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प्रशांत राठी को हाईकोर्ट से मिली अग्रिम जमानत

पुलिस को ‘से’ दाखिल करने के लिए दो हफ्ते की मोहलत

* मामला खारिज करने की याचिका भी स्वीकृत
* 4 सप्ताह तक नहीं दायर होगी चार्जशीट
अमरावती/दि.23 – पैसों के बदले नौकरी व नियुक्ति देने की बात कहते हुए एक व्यक्ति से 50 लाख रुपए लेने और फिर अपने साथियों के साथ मिलकर उसका अपहरण कर उसकी निर्ममतापूर्वक पिटाई करने के मामले में नामजद रहने वाले ब्रिजलाल बियाणी शिक्षा संस्था के सदस्य प्रशांत राठी को आज मुंबई उच्च न्यायालय की नागपुर खंडपीठ ने राहत प्रदान करते हुए गिरफ्तारीपूर्व सशर्त अग्रिम जमानत दे दी. जमानत देते समय अदालत ने यह शर्त रखी कि, इस मामले में पुलिस का से दाखिल होने पश्चात सुनवाई पूरी होने तक प्रशांत राठी को बीच में पडने वाले हर रविवार को सुबह 11 से दोपहर 1 बजे के दौरान फ्रेजरपुरा पुलिस थाने जाकर हाजिरी दर्ज करानी होगी तथा पुलिस द्वारा की जाने वाली जांच में सहयोग भी करना होगा. साथ ही अदालत ने प्रशांत राठी को दी गई जमानत पर पुलिस को आगामी दो सप्ताह के भीतर अपना से दाखिल करते हुए अपनी भूमिका स्पष्ट करने हेतु कहा है.
बता दें कि, फ्रेजरपुरा पुलिस थाने में अपने खिलाफ मामला दर्ज होने की जानकारी मिलते ही प्रशांत राठी ने सबसे पहले अमरावती के जिला व सत्र न्यायालय ने जमानत मिलने हेतु आवेदन किया था और उसे अमरावती की अदालत से अग्रिम जमानत मिल भी गई थी. जिसे पुलिस का से दाखिल होने के बाद अदालत ने खारिज कर दिया था. ऐसे में प्रशांत राठी ने अपने वकील के मार्फत जमानत मिलने हेतु हाईकोर्ट में याचिका दायर की और हाईकोर्ट ने प्रशांत राठी की जमानत अर्जी को स्वीकार करते हुए पुलिस को अगले दो सप्ताह के भीतर इसे लेकर अपना से दाखिल करने हेतु कहा.
पुलिस द्वारा की जाने वाली गिरफ्तारी से बचने के लिए जमानत प्राप्त करने के साथ ही प्रशांत राठी ने अपने खिलाफ दर्ज अपराधिक मामले को भी खारिज करवाने के लिए अदालत मेंं याचिका दायर की है. इस याचिका को भी अदालत ने सुनवाई हेतु स्वीकार करते हुए पुलिस को अगले 4 सप्ताह तक इस मामले में चार्जशीट दाखिल नहीं करने का निर्देश दिया. ऐसे में अब पुलिस अगले 2 सप्ताह तक न तो प्रशांत राठी को गिरफ्तार कर सकती है और न ही पुंडलिक जाधव नामक व्यक्ति के साथ अपहरण कर की गई मारपीट के मामले में चार्जशीट ही दाखिल कर सकती है. चूंकि इस मामले में प्रशांत राठी मुख्य आरोपी के तौर पर नामजद है और फिलहाल तक मुख्य आरोपी का ही गिरफ्तार होना बाकी है. ऐसे में पुलिस द्वारा चार्जशीट दाखिल करने का वैसे भी कोई औचित्य नहीं बन रहा था. बता दें कि, इस मामले में बबलू गाडे, अंकुश मेश्राम, अतुल पुरी व कुंदन शिरकरे नामक 4 आरोपी पुलिस द्वारा पहले ही गिरफ्तार किये जा चुके है. जो इस समय न्यायिक हिरासत के तहत सेंट्रल जेल में बंद है. वहीं प्रशांत राठी इस मामले में अब तक एक बार भी पुलिस के हाथ नहीं लगा, बल्कि उसने पहले स्थानीय अदालत और अब उच्च न्यायालय से गिरफ्तारी पूर्व अग्रिम जमानत हासिल कर ली है. साथ ही अपने खिलाफ दर्ज अपराधिक मामले को खारिज करवाने के लिए भी हाईकोर्ट में याचिका दायर की है. जिसे हाईकोर्ट द्वारा सुनवाई हेतु स्वीकार भी कर लिया गया है.

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