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‘उस’ सडक की अब आनन-फानन में की जा रही सफाई

युवा उद्योजक की मौत के बाद खुली सबकी नींद

* रास्ते पर पडी रेत गिट्टी पर दुपहिया फिसलने से हुआ था हादसा
* हादसे में राज शर्मा नामक 25 वर्षीय युवक की हुई थी मौत
अमरावती/दि.14 – बीती रात स्थानीय सातुर्णा से साई नगर की ओर जाने वाली सडक पर रास्ते पर पडी रेती-गिट्टी व चूरी की वजह से दुपहिया वाहन फिसलकर घटित हादसे में राज शर्मा नामक 25 वर्षीय युवा उद्योजक की मौत हो गई थी. जिसके बाद अब संबंधित विभाग सहित रास्ते का निर्माण कर रहे ठेकेदार की नींद खुली है और अब इस सडक से रेती-गिट्टी हटाते हुए रास्ते को साफ-सुथरा करने का काम किया जा रहा है. लेकिन यह एक तरह से सांप निकल जाने के बाद लाठी पीटने वाली बात है. क्योंकि अब लाख जतन करने के बावजूद इस सडक पर घटित हादसे में मृत हुए राज शर्मा की जान वापिस नहीं आने वाली है.
बता दें कि, साई नगर से सातुर्णा के बीच वाली सडक पर विगत कई दिनों से कांक्रिटीकरण का काम चल रहा है और इस काम की रफ्तार बेहद सुस्त है. साथ ही इस काम की वजह से इस सडक पर जगह-जगह रेती, गिट्टी व चूरी फैले हुए है. जिसे ध्यान में रखते हुए लंबे समय से अंदेशा जताया जा रहा था कि, यहां पर कभी भी कोई सडक हादसा घटित हो सकता है, लेकिन इसके बावजूद संबंधितों द्वारा इस बात की ओर गंभीरतापूर्वक ध्यान नहीं दिया गया और यहीं लापरवाही राज शर्मा नामक 25 वर्षीय युवक की मौत का कारण बनी.
बता दें कि, 12 व 13 मई की दरम्यानी रात 1.30 बजे के आसपास साई नगर परिसर में रहने वाला 25 वर्षीय राज शर्मा अपनी बुलेट दुपहिया पर सवार होकर सातुर्णा से अपने घर जाने हेतु साई नगर की ओर जा रहा था. परंतु सातुर्णा से कुछ ही दूर आगे सडक पर रेती, गिट्टी व चूरी का ढेर पसरा पडा था. जिसके उपर से दुपहिया वाहन का पहिया जैसे ही गुजरा, वैसे ही दुपहिया वाहन अनियंत्रित होकर फिसल गया और राज शर्मा सीधे सिमेंट की सडक के किनारे बनाई गई गहरी नाली में जा गिरे. जिनके उपर उनकी भारी भरकम बुलेट बाइक भी आकर गिर गई. इस समय राज शर्मा को मोबाइल फोन क्षतिग्रस्त होकर स्वीचऑफ हो गया था. जिससे उनका किसी के साथ संपर्क नहीं हो पाया था. पश्चात अगले दिन यानि 13 मई की सुबह जब परिसर में रहने वाले कुछ लोग मॉर्निंग वॉक पर निकले, तब उन्हें इस हादसे का पता चला और राज शर्मा को तुरंत ही अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां पर डॉक्टरों ने उन्हें देखते ही मृत घोषित करते हुए अनुमान जताया कि, राज शर्मा की मौत तडके साढे 3 बजे के आसपास ही हो गई थी. यानि इस हादसे के बाद भी अगले दो घंटे तक राज शर्मा के जिस्म में जान थी और घटनास्थल पर काफी देर तक पडे रहने के बाद राज शर्मा की मौत हुई. इस जानकारी के सामने आते ही साई नगर से लेकर सातुर्णा तक इस परिसर में रहने वाले लोगों में संबंधित सडक का निर्माण कर रहे ठेकेदार और सरकारी अधिकारियों के खिलाफ असंतोष व्याप्त हो गया. जिसे देखते हुए संबंधित ठेकेदार ने आज सुबह से मामले पर लिपापोती करने के लिए उस सडक पर फैले रेती, गिट्टी व चूरी को हटाने का काम शुरु किया. जिसके तहत संबंधित ठेकेदार द्वारा कई मजदूर लगाकर पूरी सडक की साफ-सफाई की गई तथा सडक पर फैली रेती, गिट्टी को जमा करते हुए ट्रैक्टर ट्रॉली के जरिए कहीं ओर ले जाकर फेकवाया गया.
कहना अतिशयोक्ति नहीं होगा कि, यदि क्षेत्रवासियों द्वारा विगत लंबे समय से की जा रही शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए संबंधित ठेकेदारों द्वारा समय रहते इससे पहले ही यह काम करवाया गया होता, तो एक होनहार व उत्साही युवा उद्योजक राज शर्मा की इस तरह से सडक हादसे में जान नहीं गई होती.

 

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