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प्रवीण पोटे बोले मान गये रवि तुमने सभी को एक मंच पर लाकर बिठा दिया है

नवनीत राणा के जन्मदिन पर एक-दूसरे की तारीफ करते नहीं थके रवि राणा और प्रवीण पोटे

अमरावती/दि.8 – आपको याद होगा, जब प्रवीण पोटे पालकमंत्री थे, तो बडनेरा के विधायक रवि राणा को वे फूटी आंख नहीं सुहाते थे. रवि राणा उन्हें (पोटे) पालकमंत्री नहीं, जबकि बालकमंत्री कहा करते थे. इसके बाद पोटे और रवि राणा एक-दूसरे के राजनीतिक दुश्मन हो गये. यह दुश्मनी कई वर्षों तक चलती रही. अभी एक महिने पहले भी विदर्भ महाविद्यालय के ऑडिटोरियम हॉल में भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाली 11 पार्टियों की महायुति के सम्मेलन में प्रवीण पोटे ने फिर रवि राणा पर छिंटा मारा था. प्रवीण पोटे ने कहा था कि, लोग उन्हें बालकमंत्री कहते थे. लेकिन उन्हें (पोटे) देवेंद्र फडणवीस ने मंत्री बनाया था. इसलिए उन्हें बालकमंत्री कहना फडणवीस को निशाना बनाना है. इसके बाद भी पोटे कई बार राणा दम्पति को निशाना बनाते रहे.
लेकिन राजनीति में कहते है कि, कोई दुश्मन या दोस्त स्थायी नहीं होता. समय के साथ सब गिला-सूखा चलता है. समय ने करवट बदली. भाजपा के सर्वेसर्वा नरेंद्र मोदी साहब ने अमरावती लोकसभा के लिए नवनीत राणा को भारतीय जनता पार्टी की उम्मीदवारी प्रदान कर दी. उम्मीदवारी प्रदान करने के बाद नवनीत राणा का भाजपा में प्रवेश करवाया गया और अदृष्य शक्तियों के बल पर सुप्रीम कोर्ट में भी नवनीत जीत गई.
इस पूरे घटनाक्रम के बाद 6 अप्रैल को नवनीत का पहला जन्मदिन था. इर्विन अस्पताल की बायी ओर बने नवनीत राणा के प्रचार बूथ पर भाजपा का स्थापना दिवस और नवनीत राणा का जन्मदिवस संयुक्त रुप से मनाया गया. इस कार्यक्रम में दो भाषण चर्चा के विषय रहे. पहला भाषण प्रवीण पोटे का और दूसरा रवि राणा का. एक-दूसरे के कट्टर राजनीतिक दुश्मन इस मंच पर ऐसे नजर आ रहे थे, मानो वर्षों की दोस्ती हो और कभी दोनों के मन में एक-दूसरे के खिलाफ कोई कटूता ना रही हो.
पहले प्रवीण पोटे ने अपने संबोधन में उपस्थित लोगों को याद दिलाया कि, रवि राणा कहा करते थे कि वे एक मंच पर सबको बिठाएंगे. रवि ने ऐसा कर दिखाया. वा मान गये रवि. कई नेता बडी-बडी बातें करते है, लेकिन तुमने जो कहा कर दिखाया. इसे कहते है जैसा बोले वैसा चले. प्रवीण पोटे यहीं नहीं रुके, उन्होंने उपस्थित भाजपा नेताओं से कहा ‘सतर्क रहना रे भाई’ पोटे ने आगे कहा ‘रवि वात इथे लावते आणि बॉम्ब तिथे फूटते.’ पोटे का पूरा भाषण नवनीत और रवि की तारीफ भरा रहा.
अब बारी थी रवि राणा की, वहां उपस्थित लोग एक टक लगाकर सुनना चाह रहे थे कि, अब रवि क्या कहते है. रवि ने नहले पर दहला दे मारा. उन्होंने कहा प्रवीण पोटे मेरे बडे भाई है. मेरे मार्गदर्शक है. हमेेशा मुझे साथ दिया है. उनका चुनावी नियोजन देखकर मैं दंग रह गया. भविष्य में हर लडाई में मैं उनके साथ रहुंगा. प्रवीण पोटे के हाथ में भाजपा का भविष्य सुरक्षित है. रवि यहीं नहीं रुके उन्होंने कहा अब जिले में सब तरफ भाजपा के विधायक होंगे. जिला परिषद में अध्यक्ष भाजपा का होगा. मनपा में महापौर भाजपा का होगा. भाषण देते-देते प्रवाह में रवि भूल चुके थे कि, वे युवा स्वाभिमान पार्टी के विधायक और नेता है.
वहां उपस्थित जनता कार्यक्रम खत्म होने के बाद घर जाते-जाते सोचती रही इसी का नाम राजनीति है.

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