अमरावतीमहाराष्ट्र

थाइरॉईड की वजह से होती है उदासी व चिडचीड

अमरावती /दि. 19– कई बार अचानक ही वजन के बढने, काम करने की इच्छा नहीं होने, कमजोरी महसूस होने, भूख नहीं लगने, ज्यादा प्रमाण में नींद आने, चेहरे व पांव पर सुजन आने तथा महिलाओं की मासिक पाली के अनियमित होने जैसी समस्याएं व शिकायते पैदा होने लगती है. जिन्हें सामान्य तौर पर थाइरॉईड के लक्षण माना जा सकता है.

* जिला अस्पताल में प्रति माह 60 मरीज
जिला सामान्य अस्पताल में रोजाना ही सैकडों मरीज इलाज हेतु भर्ती होते है. जिसमें से प्रति माह 60 मरीज थाइरॉईड के रहने की जानकारी सामने आई है. थाइरॉईड की बीमारी महिलाओं में सबसे अधिक पाई जाती है. साथ ही इस बीमारी के बारे में बहुत अधिक जनजागृति भी नहीं है. जिसके चलते कई लोग इस बीमारी की अनदेखी भी करते है.

* सतर्कता व सावधानी जरुरी
यदि परिवार में थाइरॉईड की फैमिली हिस्ट्री है तो समय रहते अपनी थाइरॉईड जांच करवाना बेहद आवश्यक होता है. इसके इलावा फैट युक्त पदार्थों का सेवन टालते हुए आयोडीन युक्त आहार लेना चाहिए. साथ ही रोजाना ही व्यायाम करना भी बेहद आवश्यक है. इसके अलावा बीमारी का निदान हो जाने पर उसका व्यवस्थित उपचार करते हुए बीमारी को नियंत्रित रखना संभव है. इलाज के दौरान अपने ही मन से दवाईयों का सेवन बंद नहीं करना चाहिए अन्यथा इसकी वजह से काफी तकलीफे भी हो सकती है. थाइरॉईड की बीमारी को नियंत्रित रखने हेतु संतुलित आहार व नियमित व्यायाम करना बेहद जरुरी है. थाइरॉईड के मरीजो ने फुलगोभी व पत्तागोभी का सेवन बिलकुल भी नहीं करना चाहिए.

* क्या है थायरॉईड के लक्षण
थायराईड के सामान्य लक्षणों में थकान, कमजोरी, अचानक ही वजन के कम-अधिक होने, चिंता व निराशा जैसे लक्षण दिखाई देते है.

* हायपोथायरॉइडीझम
ऐसी स्थिति जिसमें थायराईड ग्रंथी कम सक्रिय रहती है और पर्याप्त थायराईड संप्रेरक तैयार नहीं करती साथ ही वजन के बढने, सर्दी सहन नहीं होने व निराशा महसूस करने जैसे लक्षण दिखाई देने लगते है, तो इसे हायपोथायरॉइडीझम कहा जाता है.

हायपरथायरॉइडीझम
यह थायराईड ग्रंथी के अतिरेक वाली स्थिति होती है. जब थायराईड ग्रंथी ज्यादा सक्रिय होती और अतिरिक्त संप्रेरक तैयार होते है तब वजन कम होना, भूख का बढना, चिंता महसूस होना व दिल की धडकनों का तेज होना जैसे लक्षण दिखाई देते है.

* गलगंड
हायपो व हायपर थायराईड वाली स्थिति के चलते थायराईड ग्रंथी में वृद्धि हो सकती है. गलगंड सामान्यता वेदनारहित होता है. परंतु इसमें खांसी हो सकती है. साथ ही निगलने और सांस लेने में भी तकलीफ हो सकती है.

* थायराईड के लक्षण समझ में आते ही तुरंत इलाज कराया जाना चाहिए. हायपो थायराईड यह मुख्य प्रकार की बीमारी है. जिसमें थकान, नींद, आलस व गले में सुजन जैसे लक्षण दिखाई देते है.
– डॉ. प्रीति मोरे, फिजिशियन.

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