अमरावती

13 एमआईडीसी फिर भी युवाओं को गांव क्यों छोडना पडता है?

आईटी ऑटो क्षेत्र के उद्योगों का अभाव

* उच्च शिक्षा लेने वाले युवाओं को अवसर नहीं
अमरावती/दि.20- अमरावती जिला अनेक दृष्टि से महत्वपूर्ण माना जाता है. लेकिन औद्योगिक विकास को यहां अधिक गति नहीं मिली है. शहर छोडा तो तहसीलों का एमआईडीसी क्षेत्र नाममात्र ही दिखाई देता है. परिणामस्वरुप जिले के उच्च शिक्षित युवा तथा कुशल मनुष्यबल रोजगार के लिए बडे शहरों की तरफ जाते दिखाई देते हैं.
जिले में उद्योगों को गति देने के लिए महाराष्ट्र राज्य औद्योगिक महामंडल व्दारा अमरावती शहर और तहसील स्तर पर उद्योजकों को भूखंडों का वितरण किया गया है. उद्योगों के साथ युवाओं को रोजगार मिलने के मकसद से यह किया गया. लेकिन संबंधित स्थलों की एमआईडीसी में लघु अथवा मौसमी उद्योग बडी संख्या में है. मौसम समाप्त होने के बाद उद्योग ठप हो जाते है. जिले में अमरावती के अलावा अमरावती, अचलपुर, धामणगांव, अंजनगांव सुर्जी, चांदूर रेलवे, दर्यापुर, धारणी, मोर्शी, तिवसा, वरुड, भातकुली व नांदगांव खंडेश्वर में एमआईडीसी है. अमरावती एमआईडीसी क्षेत्र में सडकों का जाल रहा तो भी कुछ इलाकों में दयनीय अवस्था है. अंतर्गत सडकें मजबूत की जानी चाहिए. एमआईडीसी के मुख्य मार्गो पर पथदीप न रहने से कामगारों को दुविधा निर्माण होती है. एमआईडीसी में भूखंडों का वितरण होने से अब गिनती के भूखंड शेष है.
* उद्योजक क्या कहते हैं?
जिले में उद्योगों की कमी नहीं है. युवाओं ने अपने शहर में काम करने की मानसिकता तैयार करनी चाहिए.
– सचिन जाधव, उद्योजक
* एमआईडीसी सक्षम
एमआईडीसी उद्योगों से सक्षम है. युवा अन्य स्थानों पर जाने की बजाए यहीं नौकरी कर सकते हैं.
– तुषार वरणगांवकर, उद्योजक
* किसी एमआईडीसी में कितने उद्योग
एमआईडीसी कुल उद्योग शुरु उद्योग
अमरावती 584 413
अतिरिक्त अमरावती 1060 113
अचलपुर 102 08
धामणगांव 34 09
अंजनगांव 24 10
चांदूर रेलवे 39 13
दर्यापुर 28 06
धारणी 14 00
मोर्शी 18 06
तिवसा 20 05
वरुड 43 06
भातकुली 16 01
नांदगांव खंडेश्वर 00 00

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