प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) को आचार्य पदवी
अमरावती /दि.17- स्थानीय संत गाडगे बाबा अमरावती विद्यापीठ द्बारा साइंस एण्ड टेक्नॉलॉजी संकाय से प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) को आचार्य पदवी प्रदान की गई है. प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) ने संत गाडगे बाबा अमरावती विद्यापीठ व सिपना कॉलेज ऑफ इंजिनियरिंग एण्ड टेक्नॉलॉजी अंतर्गत अपना शोध प्रबंध प्रस्तूत किया था.
प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) ने सिपना कॉलेज ऑफ इंजिरियरिंग एण्ड टेक्नॉलॉजी से इलेक्ट्रॉनिक्स एण्ड टेलिकम्यूनिकेशन इंजिनियरिंग की पढाई पूरी करने के बाद प्रा. राम मेघे इंजिनियरिंग कॉलेज से पोस्ट ग्रेज्यूएशन की शिक्षा पूर्ण की थी. साथ ही उन्होंने ‘डिझाइन ऑफ पैडेक्शन मॉडेल फॉर लैंड स्लाइड एरिया फार्म रिमोटली सेन्सेड सैटेलाइज इमेज यूझिंग डिप लर्निंग एप्रोज’ विषय पर संशोधन किया. इस संशोधन के लिए बने सिपना इंजिनियरिंग कॉलेज के डॉ. संदीप रोडे का मार्गदर्शन तथा कॉलेज के प्राचार्य डॉ. एस. एम. खेरडे व डॉ. एस. एम. जोशी का सहयोग मिला.
उल्लेखनीय है कि, राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर बडे पैमाने पर भूस्खलन की घटनाएं घटित होती है. जिनमें बडे पैमाने पर जनहानि व वित्तीय हानि हुआ करती है. ऐसे में टेक्नॉलूजी की सहायता लेते हुए इस तरह की घटनाओं की पूर्व सूचना हासिल करने की संभावनाओं को लेकर प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) ने अपना संशोधन किया और भूस्खलन की कई घटनाओं का अध्ययन करते हुए ऐसे मामलों में टेक्नॉलॉजी का प्रयोग करते हुए भविष्य में ऐसी घटनाओं के घटित होने से पहले ही पूर्व सूचना प्राप्त करते हुए संभावित नुकसान को टालने की संभावनाओं को लेकर अपना संशोधन किया. जिसके लिए प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) को संगाबा अमरावती विद्यापीठ द्बारा आचार्य की पदवी प्रदान की गई.
बता दें कि, स्थानीय ख्यातनाम उद्योजक अविनाश व जयश्री कानतुटे की सुपुत्री तथा डॉ. शुभदा व संजय कानतुटे की बहू प्रा. पायल आदित्य वरणगांवकर (कानतुटे) ने अपने कामकाज की शुरुआत एक प्राध्यापक के तौर पर की. साथ ही उन्होंनें उद्योक क्षेत्र में एवं केंद्र सरकार पुरस्कृत खादी व ग्रामोद्योग मंडल (मुंबई) में सीनियर कंसलटंट के तौर पर भी काम किया है. साथ ही इस समय वे केजे सोमय्या कॉलेज ऑफ इंजिनियरिंग (मुंबई) में बतौर प्राध्यापक कार्यरत है. वे अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता व सास-ससुर सहित पति आदित्य वरणगांवकर, बेटे अक्षज वरणगांवकर तथा सिपना शिक्षा संस्था के अध्यक्ष जगदीश गुप्ता तथा सभी सहकारी प्राध्यापकों एवं मित्रगणों को देती है.