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अमरावती सहित 4 संसदीय सीटों पर शिंदे गुट का दावा

विदर्भ से होगी शिवसंकल्प अभियान की शुरुआत

* सीएम शिंंदे 6 जनवरी से 2 दिवसीय विदर्भ दौरे पर
* चारों संसदीय क्षेत्रों का करेंगे सघन दौरा
अमरावती/दि.30 – भाजपा नेता व राज्य के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने आगामी लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए मिशन लोकसभा का बिगुल फूंक दिया है. वहीं अब मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने भी शिवसंकल्प अभियान के तहत अपने राज्यव्यापी दौरे का नियोजन किया है. जिसकी आगामी 6 जनवरी को विदर्भ से शुरुआत होगी. अपने इस दो दिवसीय दौरे के तहत सीएम शिंदे फिलहाल शिवसेना के कब्जे में रहने वाले रामटेक, यवतमाल-वाशिम व बुलढाणा सहित अमरावती संसदीय क्षेत्र का दौरा करेंगे. जिसके चलते यह स्पष्ट है कि, यह शिवसंकल्प अभियान फिलहाल महायुती के पास रहने वाले इन चारों संसदीय क्षेत्रों में अपना दावा मजबूत करने के लिए आयोजित किया जा रहा है.
उल्लेखनीय है कि, विगत 2 वर्ष के दौरान शिवसेना व राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में दो फाड हो चुकी है और दोनों ही दलों में दो-दो गुट बन गये है. जिसमें से एक-एक गुट महाविकास आघाडी में और एक-एक गुट राज्य की सत्ता संभाल रही महायुती के साथ है. ऐसे में आगामी लोकसभा चुनाव के समय महायुती व महाविकास आघाडी के भीतर सीटों के बंटवारे को लेकर काफी हद तक रस्साकशीं हो सकती है. महायुती में अजित पवार गुट द्वारा शिंदे गुट के बराबर ही खुद को सीटे दिये जाने का आग्रह किया जा रहा है. जिसके चलते जिन संसदीय क्षेत्रों पर अपना दावा बनता है, ऐसे निर्वाचन क्षेत्रों पर सीएम शिंदे ने अपना ध्यान केंद्रीत करना शुरु कर दिया है. इसी के चलते आगामी 6 व 8 जनवरी को दो दिन सीएम शिंदे द्वारा विदर्भ के 4 संसदीय क्षेत्रों का दौरा किया जाएगा. इसके अमरावती को छोडकर अन्य 3 निर्वाचन क्षेत्र में शिवसेना के सांसद है और तीनों सांसदों द्वारा शिंदे गुट का समर्थन किया जाता है. वहीं अमरावती संसदीय सीट का प्रतिनिधित्व करने वाली निर्दलीय सांसद नवनीत राणा द्वारा केंद्र एवं राज्यस्तर पर भाजपा का समर्थन किया जाता है और सांसद नवनीत राणा व उनके पति विधायक रवि राणा महायुती में शामिल है. ऐसे में सीएम शिंदे का अमरावती निर्वाचन क्षेत्र में होने वाले दौरे की ओर सबका ध्यान लगा हुआ है. विशेष उल्लेखनीय है कि, विगत माह भी सीएम शिंदे एक दिवसीय दौरे पर अमरावती आये थे और उन्होंने राणा दम्पति द्वारा आयोजित शिवमहापुराण कथा में हाजिरी लगाई थी. सीएम शिंदे का वह दौरा विशेष रुप से राणा दम्पति के निमंत्रण पर ही आयोजित किया गया था और शिवमहापुराण कथा में हाजिरी लगाने के तुरंत बाद सीएम शिंदे अमरावती से रवाना भी हो गये थे. वहीं दूसरी ओर रामटेक, यवतमल-वाशिम व बुलढाणा संसदीय क्षेत्र में शिंदे समर्थक सेना सांसद है. ऐसे में उन तीनों निर्वाचन क्षेत्रों पर भी सीएम शिंदे द्वारा विशेष ध्यान दिया जा रहा है.

* अमरावती
विगत लोकसभा चुनाव में कांग्रेस व राकांपा के समर्थन हासिल कर निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर विजयी होने के बाद सांसद नवनीत राणा आगे चलकर भाजपा की समर्थक बन गई. साथ ही नवनीत राणा के हाथों पराजीत होने वाले पूर्व सांसद आनंदराव अडसूल शिवसेना में हुई दो फाड के बाद भाजपा के साथ रहने वाली शिवसेना शिंदे गुट के प्रमुख नेता बन गये और अब वे भी चुनाव की तैयारी में लग गये है. ऐसे में महायुती की ओर से किसे उम्मीदवारी दी जाये, यह एक बडा सवाल भाजपा और शिवसेना शिंदे गुट के सामने रहेगा. वहीं नवनीत राणा के पास भाजपा के केंद्रीय नेताओं का भरपूर समर्थन रहने के बावजूद भी सीएम शिंदे के शिवसंकल्प अभियान में अमरावती का समावेश रहने से स्पष्ट है कि, अमरावती संसदीय सीट पर शिंदे गुट द्वारा विकसित रुप से दावा किया जाएगा.

* यवतमाल-वाशिम
यवतमाल-वाशिम निर्वाचन क्षेत्र के लगातार 5 बार चुनाव जितने वाली शिवसेना सांसद भावना गवली इस समय शिंदे गुट वाली शिवसेना के साथ है और वे सीएम शिंदे के नेतृत्व में ही चुनाव लडने की तैयारी कर रही है. इस निर्वाचन क्षेत्र में शिंदे गुट से केवल संजय राठोड ही एकमात्र विधायक है. वहीं शेष 4 विधायक भाजपा के व 1 विधायक कांग्रेस के है, ऐसे में गवली को पूरी तरह से भाजपा की सहायता पर निर्भर रहना होगा.

* बुलढाणा
वर्ष 1996 तक कांग्रेस का मजबूत गढ रहने वाले निर्वाचन क्षेत्र में शिवसेना ने वर्ष 1996 के चुनाव में पहली बार जीत हासिल की थी. पश्चात वर्ष 1998 में कांग्रेस एक बार फिर विजयी हुई थी. लेकिन उसके बाद कांग्रेस को कभी सफलता नहीं मिली और वर्ष 2009 से शिवसेना के प्रतापराव जाधव लगातार तीन बार विजयी हुए. इस निर्वाचन क्षेत्र में शिंदे गुट के 2 व भाजपा के 3 विधायक है. यहां पर यद्यपि शिंदे गुट व भाजपा की अच्छी ताकत है, लेकिन ठाकरे गुट की ओर से भी इस सीट के लिए जमकर मोर्चाबंदी की जा रही है. जिसके चलते बुलढाणा पर सीएम शिंदे का विशेष ध्यान रहेगा.

* रामटेक
अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित रहने वाले रामटेक निर्वाचन क्षेत्र में हमेशा ही शिवसेना व कांग्रेस के आघाडी के बीच सीधी टक्कर होती रही. लगातार दो बार विजयी रहने वाले सांसद कृपाल तुमाने के जरिये इस निर्वाचन क्षेत्र में शिवसेना को युती के तहत भाजपा से काफी सहयोग मिलता रहा. वहीं अब शिवसेना में फूट पड जाने की वजह से शिवसेना की ताकत इस निर्वाचन क्षेत्र में काफी हद तक घट गई है. ऐसे में सीएम शिंदे के अभियान के जरिए इस निर्वाचन क्षेत्र में पार्टी को मजबूत करने का प्रयास किया जाएगा. विशेष उल्लेखनीय है कि, रामटेक निर्वाचन क्षेत्र में आज तक किसी भी सांसद की हैट्रीक नहीं हो पायी है. ऐसे में लगातार दो चुनाव जीत चुके तुमाने यह नयो रिकॉर्ड कायम करें. इसकी ओर भी शिवसंकल्प अभियान के तहत विशेष ध्यान दिया जाएगा.

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