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तीन पुलिसवाले सहित ६ घायल , कई वाहन खाक , लुटपाट की गई
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शहर में दिन भर रहाजबर्दस्त तनाव
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सुबह से युवाओं के हुजूम सडक पर निकले
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सभी इलाकों के तमाम व्यापार रहे पूरी तरह बंद
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राजकमल चौक व श्याम चौक पर उमडी हजारों की भीड
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शहर में कई दूकानों को जलाया व तोडफोड
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नमूना परिसर में जमकर पथराव व आगजनी
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गांधी चौक से चित्रा चौक तक जबर्दस्त बैरिकेटिंग
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चित्रा चौक से आगे पठान चौक तक पांच स्तर के बैरिकेटस् लगे
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सभी संवदेनशील इलाकों में कडा पुलिस बंदोबस्त
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छिटपुट बल प्रयोग के साथ ही आंसू गैस के गोले भी चले
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पूरा बवाल शहर के मध्य व पश्चिमी इलाकों में, पूर्वी छोर रहा पूरी तरह से शांत
अमरावती/दि.13 – गत रोज त्रिपुरा में घटितजातिय हिंसा की घटना के खिलाफ अमरावती शहर में मुस्लिम समूदाय द्वारा एक मोर्चा निकाला गया था. इस मोर्चे में शामिल कुछ असामाजिक तत्वों ने शहर के कई व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर पथराव करने के साथ ही तोडफोड की घटना को अंजाम दिया था. साथ ही कई व्यापारियों के साथ मारपीट भी की गई थी. जिसके विरोध में भारतीय जनता पार्टी द्वारा आज शनिवार 13 नवंबर को अमरावती बंद का आवाहन किया गया था. जिसके चलते आज जहां एक ओर पूरा शहर बेहद कडे तरीके से बंद रहा. वहीं इस बंद के दौरान हिंसा, आगजनी व तोडफोड की घटनाएं भी जमकर हुई. जिसकी वजह से पूरा दिन शहर में जबर्दस्त तनाव बना रहा तथा दोनों समुदायों के बीच टकराववाली स्थिति बनी रही. ऐसे में हालात पर काबू पाने के लिए पुलिस को जहां हलका बलप्रयोग करने के साथ ही आंसू गैस के गोले छोडने पडे. इसके बाद तनाव को लगातार बढता देख संवेदनशील इलाकों में लगातार चार दिनों का कर्फ्यू घोषित कर दिया गया. साथ ही इंटरनेट सेवा को भी सुस्त कर दिया गया.
बिना किसी नेता के स्वयंस्फूर्त हुआआंदोलन
यहां यह विशेष उल्लेखनीय है कि, कल चित्रा चौक व वसंत टॉकीज परिसर में हुए तोडफोड व पथराव की घटना के खिलाफ यद्यपि भारतीय जनता पार्टी द्वारा आज शनिवार 13 नवंबर को अमरावती बंद का आवाहन किया गया था. किंतु शनिवार की सुबह यह बंद और आंदोलन किसी दल विशेष या नेता का नहीं रहा, क्योंकि सुबह से सभी लोगों ने स्वयंस्फूर्त तौर पर अपनी दूकाने बंद रखी और सुबह 8 बजे से ही राजकमल चौराहे पर शहर के विभिन्न इलाकों के लोगोें का जमावडा लगना शुरू हो गया. जिनमें युवाओं की संख्या सबसे अधिक थी. सुबह 8 से 9 बजे तक राजकमल चौराहे पर भगवा झंडे लिये और भगवा साफे पहने हजारों लोगों की भीड इकठ्ठा हो चुकी थी, जो कल हुई घटना का निषेध करने के साथ ही जबर्दस्त नारेबाजी भी कर रही थी. देखते ही देखते राजकमल चौक से शाम चौक तथा नमुना चौक पूरी तरह भीडभाड से बढ गया. ऐसे में यहां पर पुलिस का कडा बंदोबस्त तैनात किया जाने लगा और शहर पुलिस के साथ-साथ क्यूआरटी पथक, आरसीपी प्लाटून, ग्रामीण पुलिस, एसआरपीएफ तथा वज्र वाहन को राजकमल चौराहे सहित पूरे परिसर में तैनात किया गया.
उत्तेजक नारेबाजी के साथ ही बढता गया तनाव
कल हुई तोडफोड की घटना का निषेध करने के साथ ही अपना संताप व्यक्त करने हेतु राजकमल चौराहे पर उमडी भीड द्वारा कई उत्तेजक नारे भी लगाये गये. इसके साथ ही यहां से भीड में शामिल एक हुजूम श्याम चौक, जयस्तंभ चौक, सरोज चौक व चित्रा चौक की ओर बढा. जिसके द्वारा नगर वाचनालय के सामने स्थित अस्थायी दुकानों के काउंटरों की तोडफोड करने के साथ ही मोची गली परिसर स्थित कई दूकानों पर पथराव किया गया. वहींदूसरे हुजूम ने ऑटो गली परिसर स्थित एक पानठेले व खोके को पलटा दिया गया. साथ ही रेल्वे पुलिया के निचे स्थित गैरेज पर भी पथराव व तोडफोड की गई.
नमूना गली में लगातार टकराववाली स्थिति
राजकमल चौराहे पर जमा भीड में से युवाओं का एक जत्था पास ही स्थित नमूना परिसर में जा घुसा. जहां पर सडक किनारे लगे ठेले व अस्थायी दुकानों को निशाना बनाकर तोडफोड करनी शुरू की गई. इस समय नमूना परिसर में रहनेवाले लोगोें ने इसका प्रतिकार करना शुरू किया, तो दोनों ओर के युवा आमने-सामने आ गये और यहां पर जमकर पत्थरबाजी होने लगी. जिससे तनावपूर्ण स्थिति बन गई. इसी दौरान भीड में शामिल किसी ने यशोदा दूध डेअरी के सामने चौबे नुक्कड कचोरी के बगल में स्थित एक पानठेले व इलेक्ट्रीकल की दुकान को आग लगा दी. साथ ही यहां पर कुछ आपत्तिजनक नारेबाजी भी की गई. जिससे दूसरे समूदाय के लोग भडककर आगे आये और नमूना परिसर के इस दूसरे छोर पर भी तनाव व टकराववाली स्थिति बन गई.
संमिश्र बस्तिवाले इलाकों में रहा सबसे अधिक तनाव
बता दें कि, शहर के नमूना, इतवारा बाजार, मसानगंज, महेंद्र कालोनी व पटवा चौक जैसे इलाकों में विगत अनेक वर्षों से हिंदू-मुस्लिम समूदाय के लोग एक साथ रहते है और कई इलाकों में तो दोनों समूदायों के लोगों के घर एक-दूसरे से सटे हुए भी है. ऐसे में आज किये गये बंद व आंदोलन की वजह से इन सभी इलाकों में सबसे अधिक तनाव, संभ्रम व अविश्वासवाली स्थिति देखी गई. साथ ही इन सभी इलाकों में हालात पर काबू बनाये रखने हेतु पुलिस की ओर से कडा बंदोबस्त भी लगाया गया था.
लाठी चार्ज से हुई पुलिस कार्रवाई की शुरूआत
नमूना, नगर वाचनालय व चित्रा चौक पर प्रदर्शनकारियों द्वारा पथराव, आगजनी व तोडफोड किए जाने के साथ ही बंदोबस्त में तैनात पुलिस फोर्स एक्शन में आ गई और भीड को तीतर-बीतर करने के लिए कई जगहों पर हलका लाठी चार्ज किया गया. किंतु इसके बावजूद जहां पर हालात काबू में आते नहीं दिखे, वहां पुलिस ने आंसू गैस के गोले भी चलाये.
चित्रा चौक से चांदनी चौक तक ‘नो मैन्स लैण्ड’
आज के बंद को देखते हुए जहां बीती रात से शहर पुलिस द्वारा शहर के सभी संवेदनशील इलाकों में जबर्दस्त बंदोबस्त तैनात किया गया था. वहीं हिंदू बहूल व मुस्लिम बहूल इलाकों को बांटनेवाले परिसर में कडी बैरिकेटिंग की गई थी, ताकि दोनों समुदायों के बीच टकराववाली स्थिति न बने. इसके तहत चित्रा टॉकीज से चांदनी चौक परिसर को एक तरह से ‘नो मैन्स लैण्ड’ बना दिया गया था. साथ ही जवाहरगेट व सक्करसाथ होते हुए नागपुरी गेट परिसर की ओर जानेवाली सडक को भी बंद कर दिया गया था. इसके अलावा चांदनी चौक से आगे पठान चौक के बीच भी जगह-जगह बैरिकेटिंग की गई थी. जिसके चलते इस पूरे परिसर में वाहनों की आवाजाही बंद करवा दी गई थी. साथ ही इतवारा बाजार परिसर को कडबी बाजार व गवलीपुरा की ओर जानेवाली गलियों के मुहाने पर भी पुलिस बल को तैनात किया गया था.
शनि मंदिर के कांच तोडे, पूजारी के साथ मारपीट
– तीन पुलिस सिपाहियों को दंगाईयों ने किया घायल
– मसानगंज के लडके को चाकू मारा
शहर में राजकमल चौराहे व आसपास के परिसर में बंद को लेकर तनाव बढने के साथ-साथ पश्चिमी क्षेत्रवाले इलाकों में भी संतप्त लोगों का हुजूम जूटना शुरू हो गया था और नमूना परिसर की ओर से फोन व वॉटसऍप के जरिये मिल रही कई तरह की खबरों को लेकर तनाव भी बढने लगा था. जिसके चलते चांदनी चौक परिसर में इकठ्ठा युवाओं के हुजूम ने बंदोबस्त में तैनात पुलिसवालों पर भी धावा बोला. जिसमें 3 पुलिस कर्मी घायल हुए. इसके साथ ही चांदनी चौक व छत्रपुरी बालाजी खिडकी के पास जमा हुजूम ने इसी परिसर में स्थित शनि मंदिर के मुख्य प्रवेशद्वार के कांच को तोड दिया गया. साथ ही शनि मंदिर के पूजारी के साथ मारपीट भी की गई. वहीं मसानगंज परिसर में एक युवक को किसी ने चाकू मारकर घायल कर दिया. इसी तरह की हिंसक वारदातों के चलते माहौल लगातार बिगडता चला गया.
पुलिस के सामने चुन-चुनकर बनाया गया दूकानों को निशाना
शनिवार की सुबह 9 बजे से राजकमल चौराहे पर इकठ्ठा भीड ने इस परिसर की कई दूकानों को चुन-चुनकर अपने गुस्से का निशाना बनाया. पुलिस को संभवत: यह अनुमान था कि, भाजपा सहित अन्य हिंदूत्ववादी दलों के प्रमुख नेता आने के बाद आंदोलन की शुरूआत होगी, किंतु राजकमल चौराहे पर स्वयंस्फूर्त रूप से इकठ्ठा हुई भीड ने किसी नेता के आने या किसी का आदेश मिलने का इंतजार ही नहीं किया. बल्कि राजकमल, अंबादेवी रोड, ऑटो गली, नमूना परिसर, श्याम चौक, नगर वाचनालय व मोची गली परिसर में स्थित दूकानों को चुन-चुनकर अपना निशाना बनाना शुरू किया. जिसके चलते पुलिस भी कुछ देर के लिए भौचक रह गई तथा अतिरिक्त पुलिस बल आने तक मौके पर तैनात पुलिस कर्मियों की आंखों के सामने ही पथराव, तोडफोड व आगजनी का माहौल चलता रहा.
सुबह से सभी छोटे-बडे व्यापारी प्रतिष्ठान रहे पूरी तरह बंद
गत रोज हुई पथराव और तोडफोड की घटना के बाद आज आहूत किये गये बंद के दौरान कोई अनिष्ठ घटित होने की संभावना के चलते शहर के सभी क्षेत्रों में सभी तरह के छोटे-बडे व्यापारिक प्रतिष्ठान पूरी तरह से बंद रहे और किसी भी इलाके में चायटपरी व पानठेले तक नहीं खुले. ऐसे में शहर की सडकों पर शनिवार की सुबह से पूरी तरह सन्नाटा देखा गया. वहीं बाद में कल की घटना के निषेध में किये गये आंदोलन के चलते सभी ओर तनाव व्याप्त हो गया.
कैम्प परिसर में रही अपेक्षाकृत शांति
जिस समय शहर के मध्यस्थल एवं पश्चिमी क्षेत्र के बीच जबर्दस्त तनाव एवं टकराववाले हालात बनें हुए थे, ठीक उसी समय शहर के पूर्वी छोर पर बसे कैम्प, चपरासीपुरा, वडाली तथा बिच्छू टेकडी जैसे इलाकोें में जन-जीवन पूरी तरह से आम व सामान्य था. हालांकि इन सभी इलाकों में भी पुलिस द्वारा ऐहतियात के तौर पर तमाम आवश्यक प्रतिबंधात्मक उपाय किये गये थे. किंतु दोनों समुदायों की संमिश्र बस्ती रहने के बावजूद कैम्प परिसर में किसी भी तरह का कोई तनाव नहीं देखा गया.
मीडिया कर्मियों व फोटोग्राफरों से भी मारपीट
राजकमल चौराहे के साथ ही शहर के अन्य इलाकों में चल रहे प्रदर्शन, तोडफोड व पथराव के समाचारों का संकलन कर रहे मीडिया कर्मी तथा फोटो व वीडियो निकाल रहे प्रेस फोटोग्राफरों को भी दंगाईयों की भीड ने नहीं छोडा तथा कई स्थानों पर मीडिया कर्मियों के साथ मारपीट की गई. साथ ही फोटोग्राफरों व वीडियो ग्राफरों से उनके कैमेरे भी छिने गये.
हर ओर रहा भगदड व बदहवासी का आलम
सुबह 9 बजे से जहां एक ओर राजकमल चौराहे पर भाजपा द्वारा किये गये आवाहन के चलते बजरंग दल व विश्व हिंदू परिषद जैसे हिंदुत्ववादी संगठनों के पदाधिकारी व कार्यकर्ता जूटने शुरू हुए. जिनके द्वारा जबर्दस्त नारेबाजी करने के साथ ही कई इलाकों में तोडफोड व आगजनी की घटनाओं को अंजाम दिया गया. वहीं दूसरी ओर दोपहर बाद मुस्लिम बहुल इलाकों में भी संतप्त युवाओं का हुजूम इकठ्ठा होने लगा और ईट का जवाब पत्थर से देने की तैयारी की जाने लगी. ऐसे में पुलिस द्वारा दोनों ओर के उत्पातियों के खिलाफ बल प्रयोग किया जाता रहा और भीड को तीतर-बीतर करने के लिए आंसू गैस के गोले भी छोडे गये. जिससे हर ओर भगदड और बदहवासी का माहौल रहा. साथ ही दोनों ओर के लोगों के चित्रा चौक पर एक-दूसरे के आमने-सामने आ जाने और बेहद तनावपूर्ण स्थिति के साथ ही टकराववाले हालात बनने के चलते पुलिस को दोपहर बाद हवाई फायरिंग भी करनी पडी.
सोशल मीडिया पर अपडेट के साथ ही अफवाहें भी
आज अमरावती शहर में सोशल मीडिया ने भी काफी हद तक आग को भडकाने का काम किया. जहां एक ओर बंद और आंदोलन को लेकर सोशल मीडिया पर अलग-अलग इलाकों के फोटो व वीडियो सहित अपडेटेड खबरें चल रही थी. वहीं कुछ विघ्नसंतोषियों ने सोशल मीडिया पर बेसिरपैर की खबरें फैलाना भी शुरू कर दिया. जिसके चलते यहां तनाव हुआ, वहां पथराव हुआ जैसी खबरों की वजह से दूसरे इलाकों में भी तनाव व संताप बढता दिखाई दिया. जिसने काफी हद तक हालात बिगाडने का काम किया. साथ ही कई जगहों पर ‘चिंधी का सांप’ बनाने का काम भी हुआ. जिससे हालात लगातार बिगडते चले गये. हालांकि कई जिम्मेदार व समझदार ग्रुप एडमिनों द्वारा अपने-अपने ग्रुप को लॉक कर दिया गया, ताकि बेवजह की बेसिरपैरवाली पोस्ट तथा बल-वे से संबंधित फोटो व वीडियो वायरल न हो सके.
जुनी छत्रपुरी खिडकी पर हवा में की गई रबरी फायरिंग
अपृष्ट जानकारी के मूताबिक लाठीचार्ज व आंसू गैस के गोले छोडे जाने के बावजूद हालात काबू में नहीं आते देख बंदोबस्त में तैनात पुलिस द्वारा जुनी छत्रपुरी खिडकी के पास बलवाईयों को नियंत्रित करने हवां में रबरी गोलियां यानी डमी राउंड फायर किये गये.
आज रात अमरावती वापिस लौटेंगी सीपी डॉ. सिंह
बता दें कि, शहर पुलिस आयुक्त डॉ. आरती सिंह विगत कुछ दिनों से किसी कारणों के चलते अवकाश पर है और वे राजस्थान गई हुई है. किंतु वे अमरावती शहर में चल रहे हालात पर अपनी पूरी नजर रखे हुए है और पल-पल का अपडेट ले रही है. आज सुबह अमरावती शहर में फसाद व विवाद की स्थिति बनते ही सीपी डॉ. आरती सिंह ने तुरंत ही चार दिन का कर्फ्यू लगाने का निर्णय लिया और अपने अधिनस्थ अधिकारियों को इस संदर्भ में आवश्यक निर्देश दिये. साथ ही सीपी डॉ. आरती सिंह ने तुरंत ही अपना अवकाश बीच में खत्म कर अमरावती लौटने का फैसला किया. जिसके चलते वे आज सुबह ही जयपुर से रवाना हो गई और आज शाम करीब 8 बजे वे अमरावती पहुंच रही है. जिसके बाद वे एक बार फिर शहर पुलिस आयुक्तालय की कमान संभालेंगी.
पालकमंत्री ठाकुर ने कलेक्ट्रेट से संभाला कंट्रोल
वहीं शहर में हिंसा, तोडफोड, आगजनी व पथराव का दौर शुरू होने की जानकारी मिलते ही जिला पालकमंत्री यशोमति ठाकुर तुरंत जिलाधीश कार्यालय पहुंची और उन्होंने वहां बैठकर पुलिस सहित विभिन्न महकमों के अधिकारियों से समन्वय साधते हुए प्रशासन की कमान अपने हाथों में ली. इस समय तक राज्य के गृह मंत्रालय तक भी अमरावती के हालात की जानकारी पहुंच चूकी थी और पूरे मामले पर उच्च स्तरीय समिती द्वारा नजर रखी जा रही थी. ऐसे में जिला पालकमंत्री यशोमति ठाकुर लगातार प्रशासन व सरकार के बीच संवादसेतु की भूमिका निभा रही थी. साथ ही उन्होंने समाज के सभी घटकों से शांति बनाये रखने का आवाहन भी किया.
नेताओं व धर्मगुरूओं ने की शांति बनाये रखने की अपील
सुदूर पूर्वोत्तर में बसे त्रिपुरा राज्य की घटना को लेकर अमरावती में दंगा सदृश्य हालात बन गये. जिससे शहर के सामाजिक सौहार्दवाला वातावरण बिगडा गया. ऐसे में विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओें तथा जनप्रतिनिधियों सहित सभी धर्मों के धर्मगुरूओं द्वारा शहर के सभी नागरिकों से शांति व आपसी भाईचारा बनाये रखने का आवाहन किया गया. साथ ही कहा गया कि, पुलिस द्वारा हालात पर काबू पाने के लिए चार दिनों का कर्फ्यू लगाया गया है. इस दौरान सभी लोग अपने-अपने घरों में रहे तथा प्रशासन के साथ सहयोग करते हुए एक बार फिर शहर के सामाजिक सौहार्द को कायम करे.
पुलिस का प्राथमिक अनुमान दूसरी बार चूका
जानकारी के मुताबिक पुलिस को अनुमान था कि, भारतीय जनता पार्टी के आवाहन पर विश्व हिंदू परिषद व बजरंग दल जैसे संगठनों के कार्यकर्ता राजकमल चौराहे पर जुटेंगे तथा घोषणाबाजी व नारेबाजी के बाद सुबह 11-12 बजे तक यह आंदोलन व प्रदर्शन खत्म हो जायेगा. किंतु अपेक्षा से विपरित हिंदुत्ववादी संगठनों के पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं के साथ ही शहर के अनेकों व्यापारी व नागरीक स्वयंस्फूर्त रूप से इस आंदोलन में हिस्सा लेने पहुंचे और किसी को भी इस आंदोलन का नेतृत्व करने की जरूरत नहीं पडी, बल्कि लोगबाग खुद ही नारेबाजी और आंदोलन करने लगे. साथ ही कुछ समय पश्चात भीड अनियंत्रित हो गई. जिसकी वजह से तोडफोड, पथराव एवं आगजनी जैसी घटनाएं घटित हुई और दोनों ओर से टकराववाली स्थिति बनी. यानी कुल मिलाकर आज हुए आंदोलन को लेकर शहर पुलिस का अनुमान कुछ हद तक चूक गया और पुलिस पहले ही स्थिति को भांप नहीं पायी. उल्लेखनीय है कि, गत रोज मुस्लिम समाज द्वारा रजा अकादमी के आवाहन पर निकाले गये मोर्चे के समय भी शहर पुलिस मोर्चे में शामिल होनेवाले लोगों की संख्या को लेकर समय रहते सही आकलन नहीं कर पायी थी. जिसकी वजह से बंदोबस्त में बेहद कम पुलिसवाले तैनात थे. जिसका मोर्चे में शामिल कुछ असामाजिक तत्वों ने पूरा फायदा उठाया.
वीडियो फूटेज व फोटो के आधार पर खोजे जा रहे दंगाई
मिली जानकारी के मुताबिक आज घटित हंगामे के बाद विभिन्न पुलिस थानों में दंगाईयों व उत्पातियों के खिलाफ मामले दर्ज किये गये है. साथ ही तोडफोड, पथराव व आगजनी की घटना को अंजाम देनेवाले लोगोें की पहचान वीडियो फुटेज व फोटोग्राफ्स के जरिये की जा रही है. इसके लिए शहर पुलिस ने जहां एक ओर सोशल मीडिया पर घुम रहे कंटेंट पर नजर रखनी शुरू की है, वहीं दूसरी ओर प्रेस फोटोग्राफर व वीडियोग्राफर के पास उपलब्ध फोटो व वीडियो भी मांगे जा रहे है, ताकि दंगाईयों की पहचान की जा सके.
चांदनी चौक पर लगातार गरमाया हुआ है मामला
समाचार लिखे जाने तक मिली जानकारी के मुताबिक दोपहर 3 बजे के बाद तक चांदनी चौक परिसर में हजारों मुस्लिम युवाओं का हुजूम जमा हुआ था, जो काफी उत्तेजित भी थे. इसी दौरान चांदनी चौक के पास ही छत्रपुरी बालाजी खिडकी के पास स्थित संतोष हेडा की किराणा माल दुकान में तोडफोड करने के साथ ही दुकान में रखे माल की लूटपाट की गई और तेल के डिब्बों को सडक पर लाकर पलटा दिया गया. ऐसे में जिला पुलिस अधीक्षक अविनाश बारगल व अपर पुलिस अधीक्षक शशिकांत सातव ने शहर पुलिस का साथ देने के उद्देश्य से सक्करसाथ परिसर व चांदनी चौक में बंदोबस्त की कमान संभाली.
डीसीपी मकानदार के बदले संदीप पाटील प्रभारी पुलिस आयुक्त
चूंकि इस समय शहर पुलिस आयुक्त डॉ. आरती सिंह अवकाश पर है. ऐसे में उनके पीछे पुलिस उपायुक्त मकानदार को प्रभारी पुलिस आयुक्त का जिम्मा सौंपा गया था. किंतु गत रोज हुई हिंसा व तोडफोड की घटना के बाद डीसीपी मकानदार के पास से यह प्रभार हटाकर डीसीपी पाटील को दे दिया गया. जिन्होंने प्रभारी पुलिस आयुक्त के तौर पर आज दोपहर 2 बजे से अमरावती शहर पुलिस आयुक्तालय क्षेत्र में कर्फ्यू लागू करने का आदेश जारी किया. हालांकि दोपहर 2 बजे से कर्फ्यू लागू होने के बावजूद अगले दो-तीन घंटों तक शहर के अधिकांश इलाकों की सडकों पर अच्छी-खासी गहमागहमी देखी गई. वहीं दोपहर बाद तक अमरावती शहर में हालात को संभालने के लिए वर्धा, नागपुर व अकोला की पुलिस सहित नागपुर एसआरपीएफ की पांच बटालियन बुलाई गई. जिन्हें शहर के अलग-अलग इलाकों में तैनात किया गया.
सिटीलैंड, बिजिलैंड, ड्रिम्जलैंड रहा बंद
भारतीय जनता पार्टी की ओर से आज अमरावती शहर बंद का ऐलान किया गया था. इस बंद को समर्थन देते हुए सिटीलैंड, बिजिलैंड व डिम्जलैंड मार्केट पूरी तरह से बंद रहा. सिटीलैंड सोशल वेलफेअर ऐसासिएशन, बिजीलैंड व्यापारी सामाजिक संगठन व ड्रिम्जलैंड ऐसासिएशन के सभी पदाधिकारियों ने इस अमरावती बंद को समर्थन देते हुए अपने प्रतिष्ठानों को पूरी तरह से बंद रखा.
अमन व शांति बनाये रखें
हजरत मौलाना मुफ्ती की अपील
अमन व शांति बनाये रखें
हजरत मौलाना मुफ्ती
फिरोज साहब की अपील
अमरावती-कल और आज शहर में उपजी परिस्थितियों के बाद आज हजरत मौलाना मुफ्ती फिरोज साहब ने एक अपील जारी कर शहर में पुरी तरह अमन कायम रखने की बात कही. मौलाना साहब ने सभी मुस्लिम बंधुओं से अमन व शांति बनाए रखने की अपील की है. अपील में कहा गया है कि पुलिस अपना काम कर रही है. सभी मुस्लिम भाई पुरी तरह से शांति अमन बनाये रखे.
पालकमंत्री यशोमति ठाकुर पहुंची पूर्व पालकमंत्री गुप्ता के घर
कल बंद के दौरान गुप्ता परिवार के आवास व दुकान पर हुई थी तोडफोड
गत रोज मुस्लिम समाज द्वारा निकाले गये मोर्चे के दौरान कॉटन मार्केट रोड स्थित पूर्व पालकमंत्री जगदीश गुप्ता के प्रतिष्ठान गोपाल किराणा व उनके आवास पर कुछ लोगों ने जमकर पथराव किया था. जिसके पश्चात जिला पालकमंत्री यशोमति ठाकुर आज गुप्ता परिवार के आवास पर सदिच्छा भेट देने हेतु पहुंची. इस समय पालकमंत्री यशोमति ठाकुर ने गुप्ता परिवार के सदस्यों से आत्मीयतापूर्वक पूछताछ करने के साथ ही कल घटित घटना के बारे में जानकारी हासिल की.
भाजपा नेताओें ने लिया बंद व आंदोलन में हिस्सा
पूर्व जिला पालकमंत्री व विधान परिषद सदस्य प्रवीण पोटे पाटील के नेतृत्व में पूर्व पालकमंत्री डॉ. अनिल बोंडे, महापौर चेतन गावंडे, भाजपा के पूर्व शहराध्यक्ष जयंत डेहनकर, पूर्व स्थायी सभापति राधा कुरील, पार्षद सुरेखा लुंगारे, कॉटन मार्केट अध्यक्ष कौशिक अग्रवाल तथा ललीत समदूरकर, सतीश करेसिया व संजय अग्रवाल सहित भाजपा के अनेकोें पदाधिकारियों ने इस बंद व आंदोलन में हिस्सा लिया. इसके साथ ही भाजपा की ओर से आव्हानित किये गये इस आंदोलन में विश्व हिंदू परिषद, बजरंग दल, शिवसेना व करणी सेना सहित अनेकों हिंदुत्ववादी संगठनों द्वारा हिस्सा लिया गया.
पार्षद सारस्कर ने बंदोबस्त में तैनात पुलिस कर्मियों को दिया चाय-नाश्ता
शनिवार की सुबह से राजकमल चौराहे पर बंदोबस्त में तैनात पुलिस कर्मियों को क्षेत्र के पार्षद अजय पाटील सारस्कर ने अंबापेठ स्थित साहू नाश्ता सेंटर के जरिये चाय-नाश्ते की सेवा व सुविधा उपलब्ध करायी, ताकि दिनभर इन पुलिसवालों को खाने-पीने की कोई चिंता न रहे.