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ठेकेदार की लापरवाही से रामगांव में आदिवासी मजदूर की मौत

रहाटगांव के पास की घटना

* कारनामा छिपाने शव बगैर पोस्टमार्टम किए ले जाने का प्रयास
* नागरिको के पहुंचते ही ठेकेदार इर्विन से भागा
अमरावती/दि. 10 – नांदगांव पेठ थाना क्षेत्र के रामगांव में ठेकेदार के लापरवाही से एक आदिवासी मजदूर की मृत्यु हो गई. मृतक का शव जिला अस्पताल लाने के बाद संबंधित ठेकेदार ने बगैर पोस्टमार्टम के उसे ले जाने का प्रयास किया. लेकिन उस समय वहां पत्रकार पहुंच जाने से संबंधित ठेकेदार ने उसके साथ मारपीट करने का प्रयास किया. उसी समय नागरिक भागकर आने से संबंधित ठेकेदार इर्विन से पलायन कर गया. घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस का दल इर्विन पहुंच गया और मामले की जांच शुरु कर दी है. मृतक मजदूर का नाम मध्य प्रदेश के छिंडवाडा निवासी दीपक करन तुमडाम (23) है.
जानकारी के मुताबिक एक ठेकेदार खेतो के बिजली के पोल और विद्युत प्रवाहित तार टूटकर नीचे गिरे हुए को दुरुस्त करने के लिए संबंधित ठेकेदार कुछ मजदूरो को मध्य प्रदेश के छिंदवाडा जिले से ले आया था. रहाटगांव के पास रामगांव में कामकाज शुरु रहते दीपक तुमडाम को उसके साथी मजदूर अर्जून तुमडाम, संदीप उईके, सुनील भलावी, रामकृष्ण भलावी, नीलेश धुर्वे और नाई लाहीरी आदि गंभीर अवस्था में जिला अस्पताल ले आए. जहां डॉक्टरो ने उसे मृत घोषित किया. इस कारण शव का पोस्टमार्टम कराना अनिवार्य था. इस घटना की जानकारी पत्रकारो को मिलते ही वे जिला अस्पताल पहुंच गए. संबंधित ठेकेदार मृतक मजदूर का बगैर पोस्टमार्टम कराए शव ले जाने का प्रयास कर रहा था. इस घटना को संकलित कर रहे एक पत्रकार पर ठेकेदार ने हमले का प्रयास किया. उसी समय वहां भीम ब्रिगेड के राजेश वानखडे भी पहुंचे थे. उन्होंने तत्काल पुलिस को घटना की जानकारी दी. ऐसे में संबंधित ठेकेदार वहां से भाग गया. घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस का दल भी जिला अस्पताल आ पहुंचा. मामले की जांच पुलिस आगे कर रही है.

* मजदूर की मौत का रहस्य कायम
मध्य प्रदेश के मजदूर दीपक तुमडाम की मृत्यु खेत में बिजली के पोल खडे करते समय अथवा टूटे हुए तार जोडते समय या फिर पोल से नीचे गिरने के कारण अथवा करंट लगने से हुई, इस बाबत अब तक कुछ पता नहीं चल पाया है. संबंधित ठेकेदार कौन था, यह भी अब तक पता नहीं चला है. इन मजदूरो को हिंदी भाषा भी ठिक तरह से बोलते नहीं आ पा रही है. मृतक मजदूर का नाम भी जिला अस्पताल में दर्ज नहीं है. ऐसे में संबंधित ठेकेदार द्वारा घटना को छिपाने का प्रयास करने का मामला प्रकाश में आने से पुलिस जांच में जूट गई है.

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