अमरावती

12 दिनों से रापनि कर्मचारियों की हडताल जारी

रोजाना 30 से 40 लाख रुपए का नुकसान

  • हडताली कर्मचारियों पर की जा रही निलंबन की कार्रवाई

अमरावती/दि.18 – विलिनीकरण की मांग को लेकर रापनि कर्मचारियों व्दारा राज्यव्यापी कामबंद आंदोलन किया जा रहा है. जिसके चलते संपूर्ण राज्यभर में बसें बंद है. अमरावती विभाग में भी पिछले 12 दिनों से जारी हडताल के चलते एसटी महामंडल को अमरावती विभाग में रोजाना 30 से 40 लाख रुपए का नुकसान हो रहा है. 12 दिनों से जारी हडताल में अब तक 4 करोड 80 लाख रुपए के राजस्व का नुकसान हो चुका है ऐसी जानकारी विभागीय नियंत्रक श्रीकांत गभने ने दी.
विभागीय नियंत्रक श्रीकांत गभने ने बताया कि अब तक हडताल कर रहे 75 कर्मियों को निलंबित कर दिया है. एसटी कर्मियों व्दारा की जा रही हडताल की वजह से यातायात व्यवस्था बुरी तरह से चरमारा गई है. जिले में 8 बसस्थानक बंद होने की वजह से यात्रियों को परेशानी उठानी पड रही है. यात्रियों को निजी बसों का सहारा लेना पड रहा है. बसस्थानक के सामने निजी बसों का व वाहनों का जमावडा है. निजी बसचालक मनमाने तरीके से किराया वसूल कर रहे है.

मोर्शी बसस्थानक के दस कर्मचारी निलंबित

हडताल कर रहे मोर्शी बसस्थानक के दस कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया. जिसमें चार चालक, चार वाहक व दो तकनीकी कर्मचारियों का समावेश है. निलंबित किए जाने के पश्चात भी यह सभी कर्मचारी आंदोलन में डटे हुए है. एसटी महामंडल का राज्य शासन में विलिनीकरण किया जाए यह हडताली कर्मियों की मुख्य मांग है. संपूर्ण राज्यभर में कामबंद आंदोलन किया जा रहा है इसी क्रम में जिले के आठ बसस्थान के कर्मचारी भी आंदोलन में शामिल है अब तक जिले के आठ बसस्थानाकों से 70 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया है.

परतवाडा डेपो के छह कर्मियों पर निलंबन की कार्रवाई

पिछले 12 दिनों से एसटी कर्मियों की राज्यव्यापी हडताल में परतवाडा डेपो के भी कर्मचारियों का समावेश है. इन हडताली कर्मियों पर कार्रवाई की जा रही है राज्यभर में अब तक 3 हजार से अधिक कर्मचारियों पर कार्रवाई कर उन्हें निलंबित कर दिया गया है. परतवाडा डेपो के भी छह हडताली कर्मियों को निलंबित कर दिया गया. इन कर्मचारियों में चालक रितेश रघुवंशी, निलेश पुरी, निलेश भांडे, कंडेक्टर नितिन हाते, अंकेश आष्टोनकर, ए.डी. मुंडे का समावेश है.

अस्थायी कर्मियों को 24 घंटो में काम पर लौटने के आदेश

एसटी कर्मियों व्दारा जारी हडताल में अस्थायी रुप से कार्यरत कर्मचारी भी शामिल हुए है. जिसमें एसटी महामंडल के विभागीय नियंत्रक कार्यालय व्दारा एसटी महामंडल के अस्थायी कर्मचारियों को 24 घंटे के भीतर काम पर लौटने के आदेश दिए है. जिसमें जिले के 9 अस्थायी कर्मियों को नोटिस जारी किए. 24 घंटों के भीतर अस्थायी कर्मचारी काम पर नहीं लौटे तो उनकी सेवा समाप्त की जा सकती है.

बसस्थानक निहाय जारी किए आदेश

विभाग नियंत्रक कार्यालय व्दारा जिले के 9 अस्थायी कर्मचारियों को नोटिस जारी कर उन्हें 24 घंटों के भीतर काम पर लौटने के आदेश दिए गए. इन कर्मियों में अमरावती बसस्थान के दो, बडनेरा के तीन, परतवाडा, मोर्शी, चांदूरबाजार, दर्यापुर बसस्थानक के एक-एक स्थायी कर्मी का समावेश है.

राज्य के 2,296 अस्थायी कर्मियों को सेवा समाप्ती का नोटिस

एसटी कर्मचारियों की हडताल खत्म होने का नाम नहीं ले रही. जिसमें एसटी महामंडल व्दारा हडताल कर रहे कर्मचारियों के खिलाफ बडा कदम उठाया गया. जिसके चलते राज्य के स्थायी रुप से एसटी महामंडल में कार्यरत 2,296 कर्मचारियों को सेवा समाप्ती का नोटिस जारी कर 24 घंटों के भीतर काम पर लौटने के आदेश दिए. अब तक एसटी महामंडल व्दारा 2,178 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया. इसी दरमियान मंगलवार को राज्य के साढे सात हजार कर्मचारी काम पर लौटे और शाम को 66 बसें राज्य के विविध क्षेत्रों में छोडी गई.

मानव अधिकार न्यायायिक सुरक्षा परिषद का समर्थन

विलिनीकरण की मांग को लेकर एसटी बस कर्मियों की हडताल जारी है. हडताल को विविध संगठनाओं व्दारा समर्थन दिया गया. इसी क्रम में अंतर्राष्ट्रीय मानव अधिकार व न्यायायिक सुरक्षा परिषद ने भी अपना समर्थन दिया. विदर्भ प्रदेश अधक्ष लक्ष्मीनारायण यादव, दिनेश यादव की उपस्थिति में समर्थन पत्र प्रदान किया गया.

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