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बडनेरा के आसपास बनेंगा साढ़े तीन किलोमीटर यार्ड

60 मीटर रहेंगा चौडा, सभी मालगाडी का होगा निरीक्षण

* सर्वेक्षण हुआ, होगी जमीन अधिग्रहित
* लगाई जाएगी मशीने
अमरावती/दि.23- चलती मालगाडियों में कोई खामी आने पर उसे तत्काल चेक करने के लिए रेलवे विभाग द्वारा अब नई टेक्नोलॉजी के तहत हर 200 किलोमीटर के दायरे में यार्ड बनाए जा रहे है. इस योजना के तहत बडनेरा के आसपास 8 किलोमीटर के दायरे में कही भी यार्ड का निर्माण होगा. जिसीक लंबाई साढ़े तीन किलोमीटर और चौडाई 60 मीटर रहेंगी. इसके लिए रेलवे विभाग जमीन भी अधिग्रहित करेंगा. इस बाबत सर्वेक्षण कर लिया गया है.
जानकारी के मुताबिक रेलवे विभाग अब सभी रेलवे गेट बंड कर रहा है. पहले इन रेलवे गेट पर तैनात रहने वाले कर्मचारी वहां से गुजरने वाले मालगाडी का निरीक्षण कर लिया करते थे. लेकिन अब यह रेलवे गेट बंद किए जाते रहने और पाथवे मार्ग (अंडरपास) अधिकांश रेलवे गेट पर निर्मित किए जाते रहने से मालगाडियों के निरीक्षण के लिए हर 200 किलोमीटर के दायरे में यार्ड का निर्माण नई टेक्नोलॉजी के तहत किया जा रहा है. सर्वप्रथम बडनेरा के आसपास यह यार्ड बनाया जानेवाला है. रेलवे विभाग का यह निर्णय होने के बाद पिछले दिनों बडनेरा के आसपास इसका सर्वेक्षण किया गया. बडनेरा के आसपास 8 किलोमीटर के दायरे में इस यार्ड का निर्माण किया जानेवाला है. जहां बडी मशीने चलती मालगाडी का टेंपरेचर और आवाज भांप लेंगी. साथ ही उस मालगाडी का सीसीटीवी कैमरे के माध्यम से फोटो भी निकल जाएगा. यार्ड के निर्माण के बाद हर मालगाडी इस यार्ड से होकर ही गुजरेंगी और निरीक्षण के दौरान कोई खामी दिखाई देने पर उसे तत्काल वहीं दुरुस्त कर लिया जाएगा. यह साढ़े तीन किलोमीटर लंबा और 60 मीटर चौडा रहेंगा, ऐसा रेलवे सूत्रों का कहना था. सर्वेक्षण के पास अब रेलवे को जमीन अधिग्रहित करनी होगी. दो साल के भीतर इस यार्ड को निर्माण करने का प्रस्ताव है, ऐसा भी कहा जा रहा है.

टाकली अथवा टीमटाला में होगा निर्माण
सूत्रों के मुताबिक मालगाडी के निरीक्षण के लिए यार्ड का निर्माण बडनेरा के आसपास टाकली अथवा टीमटाला में निर्माण किया जा सकता है. रेलवे वैगन दुरुस्ती कारखाना टाकली की तरफ जानेवाले रेलमार्ग पर रहने से इस यार्ड का निर्माण टाकली में ही होने की संभावना जताई जा रही है.

अजनी और भुसावल का भी प्रस्ताव
मालगाडी के निरीक्षण के लिए पहले बडनेरा में यार्ड का निर्माण होने के बाद भुसावल और पश्चात नागपुर के अजनी में इसी तरह के यार्ड का निर्माण किया जाएगा. जहां सभी मालगाडी का निरीक्षण होकर वहीं उसे दुरुस्त किया जाएगा.

मालगाडी लंबाई रहती है 790 मीटर
नई टेक्नोलॉजी के तहत निर्मित किए जानेवाले साढ़े तीन किलोमीटर लंबे और 60 मीटर चौडे यार्ड में निरीक्षण के लिए आनेवाली हर मालगाडी की लंबाई 790 मीटर रहती है. इस कारण पहले यार्ड में आने के बाद मशीन की सहायता से उसका निरीक्षण करने पर कोई तकनीकी खराबी दिखाई देने पर उसे वहां दुरुस्त करने के बाद 800 मीटर तक उसी यार्ड मेें पहले चलाया जाएगा. पश्चात खराबी दूर होने पर उसे उस यार्ड से मेन रेलमार्ग पर निकाला जाएगा, ऐसा भी सूत्रों का कहना था.

मलकापुर में लगी है यह निरीक्षण मशीन
सूत्रों के मुताबिक बडनेरा के पास निर्माण होनेवाले यार्ड में जो मशीन मालगाडी के लिए लगाई जानेवाली है वह मशीन कुछ वर्ष पूर्व मलकापुर के पास लगाई गई है. जहां फिलहाल मालगाडी का केवल टेंपरेचर चेक होता है. लेकिन यह बडनेरा के पास निर्मित होनेवाले यार्ड में सभी अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी उपलब्ध रहेंगी.

यूपी के सहारनपुर में हो गया है यार्ड का निर्माण
रेलवे सूत्रों के मुताबिक बडनेरा के पास निर्माण होनेवाले यार्ड की तरह उत्तरप्रदेश के सहारनपुर में ऐसे यार्ड का निर्माण हो गया है. जहां मालगाडी के निरीक्षण की मशीने लगाना शुरू है. इसी तरह के यार्ड अब रेलवे विभाग द्वारा हर 200 किलोमीटर के दायरे में निर्मित किए जानेवाले है.

थर्ड रेललाईन का भी साथ में चलेंगा निर्माण
रेलवे विभाग द्वारा सभी तरफ तीसरी रेललाईन का निर्माण किया जा रहा है. नागपुर डिवीजन के सेवाग्राम से ईगतपुरी तक इस तीसरी रेललाईन का निर्माण प्रस्तावित है. इस तीसरी लाईन के लिए रेलवे विभाग के पास पहले से ही जमीन है. इस कारण जमीन अधिग्रहित करने की आवश्यकता नहीं है. यार्ड की जमीन अधिग्रहित होते ही दोनों निर्माणकार्य शुरू हो जाएगे, ऐसा सूत्रों का कहना था.
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