के फैलाव को रोका जा सकता है.
– डॉ. पल्लवी मुरके, त्वचारोग तज्ञ