शिक्षा पदवी प्राप्त शिक्षको को अधिकारी बनने का अवसर
राज्य व राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त शिक्षको की भी लॉटरी
अमरावती/दि.२५– जिला परिषद में कार्यरत उच्चशिक्षित एम.एड., एम.ए. एज्युकेशन पदवी प्राप्त शिक्षको को अब प्रशासकीय कक्षा १ व कक्षा २ के अधिकारी, शिक्षाधिकारी, गुटशिक्षाधिकारी, कनिष्ठ महाविद्यालय के प्राचार्य शिक्षा विस्तार अधिकारी इन पदो पर शामिल किया जायेगा. जिसके कारण उच्च शिक्षित, उच्च विद्याविभूषित शिक्षको की उम्मीदे बढ़ गई है. ग्रामविकास विभाग के अवर सचिव सुनील हंजे ने विभागीय आयुक्त को पत्र भेजकर इस संदर्भ में जानकारी मंगवाई है.
राज्य के जिला परिषद में कार्यरत प्राथमिक शिक्षक बड़ी संख्या में उच्चविद्याविभूषित है. किंतु जिला परिषद द्वारा महाविद्यालय नहीं चलाया जाता. जिसके कारण प्राथमिक शिक्षक पीएचडी, नेट-सेट होकर भी उन्हें पदोन्नति का अवसर नहीं मिलता. उस अनुसार विधान परिषद मे नागोराव गाणार ने अतारांकित प्रश्न पूछा था. जिसके कारण शासन ने पीएचडी, नेट सेटधारक शिक्षको की जानकारी मंगवाई थी. परंतु जिला परिषद में कार्यरत एम.एड. पदवीधर शिक्षको का इसमें समावेश नहीं था. जिसके कारण राज्यभर के एम.एड. उत्तीर्ण शिक्षकों में नाराजी थी.
* चार जिला परिषद की जानकारी मंगवाई
जिला परिषद में शिक्षा शास्त्र निष्णात एम.एड. एम.ए. एज्युकेशन शासन ने प्रदान किए राज्य व राष्ट्रीय आदर्श शिक्षक पुरस्कार प्राप्त शिक्षको की जानकारी पुणे, जलगांव, नाशिक व गोेंदिया इन जिला परिषदों ने तत्काल जमा करने के लिए आदेश निकाले है.
* अधिनियम में सुधार होना चाहिए
पहले के समय में सातवी पास उम्मीदवार की शिक्षक पद पर नियुक्ति होती थी. जिसके कारण जिला परिषद अधिनियम १९६१ में प्राथमिक शिक्षक का यह अतांत्रिक पद दर्शाया है. जिस वजह से शिक्षको को उच्चपद नहीं मिला. अब वे एम.एड., पीएचडी, नेट-सेटधारक होने पर भी कक्षा १, कक्षा २, शिक्षाधिकारी, गुटशिक्षाधिकारी, विस्तार अधिकारी इस पद पर विराजमान होने के लिए कानून की अडचन है. अधिनियम में बदलाव करे, ऐसी मांग ट्रायबल फोरम के संस्थापक अध्यक्ष प्रमोद घोडाम ने राज्य शासन से की है.