अमरावती

3 लाख विद्यार्थियों की छात्रवृत्ति का प्रश्न हल हुआ; रकम होगी सीधे खाते में जमा

समाजकल्याण आयुक्त की ओर से प्रादेशिक उपायुक्त ने दी जानकारी

अमरावती/दि.12– केंद्र व राज्य सरकार का हिस्सा एक ही समय विद्यार्थियों के खाते में जमा हो, इसके लिए राज्य के करीबन 3 लाख 22 हजार विद्यार्थियों के 364 करोड़ रुपए की छात्रवृत्ति दिक्कत में आयी थी. केंद्र ने रकम भेजी लेकिन राज्य की तैयारी न होने के कारण यह संभव नहीं था. ऐसी स्थिति में समाज कल्याण विभाग के आयुक्त प्रशांत नारनवरे ने स्वयं केंद्र शासन के विविध विभागों के सचिवों से संपर्क साधा एवं आखिरकार 29 मार्च को यह समस्या हल हुई. जिसके चलते संबंधित विद्यार्थियों के खाते में शीघ्र ही रकम जमा होने की जानकारी समाज कल्याण विभाग के प्रादेशिक उपायुक्त सुनील वारे ने दी है.
केंद्र पुरस्कृत योजना अंतर्गत केंद्र की ओर से विविध राज्यों को दी जाने वाली निधि यह उन-उन राज्यों के स्टेट नोडल एजंसीज मार्फत (एसएनए) वितरित किया जाता है. जिसके अनुसार राज्य की अनुसूचित जाति (एससी) प्रवर्ग के विद्यार्थियों के मेट्रीकोत्तर छात्रवृत्ति का केंद्र के हिस्से के 60 प्रतिशत निधि डीबीटी के माध्यम से सीधे विद्यार्थियों के खाते में जमा की जाएगी.ऐसा भी ठहराया गया था. लेकिन ऐसा करते समय राज्य शासन ने उनके हिस्से की 40 प्रतिशत निधि भी एसएनए द्वारा वितरित की जाये, ऐसी केंद्र शासन की शर्त थी. परन्तु राज्य के हिस्से की मंजूरी व सुधारित वितरण बाबत वित्त विभाग ने आक्षेप दर्ज किये जाने से पेच निर्माण हुआ था. चालू आर्थिक वर्ष पूर्ण होने में सिर्फ एक ही सप्ताह शेखख रहने से आखिरकार क्या होगा, इस बाबत अनिश्चितता निर्माण हुई थी, लेकिन समाज कल्याण आयुक्त डॉ. प्रशांत नारनवरे ने इस संबंध में तुरंत केंद्र शासन के सामाजिक न्याय व विशेष सहायक विभाग से चर्चा की.
* संबंधित यंत्रणाओें से सीधे संवाद
केंद्र शासन की ओर से सुधारित आदेश निर्गमित होना आवश्यक था. आखिरकार आयुक्तालय ने नई दिल्ली में विशेष दूत भेजकर केंद्र शासन के सामाजिक न्याय व वित्त विभाग के सहसचिव एवं संबंधित यंत्रणाओं से सीधे संवाद साधकर सुधारित आदेश निर्गमित करवाया. यह प्रक्रिया मार्च एंडिंग के दो दिन पहले यानि 29 मार्च को पूर्ण हुई. 3 लाख 22 हजार विद्यार्थियों के 364 करोड़ रुपए छात्रवृत्ति की समस्या हल हुई. समाजकल्याण विभाग की सतर्कता से यह होने के कारण शैक्षणिक संस्था, विद्यार्थी व पालकों ने आयुक्त का आभार माना है.

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