संविधान के धागे ने ही देश की एकता और अखंडता को बांधे रखा है
गणतंत्र दिवस समारोह में सलीम मिरावाले का कथन
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अमरावती /दि.29– 76 वे गणतंत्र दिवस के अवसर पर महाराष्ट्र मुस्लिम गवली समाज संगठन एवं सोफिया बहुउद्देश्यीय शिक्षण व क्रीड़ा प्रसारक संस्था के तरफ से मुस्लिम गवली समाज भवन परिसर में हर साल की तरह इस साल भी ध्वजारोहण कार्यक्रम सम्पन्न हुआ. समाज के ज्येष्ठ नागरिक हसनुभाई लालुवाले की अध्यक्षता में बड़ी नगीना मस्जिद के मौलवी अनवर के हस्ते राष्ट्रीय ध्वज को फहराया गया.
मौलवी अनवर ने अपने संबोधन में उपस्थित सभी नागरिकों को यौमे जम्हूरियत की मुबारक़बाद दी और कहा कि, इस मुल्क की आज़ादी के लिए हमारे उलमाए इकरामों ने बड़ी कुर्बानियां दी हैं और हमने पाकिस्तान के बदले हिंदुस्थान को चुना. हमारे बाप-दादा इसी जमीन पर पैदा हुए और आज भी उनकी कब्रे इसी जमीन पर हैं. हमारे मजहब भी हमे सबसे पहले अपने वतन से मोहब्बत करना सिखाता हैं, मुस्लिम गवली बिरादरी के सलीमभाई मिरावाले के प्रयासों से यहां हर साल स्वतंत्रता दिवस एवं गणतंत्र दिवस मनाया जाता हैं. सलीमभाई मिरावाले ने समाज को शिक्षित एवं संगठित करने के अनेक प्रयास किये है, जिसमें वे कामयाब भी हुए हैं.
कार्यक्रम का आयोजन एवं संचालन सलीमभाई मिरावाले ने किया. इस अवसर पर मंच पर प्रमुख अतिथि के रूप में बब्बू उर्फ हमजाभाई नंदावाले, भोजू भाई रैलिवाले, रहीम रायलिवाले, बब्बू भाई लालुवाले, अ. राजिक भाई रायलिवाले, मिलिंद भालेराव, करीम भाई लालुवाले, मोइन मांजरे, कालुभाई रायलिवाले, लालभाई कालीवाले मंच पर विराजमान थे. कार्यक्रम में मलखान मांजरे, राजू चौधरी, ईस्माइल भाई लालुवाले, अरबाज लालुवाले, सलमान रायलिवाले, अयान रायलिवाले, सादिक चौधरी, अमन मांजरे, तौफीक बेनिवाले, अरबाज लालुवाले, कालुभाई बेनिवाले, रेहान गौरवे, आरिफ फातियावाले व सोहेल चौधरी सहित अनेक मान्यवर मौजूद थे. इस अवसर पर छोटे बच्चे भी बड़ी संख्या में उपस्थित थे.