अमरावतीमहाराष्ट्र

लक्ष्मीपूजन के दिन कबड्डी मैदान का किया पूजन

शहर में कुछ ही मैदान शेष

अमरावती/दि.4-शहर में इमारतों का जंगल तैयार होने से खेल मैदान नामशेष हो रहे है. खिलाडियों के लिए कुछ ही मैदान शेष रह गए हो, इस भावना से लक्ष्मीपूजन के दिन एक दीप मैदान सुरक्षा के लिए लगाने का संकल्प करते हुए क्रीडा शिक्षक व कबड्डी मार्गदर्शक संदीप इंगोले एवं उनके सहयोगियों ने कबड्डी मैदान का पूजन किया.
मैदान की सफाई कर पूरे मैदान को आकर्षक रंगोली व फूलों की पंखुडियों से सजाया गया. इसके बाद मैदान पर एक दीपक लगाकर विधिवत पूजन किया गया. इस मैदान पर कई खिलाडी तैयार हुए है. तथा कईयों ने नाम कमाया है. इसलिए मैदान के प्रति खिलाडी, प्रशिक्षक, क्रीडा शिक्षकों को विशेष आत्मीयता रहती है. इसी आत्मीयता से मैदान का पूजन किया गया. मैदान ही हमारे देवता होकर यह हमारी कर्मभूमि है, इसलिए दिवाली में यदि इस देवता को हम भूलें तो सही मायने में दिवाली पर्व मनाने जैसे नहीं लगेगा. इसलिए सभी खेल प्रेमियों ने एकजुट होकर मैदान में दिवाली मनाई. मैदान को लक्ष्मी मानते हुए दिवाली मनाई. यह आनंद कुछ और ही था. मैदान पूजन कर समाधान हुआ. मैदान पर नारियल फोडकर नैवेद्य, प्रसाद वितरण किया गया, यह जानकारी संदीप इंगोले व सहयोगियों ने दी.
* कुछ ही मैदान शेष
शहर में कुछ मैदान शेष है. सायन्सकोर मैदान, नेहरू मैदान, दसरा मैदान, सावता मैदान, बडनेरा, नवसारी ऐसे कुछ खेलने योग्य मैदान है, तथा जिला परिषद, जिलाधिकारी कार्यालय के अधिकार के सार्वजनिक मैदान होकर यह मैदान निजी महाविद्यालय, संस्था, मंडल और स्कूलों के मालकियत है. मैदानों की सुरक्षा करने के लिए खेलप्रेमी हमेशा विविध कार्यक्रमों का आयोजन कर आम नागरिकों का ध्यानाकर्षण कराते है.

Related Articles

Back to top button