अमरावती परिक्षेत्र में रिश्वतखोरो की संख्या 75
शासकीय कार्यालयो में फलक लगाने के बावजूद घूसखोरी पर रोक नहीं
अमरावती/दि.20– अमरावती परिक्षेत्र में इस वर्ष रिश्वतखोरी के साढे दस माह में 75 मामले घटित हुए है. इसी कालावधि में पिछले वर्ष इन प्रकरणों की संख्या 56 थी. यानि पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष घूसखोरी के 19 मामले बढे है.
राज्य में हर दिन कहीं न कहीं रिश्वत लेते हुए सरकारी अधिकारी-कर्मचारी पकडे जाते हैं. रिश्वतखोरी के मामलों का आलेख बढ रहा है. चालू वर्ष में राज्य में 1 जनवरी से 16 नवंबर की कालावधि में 728 रिश्वत के मामले दर्ज हएु हैं. इसमें एसीबी के नाशिक परिक्षेत्र में सर्वाधिक 147 मामले दर्ज है. पुणे परिक्षेत्र में 127, छत्रपति संभाजीनगर 116, ठाणे परिक्षेत्र में 94 मामले दर्ज है. अमरावती परिक्षेत्र में दर्ज हुए मामलों की संख्या 75 पर पहुंच गई है. पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष रिश्वतखोरी के मामलों की संख्या बढी है. पिछले वर्ष रिश्वतखोरी के 96 मामले और एक अन्य भ्रष्टाचार का प्रकरण दर्ज हुआ था. इस बार धूसखोरी के 75 प्रकरणों में विविध सरकारी विभाग के अधिकारी समेत निजी व्यक्ति भी एसीबी के जाल में फंसे है. कुल आरोपियों की संख्या 104 है. इस वर्ष अब तक अन्य भ्रष्टाचार का एक मामला दर्ज हुआ है. शासकीय कार्यालयों में अधिकारी अथवा कर्मचारी के जरिए नागरिकों के शासकीय काम रोककर रखे जाते हैं. अनेक बार रिश्वत की मांग की जाती है. रिश्वत लेना अपराध है, ऐसा फलक कार्यालय में लगाने के बावजूद ऐसे मामले थम नहीं रहे हैं. इस पर रोक लगाने के लिए एसीबी विभाग की तरफ से कार्रवाई की जा रही है.
* वाशिम जिले में सर्वाधिक मामले दर्ज
इस बार 1 जनवरी से 16 नवंबर की कालावधि में अमरावती परिक्षेत्र में सर्वाधिक मामले वाशिम जिले में दर्ज हुए है. इसकी संख्या 15 है. इसके अलावा अकोला जिले में 10, यवतमाल जिले में 13, बुलढाणा 14 और अमरावती जिले में 13 मामले दर्ज है. गत वर्ष इसी कालावधि में 56 मामले दर्ज हुए थे. गत वर्ष इसी कालावधि में 56 मामले दर्ज हुए थे. इस बार यह संख्या 19 से बढी है.