उबाठा महाराष्ट्र को बर्बाद करने पर तुले
भाजपा नेता बोंडे का राज्यसभा में सनसनीखेज आरोप
* बजट चर्चा में भाग लेते हुए बताया 12 लाख रोजगार देने वाला प्रकल्प है वावधन बंदरगाह
* उबाठा नाहक विरोध कर रहे, टोकाटोकी के बीच भी जारी रखा भाषण
अमरावती/दि.30 – अमरावती जिला भाजपा अध्यक्ष और सांसद डॉ. अनिल बोंडे ने आज राज्यसभा में बजट पर चर्चा पर में भाग लेते हुए उबाठा का स्पष्ट उल्लेख कर उन पर नकारात्मक राजनीति करने एवं महाराष्ट्र का सत्यानाश करने का प्रयत्न करने का आरोप लगाया. शिवसेना उबाठा के सदस्यों की जबर्दस्त टोकाटोकी के बीच अपना संबोधन जारी रखते हुए डॉ. बोंडे ने कहा कि, उबाठा ने हमेशा जनहित के बडे प्रकल्पों का विरोध किया है. फिर वह जैतापुर का परमाणु प्रकल्प हो या वावधन बंदरगाह अथवा जलसंपदा बढाने वाली जलयुक्त शिवार या मुंबई की कोस्टल रोड की परियोजना अथवा मेट्रो ट्रेन चरण-3. डॉ. अनिल बोंडे ने मराठी में प्रारंभ कर उबाठा का नाम लेकर खुल्लमखुल्ला हमला किया. उसी प्रकार अग्निवीर जैसी योजना देश की प्रतिरक्षा क्षमता बढाने का दावा भी अमरावती के धुरंधर नेता ने संसद में किया.
* उबाठा शब्द हटाने की मांग
सदन में मौजूद शिवसेना ठाकरे गट के सदस्य संजय राउत, प्रियंका चतुर्वेदी, अनिल देसाई और अन्य ने डॉ. बोंडे के उबाठा उल्लेख पर आक्षेप जताया. उसे सदन की कार्यवाही से निकालने की मांग कर डाली. किंतु डॉ. बोंडे ने भी जवाब दिया कि, उबाठा कोई असंसदीय शब्द नहीं है. उसे कार्यवाही से हटाया नहीं जा सकता. डॉ. बोेंडे अनेक कोट का सहारा लेकर अपना संबोधन टोकाटोकी के बीच जारी रखे हुए थे.
* बावधन बंदरगाह से 12 लाख रोजगार
डॉ. अनिल बोंडे ने कहा कि, महाराष्ट्र के पालघर जिले के डहानू के पास वावधन बंदरगाह को केंद्र सरकार ने स्वीकृति दी है. यह 72,220 करोड रुपए का प्रकल्प है. इससे 12 लाख से अधिक लोगों को रोजगार मिलने वाला है. इस परियोजना का पहला चरण 2029 में पूर्ण हो जाएगा. जेएनपीटी और मेरीटाइम मिलकर इस परियोजना को साकार करने जा रही है. देश में कामराज बंदरगाह के बाद यह सरकारी मालकी की पहली बडी परियोजना होने का दावा डॉ. बोंडे ने किया और कहा कि, सिंगापुर तथा कोलंबो के बाद बावधन बंदरगाह ऐशिया का सबसे बडा बंदरगाह होगा. जहां बडे कंटेनर उतारे और चढाये जा सकेंगे.
* विपक्ष फैला रहा झूठ
डॉ. बोंडे ने कहा कि, बजट में महाराष्ट्र को कुछ नहीं दिये जाने का झूठा नैरेटीव फैलाने का विपक्ष का प्रयास चल रहा है. जबकि महाराष्ट्र को केंद्र सरकार ने बडे प्रकल्पों के साथ काफी कुछ दिया है. रेललाइन मंजूर हुई है. सभी क्षेत्र में रेल का जाल बिछाया जा रहा है.
* नक्सलग्रस्त गडचिरोली में इस्पात प्रकल्प
सांसद बोंडे ने सदन को बताया कि, अब तक केवल नक्सली हमलों के लिए जाना जाता और देश मेें सबसे कम प्रतिव्यक्ति आय वाले गडचिरोली जिले में रोजगार को प्रोत्साहन दिया जा रहा है. सूर्जागढ में बडा इस्पात प्रकल्प का भूमिपूजन संपन्न हुआ है. निर्माणकार्य शुरु हो गया है. इससे 60 हजार आदिवासियों को रोजगार मिलने का दावा डॉ. बोंडे ने किया.
* निशाने पर उद्धव ठाकरे
बोंडे के लगभग 16-17 मिनट के संबोधन में शिवसेना उबाठा पक्ष प्रमुख उद्धव ठाकरे निशाने पर रहे. सांसद बोंडे ने उनका नामोल्लेख उबाठा रुप में किया. उन्होंने आरोप लगाया कि, उबाठा महाराष्ट्र के बर्बादी पर तुले है. प्रदेश के सभी प्रमुख प्रकल्पों का विरोध करते है. फिर वह कोस्टल रोड हो, या किसानों की हित वाली जलयुक्त शिवार योजना हो. डॉ. बोंडे ने कहा कि, महाराष्ट्र को लेकर विपक्ष ने इस तरह का होहल्ला और झूठी मनगढंत बातें फैलाने की कोशिश की. जैसे छोटे गांवों में चावडी की चर्चा में किसके भी बारे में संशय कल्लोल किया जाता है. बोंडे ने उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस द्वारा विपक्ष को करार जवाब दिये जाने का उल्लेख किया.
* अग्निवीर का जोरदार समर्थन
पीठासीन सभापति अयोध्या रामी रेड्डी आला के बार-बार टोकने के बावजूद डॉ. बोंडे ने अग्निवीर योजना का जोरदार समर्थन करते हुए पडौसी देशों की सैन्य शक्ति की आंकडों सहित जानकारी सदन में दी. उन्होंने दांवा किया कि, अग्निवीर से भारतीय सेना अधिक युवा होगी. इसी प्रकार संरक्षण क्षेत्र में भारत की शक्ति बढेगी.