अमरावती

बीमारी की वजह बन रही गुलाबी ठंड, बारिश व बदरीले मौसम का शरीर पर परिणाम

सर्दी, खांसी, बुखार, निमोनिया, दमा व संधिवात की तकलीफे बढी

अमरावती /दि.29– वैसे तो सर्दी के मौसम को स्वास्थ्य के लिए लाभदायक माना जाता है. परंतु बदरीले मौसम व बेमौसम बारिश के साथ बढ रही ठंड को स्वास्थ्य के लिए घातक एवं बीमारियों का घर माना जा रहा है. वातावरण में अकस्मात होने वाले बदलावों की वजह से विविध बीमारियों से पीडित व संक्रमित मरीजों में वृद्धि हो रही है. विशेष तौर पर छोटे बच्चों में सर्दी, खांसी, बुखार, निमोनिया व दमा तथा बडो में संधिवात, कमरदर्द व हड्डियों से संबंधित बीमारियों का प्रमाण बढ रहा है.

उल्लेखनीय है कि, साल के तीनों मौसम में सर्दियों वाले मौसम को सबसे लाभदायक माना जाता है और सर्दियों के मौसम की पूरे साल भर प्रतिक्षा की जाती है. इस दौरान अपनी छुट्टियां मनाने के साथ ही परिवार के साथ यात्रा करने का आनंद लिया जाता है. परंतु फिलहाल हर ओर बेमौसम बारिश हो रही है तथा बदरीला वातावरण बना हुआ है. साथ ही तापमान में अचानक ही काफी हद तक गिरावट आ गई है. जिसकी वजह से विभिन्न बीमारियां पांव पसार रही है. जिनकी चपेट में कई लोगबाग आ रहे है. जिसके चलते सभी दवाखानों में बीमारों की संख्या बढ गई है.

* 50 से 60 मरीज सर्दी, खांसी व बुखार के
बदले हुए वातावरण का शरीर पर काफी जल्दी प्रभाव पडता है. विशेष तौर पर छोटे बच्चे बहुत जल्दी ऐसी बीमारियों की चपेट में आते है. यही वजह है कि, सरकारी अस्पताल की ओपीडी में रोजाना पहुंचने वाले मरीजों में से 50 से 60 फीसद मरीज सर्दी, खांसी, बुखार व निमोनिया से पीडित होते है. जिनमें से 10 से 15 फीसद मरीजों को वार्ड में भर्ती करते हुए उनका इलाज करवाना पडता है.

* सतर्कता जरुरी
मौसम में हुए बदलाव की वजह से फैल रही बीमारियों से बचने हेतु खुद का ठंड से बचाव करना बेहद जरुरी है. इस दौरान किसी भी तरह की ठंडी वस्तुओं का सेवन न करे, बांसी खाद्य पदार्थ न खाए, नवजात बच्चों को गर्म कपडों में ओढाकर रखे.

* संधिवात की तकलीफ रहने वाले मरीजों की संख्या बढी
ठंड बढने पर संधिवात यानि ऑर्थराइटीस के मरीज बढ जाते है. इन दिनों में स्नायू का काफी हद तक संकुचन हो जाता है. जिसकी वजह से संधिवात की तकलीफ बढ जाती है. इन दिनों रहने वाले मौसम की वजह से ह्युमटाइड ऑर्थराइटीस व ऑस्टीयो ऑर्थराइटीस की तकलीफ रहने वाले मरीजों की संख्या बढ जाती है. ऐसे मरीजों में तुरंत ही डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए. साथ ही नियमित औषधोपचार करवाते हुए नियमित व्यायाम करना चाहिए.

* 20 फीसद से बढे श्वसन संबंधित मरीज
स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक ठंडी के मौसम में दमा, सीओपीडी व श्वसन संबंधी बीमारियों के मरीज बढ जाते है. परंतु इस समय रहने वाले मौसम की वजह से ऐसे सभी बीमारियों के मरीजों में 20 फीसद वृद्धि हुई है. विशेष तौर पर काफी पुराना अस्थमा रहने वाले मरीजों की तकलीफ बढ गई है और उन्हें अपनी दवाई का डोस बढाकर लेना पड रहा है. इस वातावरण की सामान्य लोगों को भी तकलीफ हो रही है. जिनमें से कई लोगों में अस्थमा के शुरुआती लक्षण दिखाई दे रहे है. ऐसे में ठंड से बचाव और नियमित औषधोपचार की इस पर उपाय है.

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