अमरावतीमहाराष्ट्र

शहर में दुपहिया वाहन कही पर भी सुरक्षित नहीं

किसी भी स्थान से हो सकती है वाहन चोरी

* अपार्टमेंट की पार्किंग भी चोरों के निशाने पर
अमरावती/दि.17 – वर्ष 2022 की तरह वर्ष 2023 के दौरान भी अमरावती शहर में दुपहिया वाहन के चोरी होने की घटनाएं जमकर घटित हुई. बाजारपेठ के भीडभाड वाले इलाकों व सडकों के किनारे खडे दुपहिया वाहनों को चुराने के साथ ही इन दिनों अपार्टमेंट की पार्किंग और घर के आंगन में खडे दुपहिया वाहनों को हैंडल लॉक तोडकर चुरा लेने की घटनाएं घटित हो रही है. जिसके चलते हुए कहां जा सकता है कि, शहर में दुपहिया वाहन कही पर भी सुरक्षित नहीं है.
बता दें कि, वर्ष 2023 में जनवरी से दिसंबर माह के दौरान 456 से अधिक दुपहिया वाहन चोरी चले गये. जिसकी तुलना में केवल 102 दुपहिया वाहन ही बरामद हुए. शहर के 10 पुलिस थाना क्षेत्रों मेें रोजाना औसतन दो दुपहिया वाहन चोरी हो रहे है. दुपहिया वाहनों की चोरी का सर्वाधिक प्रमाण गाडगे नगर, राजापेठ व कोतवाली पुलिस थाना क्षेत्र में है. शहर के सीमावर्ती इलाकों में स्थित रिहायशी बस्तियों में एमआईडीसी परिसर, राजकमल चौक, जयस्तंभ चौक व उडानपुल के नीचे बनी पार्किंग से अक्सर ही दुपहिया वाहन चोरी हो जाते है. वहीं इन दिनों गाडगे नगर थाना क्षेत्र अंतर्गत उडानपुल के नीचे से भी दुपहिया वाहन चोरी हो जाने का प्रमाण काफी अधिक बढ गया है. साथ ही साथ इन दिनों अपार्टमेंट की पार्किंग स्पेस में खडे रहने वाले दुपहिया वाहनों को भी चोरों द्वारा अपना निशाना बनाया जा रहा है. जिसके चलते शहर में हर ओर सीसीटीवी कैमरे लगाये जाने की सख्त जरुरत है. हाल फिलहाल के दिनों मेें ही जनसहभागिता के जरिए शेगांव नाका चौक मेें सीसीटीवी कैमरे लगाए गए है. इसी तरह शहर के प्रत्येक चौक-चौराहे में सीसीटीवी कैमरा लगाना अनिवार्य हो गया है.

* कैसे चुराई जाती है दुपहिया?
दुपहिया पर बैठकर उसके हैंडल के एक कोने को पैर से विशिष्ट कोन में झटका दिये जाते ही हैंडल लॉक बडे आराम से टूट जाता है. पश्चात कुछ दूरी तक दुपहिया को ढकेलते हुए ले जाया जाता है और फिर इग्निशन के वायर को जोडकर दुपहिया वाहन को शुरु कर लिया जाता है. वहीं कुछ घटनाओं में हेडलाइट वाले हिस्से में हाथ डालकर वायर स्पार्क करते हुए चाभी के बिना ही दुपहिया को शुरु कर लिया जाता है. इसके अलावा कई बार अलग-अलग नकली चाभियों के जरिए दुपहिया के ताले को खोला जाता है. विशेष तौर पर इसके लिए पुरानी गाडियों का चयन किया जाता है. इस हेतु चोरों के पास 15 से 20 चाभियां होती है.

* एक साल में 456 वाहन हुए चोरी
सन 2023 में शहर के 10 पुलिस थाना क्षेत्र से 456 वाहन चोरी हुये. जिनमें सर्वाधिक दुपहिया वाहन थे. इसके अलावा ऑटो रिक्षा, ट्रक व कार भी चोरी होने के मामले पुलिस थानों में दर्ज है. इसमें से 102 चोरियों का पर्दाफाश करने में पुलिस को सफलता मिली है.

* पुरानी गाडियों को चोर देते है प्राथमिकता
दुपहिया चोरों द्वारा अक्सर चोरी करने हेतु पुरानी गाडियों को प्राधान्य दिया जाता है. क्योंकि नये दुपहिया वाहनों के हैंडल लॉक सहज तरीके से टूटते नहीं है. वहीं पुराने दुपहिया वाहनों के हैंडल घीस जाने और लॉक में थ्रेड के ढिले हो जाने के चलते उसमें बनावटी चाभी डालकर हैंडल को अनलॉक किया जा सकता है. जिसके चलते 3 से 5 वर्ष पुरानी दुपहिया के चोरी होने का प्रमाण अधिक है.

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