बहिरम में लटका सर्विस रोड प्रकल्प
27 फर. का प्रस्ताव प्रादेशिक कार्यालय में धुल खा रहा
अमरावती/दि.14– श्री क्षेत्र बहिरम में 27 करोड रुपयों की लागत से साकार किया जाने वाला सेवा रास्ता प्रकल्प अमरावती जिला परिषद के नियमों व शर्तों की वजह से अधर में अटका पडा है. यात्रियों की सुविधा व सुरक्षा की दृष्टि से अत्यावश्यक रहने वाले इस प्रस्ताव की फाइल राष्ट्रीय महामार्ग प्राधिकरण के मुंबई प्रादेशिक कार्यालय में धुल खा रही है.
बता दें कि, अंजनगांव-बैतुल राष्ट्रीय महामार्ग क्रमांक 548-सी बहिरम यात्रा परिसर से होकर गुजरता है. बहिरम देवस्थान के ठीक बगल से होकर गुजरने वाले इस महामार्ग के दोनों ओर प्रतिवर्ष दिसंबर से फरवरी माह के दौरान यात्रा लगती है और इस यात्रा के दौरान बडी संख्या में भाविक श्रद्धालु बहिरम आते है. यात्रा परिसर से यह राष्ट्रीय महामार्ग गुजरने की वजह से यहां पर भारी वाहनों की आवाजाही काफी अधिक होती है. जिसकी वजह से यात्रियों सहित पर्यटकों की सुरक्षा खतरे में कही जा सकती है. इस बात को ध्यान में रखते हुए राष्ट्रीय महामार्ग विभाग ने इस रास्ते के दोनों ओर 12-12 मीटर की चौडाई वाले सर्विस रोड को बनाना प्रस्तावित किया है. इस हेतु आवश्यक जमीन जिला परिषद की रहने के चलते वह जगह सेवा रास्ते हुए उपलब्ध कराए जाने की मांग राष्ट्रीय महामार्ग प्राधिकारण ने जिला परिषद से की थी और इस जगह को लेकर मांग रहने वाला पत्र अमरावती की तत्कालीन जिला पालकमंत्री यशोमति ठाकुर तथा अकोला के तत्कालीन जिला पालकमंत्री बच्चू कडू को भी जानकारी हेतु भेजा गया था.
* नियमों व शर्तों की वजह से अटका काम
सेवा रास्ते यानि सर्विस रोड के लिए जिला परिषद ने राष्ट्रीय महामार्ग प्राधिकरण को जगह देते समय कुछ नियम व शर्तें लगाई है और इन्हीं नियमों व शर्तों की वजह से इस सर्विस लेन का काम अधर में अटका पडा है.
* 35 करोड रुपयों की घोषणा
अंजनगांव-बैतुल महामार्ग के लोकार्पण अवसर पर अक्तूबर 2021 में केंद्रीय मंत्री ने बहिरम तीर्थक्षेत्र में यात्रियों की सुरक्षा की दृष्टि से सर्विस रोड सहित अन्य आवश्यक सुधार हेतु 33 करोड रुपयों की घोषणा भी की थी. साथ ही 27 करोड रुपए की अपेक्षित खर्च का अंदाज पत्रक केंद्र सरकार के पास राष्ट्रीय महामार्ग प्राधिकरण द्वारा प्रस्तुत किया गया था.
* सुशोभिकरण को प्राधान्य
सेवा रास्ता प्रकल्प अंतर्गत राष्ट्रीय महामार्ग के दोनों ओर 12 मीटर चौडाईवाले स्वतंत्र सर्विस रोड, लोहे की ग्रील और सर्विस रोड पर प्रकाश व्यवस्था सहित सुशोभिकरण को प्राधान्य दिया गया है और तीर्थ यात्रियों और पर्यटकों की सुरक्षा को सबसे अग्रक्रम पर रखा गया है.