पोलींग पार्टियों को सीधे मतदान केंद्र पर मिलेगा मतदान साहित्य
अपनी तरह का पहला प्रयोग, संक्रमण व भीड टालने भातकुली तहसीलदार की संकल्पना
अमरावती/दि.14 – कोरोना संक्रमण के साये में होन जा रहे ग्राम पंचायत चुनाव को एक चुनौती समझते हुए सभी आवश्यक उपायों के मद्देनजर भातकुली के तहसीलदार नीता लबडे ने जिले में पहली बार एक अभिनव संकल्पना पर काम किया. जिसमें पोलींग पार्टियों को तहसील कार्यालय में आने की जरूरत नहीं रहेगी. बल्कि वे गुरूवार की सुबह 10 बजे अपनी नियुक्तीवाले मतदान केंद्रों पर पहुचेंगे. जहां पर उन्हें झोन अधिकारियोें के जरिये मतदान साहित्य प्राप्त होगा. उल्लेखनीय है कि, इससे पहले सभी पोलींग पार्टियोें को तहसील कार्यालय पहुंचकर मतदान साहित्य प्राप्त करना होता था. जिसे अपने साथ लेकर पोलिंग पार्टियां मतदान केंद्रोें पर पहुंचती थी. किंतु इस बार भातकुली तहसील में भीडभाड व संक्रमण को टालने हेतु कुछ अलग तरह की संकल्पना पर काम करना शुरू किया गया है.
बता दें कि, भातकुली तहसील की 35 ग्राम पंचायतोें में चुनाव होने जा रहे है. जहां के 122 मतदान केंद्रों पर 67 हजार 952 मतदाताओें द्वारा अपने मताधिकार का प्रयोग किया जायेगा. 15 जनवरी को मतदान रहने के चलते 14 जनवरी को ही सभी पोलींग पार्टी अपने-अपने नियुक्तिवाले स्थान पर पहुंचने हेतु रवाना हो जायेंगे. इस समय उन्हें तहसील कार्यालय नहीं आना होगा, बल्कि वे सीधे अपनी नियुक्तिवाले मतदान केंद्रोें पर पहुंचेगे. मंगलवार को ही प्रशिक्षण के दौरान संबंधित झोनल अधिकारियों व उनके अंतर्गत आनेवाले पोलींग पार्टियों के बीच आपसी जान-पहचान करायी गयी. साथ ही झोनल अधिकारी एवं पोलिंग पार्टी में शामिल रहनेवाले अधिकारियों व कर्मचारियोें का एक वॉटसअप् ग्रुप बनाया गया, ताकि वे एक-दूसरे के संपर्क में रह सके. इसके अलावा पुलिस कर्मचारी सीधे मतदान केंद्र पर नहीं जायेंगे. बल्कि वे पहले तहसील कार्यालय में इकठ्ठा होेंगे और यहां से ईवीएम लेकर जानेवाले झोनल अधिकारी के वाहन में सवार होकर उन्हें ड्युटी हेतु दिये गये मतदान केेंद्र पहुंचेगे. साथ ही मतदान प्रक्रिया पूर्ण होने के बाद झोनल अधिकारियों द्वारा मतदान साहित्य मिलने और मॉकपोल पूर्ण होने का पत्र लेकर ईवीएम मशीनों को कडी सुरक्षा के बीच वापिस लेकर लौटेंगे.
तहसीलदार नीता लबडे के मुताबिक इस जरिये भीड टालने के साथ ही खर्च की भी बचत होगी.
7 की बजाय 16 झोनल अधिकारी
इस प्रक्रिया में झोनल अधिकारियों की संख्या बढाई गयी है. उनके मार्फत मतदान की प्रक्रिया पूर्ण होने पर प्रोसेडिंग डायरी, वोटों के हिसाब का पत्र तथा सीयू आदि लिये जायेंगे. पुलिस कर्मचारी भी झोनल अधिकारी के साथ ही वाहनों के काफीले में रहेंगे. सभी पोलींग पार्टियों को सैनिटाईजर, डिस्पोजेबल मास्क आदि साहित्य दिये जा चुके है. साथ ही इस प्रक्रिया के लिये तीन हॉल में तीन सत्रों के दौरान 40-40 कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिया गया है. इस हेतु मास्टर ट्रेनर की संख्या बढाते हुए प्रोजेक्टरों के जरिये कर्मचारियोें को चुनावी प्रक्रिया की जानकारी दी गई. ऐसे में मतदान से पहले व मतदान होने के बाद साहित्य जमा करने के लिए कर्मचारियों को जो कसरत करनी पडती थी, अब उस झंझट से कर्मचारियों का छूटकारा मिल गया है. साथ ही इससे तहसील कार्यालय में अनावश्यक भीडभाड भी नहीं होगी. यहां यह विशेष उल्लेखनीय है कि, पूरी निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान प्रशासन द्वारा हर कदम पर भीडभाड को टालने एवं कोरोना प्रतिबंधात्मक उपाययोजनाओं को लागू करने के संदर्भ में तमाम जरूरी कदम उठाये गये है.
- प्रशिक्षण के दौरान सभी अधिकारियों व कर्मचारियों को कोरोना संक्रमण के साये में होने जा रहे चुनाव के संदर्भ में विस्तृत जानकारी दी गई. जिसे कर्मचारियों की ओर से उत्स्फूर्त प्रतिसाद मिला. ऐसे में नई संकल्पना के तहत भीडभाड को टालते हुए कम समय व कम खर्च में जलद गति से काम होंगे.
– नीता लबडे
तहसीलदार