अमरावती

अप्रैल के अंतिम माह में ली जानेवाली परीक्षा का शासन पुनर्विचार करे

विद्यार्थी, पालक, शिक्षकों की शासन से मांग

मोर्शी/ दि. 28– शालेय शिेक्षा व क्रीडा विभाग ने हाल ही में एक परिपत्रक निकाला. उसनुसार पूरे महाराष्ट्र की कक्षा पहली से नवी के विद्यार्थियों की वार्षिक परीक्षा अप्रैल के अंतिम सप्ताह में लेने का सूचित किया है. विदर्भ में बढते तापमान को देखकर शासन के इस निर्णय को पालक, विद्यार्थी व शिक्षको की ओर से विरोध किया जा रहा है.
मोर्शी शहर व तहसील की अनेक बडी शाला रोज दो सत्र में ली जाती है. जिसके कारण विद्यार्थियों की संख्या व उनकी बैठक व्यवस्था की दृष्टि से परीक्षा भी दो सत्र में लेनी पडेगी. सुबह के सत्र में यह परीक्षा साधारण रूप से 12 बजे तक ली जाती है तथा दोपहर के सत्र में परीक्षा दोपहर 12 के बाद शुरू होती है. जिसमें कुछ शालाओं मेें कुछ विषय के पेपर लिए जाते है. तहसील की अनेक शालाओं के छत टीन के है. कितनी ही शालाओं में पंखें की व्यवस्था भी नहीं है. अप्रैल माह के अंतिम सप्ताह में तापमान को देखकर बच्चे विद्यार्थी गर्मी के चटके में कैसे परीक्षा दे सकेंगे ऐसा सवाल पालक और शिक्षको द्बारा उपस्थित किया जा रहा है. इस संबंध में मोर्शी तहसील की दो हजार से अधिक विद्यार्थी संख्या वाले शिवाजी शाला के शिक्षक ने श्रीकांत देशमुख से संपर्क साधने पर उन्होंने दो सत्र में परीक्षा लेने का कहा. शासन के इस निर्णय से बाहर गांव से आनेवाले विद्यार्थियों को सबसे अधिक परेशानी होगी तथा गर्मी के कारण विद्यार्थियों का शारीरिक स्वास्थ्य खराब होने का भय व्यक्त किया, शासन इस निर्णय पर पुनर्विचार करे, ऐसी मांग की है.

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