सराफा व्यवसायी के हत्यारों का अब तक नहीं चला पता
कल दोपहर तिवसा के त्रिमूर्ति नगर में दिन-दहाडे घर में घुसकर हुई थी हत्या
* 70 से 75 लाख रुपए का सोना व 3 लाख रुपए की नगद रकम है घर से गायब
* लूटपाट के इरादे से हत्या होने का संदेह, पूरे परिसर में मचा हुआ है हडकंप
* ग्रामीण एसपी आनंद व एएसपी साली ने किया घटनास्थल का मुआयना
* परिसर के सीसीटीवी कैमरों को खंगाला जा रहा, अब तक नहीं मिला कोई सुराग
तिवसा/दि.28 – बीती शाम स्थानीय त्रिमूर्ति नगर परिसर में रहने वाले सुवर्ण व्यवसायी संजय मांडले का रक्तरंजित शव उनके ही घर से बरामद हुआ था. जिसे देखकर सहज अनुमान लगाया गया कि, किसी ने संजय मांडले के घर में घुसकर उनके सिर पर किसी भारी एवं वजनदार वस्तु से जोरदार वार करते हुए उन्हें मौत के घाट उतार दिया है. इसकी जानकारी मिलते ही पुलिस के दल ने तुरंत ही मौके पर पहुंचकर जांच शुरु की, तो जांच के दौरान पता चला कि, संजय मांडले के घर से करीब 70 से 75 लाख रुपयों का सोना और लगभग 3 लाख रुपए की नगद रकम गायब है. जिसके चलते यह अनुमान लगाया जा रहा है कि, संभवत: एक या एक से अधिक लोगों ने लूटपाट के इरादे से मांडले परिवार के घर में घुसकर संजय मांडले की हत्या की और हत्याकांड के साथ ही लूट की घटना को अंजाम देकर मौके से फरार हो गए. लेकिन यह हत्याकांड घटित हुुए अब करीब 24 घंटे अधिक का समय बीत चुका है. लेकिन इसके बावजूद पुलिस के हाथ कोई महत्वपूर्ण सुराग नहीं लग पाया है. वहीं इस हत्याकांड की जानकारी मिलते ही ग्रामीण पुलिस अधीक्षक विशाल आनंद एवं अपर पुलिस अधीक्षक विक्रम साली तुरंत अपने दल-बल सहित मौके पर पहुंचे तथा मांडले परिवार के घर एवं आसपास के परिसर का मुआयना करते हुए इस हलाके में लगे सीसीटीवी कैमरों को देखा गया, ताकि यह पता चलागया जा सके कि, कल दोपहर के बाद से शाम के समय तक मांडले परिवार के घर पर किन-किन लोगों का आना-जाना रहा. परंतु इस जरिए भी समाचार लिखे जाने तक पुलिस को कोई सुराग नहीं मिला था.
जानकारी के मुताबिक तिवसा के सराफा बाजार में सराफा प्रतिष्ठान चलाने वाले संजय भगवंतराव मांडले (55) अपने पिता भगवंत मांडले (82) सहित पत्नी व बेटे के साथ त्रिमूर्ति नगर स्थित घर में रहते है. संजय मांडले के पिता भगवंत मांडले को कम दिखाई देता है और वे बुजुर्ग व बीमारी रहने के चलते बेड पर ही रहते है. वहीं संजय मांडले की पत्नी को हमेशा ही डायलिसिस करवाने के लिए अमरावती जाना पडता है, तो हमेशा की तरह संजय मांडले का बेटा वैशाख अपनी मां को अमरावती स्थित अस्पताल में लेकर गया था और संजय मांडले घर पर ही मौजूद थे. इसके अलावा संजय मांडले के घर के ठीक बगल में रहने वाले उनके भाई विजय मांडले अपने परिवार सहित परतवाडा गए हुए थे. ऐसे में संजय मांडले को घर पर अकेला पाकर कुछ अज्ञात लोगों ने उनके घर में प्रवेश किया और घर की उपरी मंजिल पर स्थित अपने कमरे में मौजूद संजय मांडले के सिर पर किसी भारी एवं वजनदार वस्तु का भरपूर प्रहार किया. जिसके चलते संजय मांडले लहूलूहान होकर जगह पर ही गिर पडे. इस घटना का खुलासा उस समय हुआ, जब शाम 7 बजे के आसपास संजय मांडले का बेटा वैशाख अपनी मां को लेकर घर लौटा और उसे उसके पिता घर में खून से लथपथ पडे दिखाई दिए. जिसके बाद उसने तुरंत ही तिवसा पुलिस को इस बात की सूचना दी और पुलिस ने मौके पर पहुंचकर पंचनामा करते हुए संजय मांडले के शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया. तब तक इस हत्याकांड की खबर तिवसा शहर व तहसील सहित पूरे जिले भर में फैल गई. जिसकी वजह से अच्छा खासा हडकंप मच गया. साथ ही साथ ग्रामीण पुलिस अधीक्षक विशाल आनंद व अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक विक्रम साली सहित तिवसा के थानेदार प्रदीप ठाकुर समेत अनेकों पुलिस अधिकारी दल-बल सहित मौके पर पहुंचे और मामले की सघन जांच करनी शुरु की गई.
ग्रामीण पुलिस अधीक्षक विशाल आनंद ने आज सुबह मांडले परिवार के घर सहित आसपास स्थित पूरे परिसर का बडी बारिकी के साथ प्रत्यक्ष मुआयना किया. जिसके तहत यह देखा गया कि, मांडले परिवार के घर की ओर आने वाले रास्तों पर सीसीटीवी कैमरे कहां-कहां लगे हुए है, ताकि यह पता लगाया जा सके कि, कल दोपहर 2 से शाम 7 बजे के बीच मांडले परिवार के घर की ओर किन-किन लोगों का आना-जाना हुआ था. उल्लेखनीय है कि, संजय मांडले के हत्याकांड को लेकर की गई प्राथमिक जांच व पोस्टमार्टम के लिए यह जानकारी सामने आयी है कि, यह हत्याकांड कल दोपहर 2 से 6.30 बजे के दौरान घटित हुआ है और सिर पर किसी भारी वस्तु का प्रहार होने के बाद अत्याधिक रक्तस्त्राव होने के चलते संजय मांडले की घटनास्थल पर ही मौत हुई थी. साथ ही यह जानकारी भी उजागर हो गई है कि, यह हत्याकांड लूटपाट के इरादे से ही घटित हुआ है और संजय मांडले के घर से करीब 70 से 75 लाख रुपयों का सोना एवं लगभग 3 लाख रुपए की नगद रकम गायब है. जिसके चलते निष्कर्ष निकाला गया है कि, मांडले परिवार के घर में घुसे एक अथवा एक से अधिक आरोपियों ने लूटपाट के इरादे से घर में प्रवेश किया था तथा अपने उद्देश्य से आडे आ रहे संजय मांडले को घर में अकेला पाकर उसे मौत के घाट उतार दिया. इसके बाद लूट की घटना को अंजाम देकर मौके से फरार हो गए. हालांकि अभी इसकी अधिकारिक तौर पर पृष्टि नहीं हुई है और पुलिस मामले की जांच करते हुए आरोपियों तक पहुंचने की तलाश कर रही है, ताकि इस हत्याकांड की असली वजह का पता लगाया जा सके.
यद्यपि इस सनसनीखेज हत्याकांड की जानकारी मिलते ही ग्रामीण एसपी विशाल आनंद खुद मौके पर पहुंच चुके है और उन्होंने एएसपी विक्रम साली को इस मामले की जांच का जिम्मा सौंपते हुए मामले का पर्दाफाश करने हेतु कुल 4 पथक गठित किए है. लेकिन इसके बावजूद भी अब तक पुलिस के हाथ इस घटना को लेकर कोई महत्वपूर्ण सुराग नहीं लगा है तथा पुलिस के हाथ पूरी तरह से खाली है. ऐसे में इस हत्याकांड का पर्दाफाश करना तिवसा पुलिस सहित ग्रामीण पुलिस के लिए एक बडी चुनौती बना हुआ है. हालांकि ग्रामीण पुलिस द्वारा उम्मीद जतायी जा रही है कि, जल्द ही इस हत्याकांड की गुत्थी को सुलझा लिया जाएगा.
* विधायक यशोमति ठाकुर ने की एसपी से फोन पर चर्चा
– क्षेत्र के व्यापारियों ने प्रत्यक्ष मुलाकात कर साझा किया अपना डर
वहीं इस बीच तिवसा निर्वाचन क्षेत्र की विधायक यशोमति ठाकुर ने संजय मांडले हत्याकांड को लेकर ग्रामीण पुलिस अधीक्षक विशाल आनंद से फोन पर चर्चा की तथा इस मामले की जल्द से जल्द तफ्तीश कर हत्यारों को पकडने हेतु कहा. ताकि क्षेत्र के व्यापारियों में फैले डर को खत्म किया जा सके. वहीं मांडले परिवार के घर का मुआयना करने हेतु तिवसा पहुंचे एसपी विशाल आनंद से क्षेत्र के कई छोटे-बडे व्यापारियों व सुवर्णकारों ने भेंट की और उन्हें बताया कि, इस हत्याकांड के चलते क्षेत्र के सभी व्यापारियों में अच्छा खासा हडकंप व डर व्याप्त है. साथ ही सभी व्यवसायियों का यह भी कहना रहा कि, तिवसा शहर में पुलिस की गश्त का प्रमाण बेहद कम है. साथ ही पुलिस पुलिस थाने में मनुष्यबल की भी कमी है. ऐसे में इस क्षेत्र में पुलिस को इस क्षेत्र में प्रभावी पुलिसिंग हेतु तत्काल आवश्यक उपाय किए जाए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो.
* आज तिवसा में रहा बंद, बाजार में रहा सन्नाटा
वहीं इस घटना के चलते आज तिवसा में बंद का आवाहन किया गया था. जिसके चलते तिवसा में सुवर्णकारों के प्रतिष्ठान पूरा दिन बंद रहे. वहीं अन्य सभी प्रतिष्ठान दोपहर 2 बजे तक बंद रखे गए. इस दौरान क्षेत्र के व्यापारियों ने श्रद्धांजलि सभा का आयोजन करते हुए इस हत्याकांड का तीव्र निषेध भी किया. साथ ही संजय मांडले के हत्यारों को जल्द से जल्द पकडने की मांग की.
* घर से ही चलता था ज्यादातर काम
तिवसा में सुवर्णकारी का पुश्तैनी व्यवसाय करने वाले संजय मांडले सराफा एवं सुनारी का व्यवसाय साथ-साथ करते थे. जिसके तहत जहां एक ओर वे अपने मांडले ज्वेलर्स नामक प्रतिष्ठान से सोने-चांदी के आभूषणों की विक्री का काम करते थे. वहीं दूसरे सराफा व्यवसायियों के लिए सोने-चांदी के आभूषण सहित अन्य वस्तुएं बनाने का सुवर्णकारी से संबंधित काम भी किया करते थे. जिसके लिए वे दूसरे व्यापारियों का सोना-चांदी लाकर अपने पास रखते थे. जिनके जरिए ऑर्डर के मुताबिक आभूषण व वस्तुएं तैयार करके दिया करते थे. पता चला है कि, सुवर्णकारी का यह काम संजय मांडले के घर से ही चला करता था. जिसकी वजह से पूरा सोना उनके घर पर ही रखा होता था. इस बात से अवगत रहने वाले किसी व्यक्ति ने ही संजय मांडले को घर पर अकेला पाकर लूटपाट की योजना बनाई होगी और इस हत्याकांड को अंजाम दिया होगा, ऐसा अंदेशा जताया जा रहा है.
* तिवसा के गिने-चुने बडे व्यापारियों में शामिल था नाम
तिवसा शहर व तहसील क्षेत्र के कुछ चुनिंदा बडे व्यापारियों में संजय मांडले के नाम का समावेश था और वे सुवर्णकार संगठन की कार्यकारिणी के सदस्य भी थे. ऐसे में संजय मांडले की लूटपाट के उद्देश्य से की गई हत्या के चलते पूरे तहसील क्षेत्र में अच्छा खासा हडकंप व्याप्त है.
* 4-5 दिन पहले घर के पालतू कुत्ते की हुई थी संदेहास्पद मौत
वहीं इस बीच यह जानकारी भी सामने आयी है कि, संजय मांडले के घर में एक पालतू कुत्ता भी हुआ करता था. जिसकी करीब 4-5 दिन पहले संदेहास्पद तरीके से मौत हो गई थी तथा अनुमान जताया गया था कि, शायद किसी ने जानबूझकर उस पालतू कुत्ते को मार दिया था. ऐसे में अब उस घटना को संजय मांडले की हत्याकांड वाली घटना से जोडकर देखा जा रहा है. जिसके तहत अनुमान लगाया जा रहा है कि, शायद यह दोनों घटनाएं किसी सुनियोजित साजिश का हिस्सा है. जिसमें मांडले परिवार के पालतू कुत्ते को पहले जानबुझकर मार दिया गया था. ताकि जब संजय मांडले को घर में अकेला पाकर लूटपाट की जाए, तब उस पालतू कुत्ते की वजह से कोई परेशानी न हो. वहीं मांडले परिवार के घर में लूटपाट के इरादे से घुसे आरोपियों ने संजय मांडले पर भी आसानी से काबू पाते हुए उन्हें मौत के घाट उतार दिया. जानकारी के मुताबिक कुछ दिन पहले संजय मांडले भी एक हादसे का शिकार हुए थे और 7-8 दिनों से घर पर ही रह रहे थे. जिसकी वजह से वे हमलावरों का प्रतिकार करने में असमर्थ रहे होंगे.
* घर के आसपास नहीं है कोई सीसीटीवी कैमरा
तिवसा पुलिस थाने के ठीक पीछे बीएसएनएल ऑफिस के पास स्थित मांडले परिवार के घर के सामने वाली इमारत में इससे पहले स्टेट बैंक का शाखा कार्यालय हुआ करता था, तो उस समय उस इमारत पर सीसीटीवी कैमरे लगे हुए थे, परंतु अब स्टेट बैंक का शाखा कार्यालय वहां से सडक की दूसरी ओर स्थलांतरित हो गया. जिसके चलते उस इमारत पर लगे सीसीटीवी कैमरे भी हटा लिए गए और इस समय मांडले परिवार के घर के आसपास कोई सीसीटीवी कैमरा नहीं लगा हुआ है. यहां तक की सुवर्णकारी का व्यवसाय करने वाले मांडले परिवार ने भी अपने घर पर सुरक्षा की दृष्टि से सीसीटीवी कैमरा नहीं लगवाया है. इसकी वजह से पुलिस को इस मामले में जांच करने को लेकर काफी मुश्किलों का सामना करना पड रहा है.
* विधायक यशोमति ठाकुर ने की एसपी से फोन पर चर्चा
– क्षेत्र के व्यापारियों ने प्रत्यक्ष मुलाकात कर साझा किया अपना डर
वहीं इस बीच तिवसा निर्वाचन क्षेत्र की विधायक यशोमति ठाकुर ने संजय मांडले हत्याकांड को लेकर ग्रामीण पुलिस अधीक्षक विशाल आनंद से फोन पर चर्चा की तथा इस मामले की जल्द से जल्द तफ्तीश कर हत्यारों को पकडने हेतु कहा. ताकि क्षेत्र के व्यापारियों में फैले डर को खत्म किया जा सके. वहीं मांडले परिवार के घर का मुआयना करने हेतु तिवसा पहुंचे एसपी विशाल आनंद से क्षेत्र के कई छोटे-बडे व्यापारियों व सुवर्णकारों ने भेंट की और उन्हें बताया कि, इस हत्याकांड के चलते क्षेत्र के सभी व्यापारियों में अच्छा खासा हडकंप व डर व्याप्त है. साथ ही सभी व्यवसायियों का यह भी कहना रहा कि, तिवसा शहर में पुलिस की गश्त का प्रमाण बेहद कम है. साथ ही पुलिस पुलिस थाने में मनुष्यबल की भी कमी है. ऐसे में इस क्षेत्र में पुलिस को इस क्षेत्र में प्रभावी पुलिसिंग हेतु तत्काल आवश्यक उपाय किए जाए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो.
* आज तिवसा में रहा बंद, बाजार में रहा सन्नाटा
वहीं इस घटना के चलते आज तिवसा में बंद का आवाहन किया गया था. जिसके चलते तिवसा में सुवर्णकारों के प्रतिष्ठान पूरा दिन बंद रहे. वहीं अन्य सभी प्रतिष्ठान दोपहर 2 बजे तक बंद रखे गए. इस दौरान क्षेत्र के व्यापारियों ने श्रद्धांजलि सभा का आयोजन करते हुए इस हत्याकांड का तीव्र निषेध भी किया. साथ ही संजय मांडले के हत्यारों को जल्द से जल्द पकडने की मांग की.
* घर से ही चलता था ज्यादातर काम
तिवसा में सुवर्णकारी का पुश्तैनी व्यवसाय करने वाले संजय मांडले सराफा एवं सुनारी का व्यवसाय साथ-साथ करते थे. जिसके तहत जहां एक ओर वे अपने मांडले ज्वेलर्स नामक प्रतिष्ठान से सोने-चांदी के आभूषणों की विक्री का काम करते थे. वहीं दूसरे सराफा व्यवसायियों के लिए सोने-चांदी के आभूषण सहित अन्य वस्तुएं बनाने का सुवर्णकारी से संबंधित काम भी किया करते थे. जिसके लिए वे दूसरे व्यापारियों का सोना-चांदी लाकर अपने पास रखते थे. जिनके जरिए ऑर्डर के मुताबिक आभूषण व वस्तुएं तैयार करके दिया करते थे. पता चला है कि, सुवर्णकारी का यह काम संजय मांडले के घर से ही चला करता था. जिसकी वजह से पूरा सोना उनके घर पर ही रखा होता था. इस बात से अवगत रहने वाले किसी व्यक्ति ने ही संजय मांडले को घर पर अकेला पाकर लूटपाट की योजना बनाई होगी और इस हत्याकांड को अंजाम दिया होगा, ऐसा अंदेशा जताया जा रहा है.
* तिवसा के गिने-चुने बडे व्यापारियों में शामिल था नाम
तिवसा शहर व तहसील क्षेत्र के कुछ चुनिंदा बडे व्यापारियों में संजय मांडले के नाम का समावेश था और वे सुवर्णकार संगठन की कार्यकारिणी के सदस्य भी थे. ऐसे में संजय मांडले की लूटपाट के उद्देश्य से की गई हत्या के चलते पूरे तहसील क्षेत्र में अच्छा खासा हडकंप व्याप्त है.
* 4-5 दिन पहले घर के पालतू कुत्ते की हुई थी संदेहास्पद मौत
वहीं इस बीच यह जानकारी भी सामने आयी है कि, संजय मांडले के घर में एक पालतू कुत्ता भी हुआ करता था. जिसकी करीब 4-5 दिन पहले संदेहास्पद तरीके से मौत हो गई थी तथा अनुमान जताया गया था कि, शायद किसी ने जानबूझकर उस पालतू कुत्ते को मार दिया था. ऐसे में अब उस घटना को संजय मांडले की हत्याकांड वाली घटना से जोडकर देखा जा रहा है. जिसके तहत अनुमान लगाया जा रहा है कि, शायद यह दोनों घटनाएं किसी सुनियोजित साजिश का हिस्सा है. जिसमें मांडले परिवार के पालतू कुत्ते को पहले जानबुझकर मार दिया गया था. ताकि जब संजय मांडले को घर में अकेला पाकर लूटपाट की जाए, तब उस पालतू कुत्ते की वजह से कोई परेशानी न हो. वहीं मांडले परिवार के घर में लूटपाट के इरादे से घुसे आरोपियों ने संजय मांडले पर भी आसानी से काबू पाते हुए उन्हें मौत के घाट उतार दिया. जानकारी के मुताबिक कुछ दिन पहले संजय मांडले भी एक हादसे का शिकार हुए थे और 7-8 दिनों से घर पर ही रह रहे थे. जिसकी वजह से वे हमलावरों का प्रतिकार करने में असमर्थ रहे होंगे.
* घर के आसपास नहीं है कोई सीसीटीवी कैमरा
तिवसा पुलिस थाने के ठीक पीछे बीएसएनएल ऑफिस के पास स्थित मांडले परिवार के घर के सामने वाली इमारत में इससे पहले स्टेट बैंक का शाखा कार्यालय हुआ करता था, तो उस समय उस इमारत पर सीसीटीवी कैमरे लगे हुए थे, परंतु अब स्टेट बैंक का शाखा कार्यालय वहां से सडक की दूसरी ओर स्थलांतरित हो गया. जिसके चलते उस इमारत पर लगे सीसीटीवी कैमरे भी हटा लिए गए और इस समय मांडले परिवार के घर के आसपास कोई सीसीटीवी कैमरा नहीं लगा हुआ है. यहां तक की सुवर्णकारी का व्यवसाय करने वाले मांडले परिवार ने भी अपने घर पर सुरक्षा की दृष्टि से सीसीटीवी कैमरा नहीं लगवाया है. इसकी वजह से पुलिस को इस मामले में जांच करने को लेकर काफी मुश्किलों का सामना करना पड रहा है.