अमरावती

मास्क न लगाने वालों पर होगा ३०० रुपए जुर्माना

कोरोना की रोकथाम हेतु व्यापक उपाय योजना

अमरावती प्रतिनिधि/१६कोरोना के खिलाफ की लड़ाई में स्वरक्षा यहीं एक सरल उपाय है. नागरिकों को स्वयं की रक्षा का महत्व समझाने के लिये मेरा परिवार, मेरी जिम्मेदारी अभियान को प्रभावी रुप से अमल में लाया जाये, ऐसे निर्देश पालकमंत्री एड. यशोमती ठाकुर ने दिये. मास्क न लगाने वालों पर ३०० रुपए जुर्माना करने के निर्देश भी संबंधित यंत्रणा व्दारा दिये गये हैं. इसके बाद भी लोग मास्क लगाते न दिखाई देने पर जुर्माने की रकम बढ़ायी जाएगी, ऐसा भी एड. ठाकूर ने कहा है.
जिलाधिकारी कार्यालय में आयोजित  बैठक में कोरोना बीमारी के संदर्भ में शुरु उपाय योजना की उन्होंने समीक्षा ली. इस समय वे बोल रही थी. विभागीय आयुक्त पियूष सिंह, विशेष पुलिस महानिरीक्षक चंद्रकिशोर मीना, जिलाधिकारी शैलेश नवाल, पुलिस आयुक्त डा. आरती सिंग, पुलिस अधीक्षक डा. हरिबालाजी एन., मुख्य कार्यकारी अधिकारी अमोल येडगे, जिला शल्य चिकित्सक डॉ. श्यामसुंंदर निकम, जिला स्वास्थ्य  अधिकारी डॉ. दीपक रणमले, मनपा के स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. विशाल काले, पीडीएमसी के अधिष्ठाता डॉ. पदमाकर सोमवंशी आदि इस समय उपस्थित थे.
कोरोना के संकटकाल में मरीजों को उपचार के लिये आवश्यकनुसार ऑक्सिजन की आपूर्ति पूरी तरह से शुरु रहे व किसी भी प्रकार की दिक्कत निर्माण न हो, इसके लिये जिला, विभागीय और राज्यस्तर पर समितियां स्थापित की गई है. द्रव रुप ऑक्सिजन की कमी न हो, इसके लिये नागपुर और भिलाई से हर रोज एक टैंकर अनुसार आपूर्ति उपलब्ध होगी. इस प्रकार का नियोजन जिला प्रशासन व्दारा किया गया है.
जिले में कोरोना संक्रमित मरीजों को तत्काल उपचार मिले, इसके लिये शासकीय आयटीआय संस्था व जिला क्रीडा संकुल में १०० बिस्तरों वाला सभी सुविधायुक्त आयसोलेशन सेंटर निर्माण किया जायेगा. जिलाधिकारी नवाल ने कहा कि कोरोना विषाणु का प्रादुर्भाव रोकने के लिये व संक्रमितों की संख्या कम करने के लिये जिले में १५ सितंबर से माझे कुटुंब, माझी जवाबदारी अभियान चलाया जा रहा है. अभियान का पहला चरण १५ सितंबर से १० अक्टूबर दरमियान और दूसरा चरण १२ अक्टूबर से २४ अक्टूबर, इस प्रकार रहेगा. एक माह की कालावधि में दो बार ये स्वयंसेवक प्रत्येक परिवार को भेंट देंगे. प्रत्येक परिवार तक पहुंचना इस अभियान व्दारा संभव हो सकेगा. हायरिस्क मरीजों का व संशयितों की खोज करना व उन्हें उचित उपचार दिलवाना इस अभियान के कारण संभव हो सकेगा.

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