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हम पर ही पुलिस का अन्याय क्यों?

शिवसेना उबाठा के शहर प्रमुख प्रवीण हरमकर ने दागा सवाल

* शहर पुलिस पर लगाये अनेकों संगीन आरोप
अमरावती/दि.17 – विगत माह धारणी मार्ग पर सेमाडोह के निकट भीषण सडक हादसा घटित हुआ था. जिसके लिए पूरी तरह से सार्वजनिक लोकनिर्माण विभाग जिम्मेदार है. क्योंकि शिवसेना उबाठा द्वारा बार-बार पत्राचार किये जाने के बावजूद भी लोकनिर्माण विभाग द्वारा समस्या की ओर ध्यान नहीं दिया गया था. ऐसे में शिवसेना उबाठा ने गत रोज लोकनिर्माण विभाग के मुख्य अभियंता जोशी के कक्ष में करीब एक घंटे तक ठिया आंदोलन किया. जिसकी कोई शिकायत नहीं रहने के बावजूद भी अमरावती शहर पुलिस ने जबरन शिवसेना उबाठा के स्थानीय पदाधिकारियों के खिलाफ अपराध दर्ज किये और उन्हें गिरफ्तार भी किया. जबकि राजनीतिक आंदोलनों के दौरान पुलिस की ऐसी भूमिका नहीं रहती. अत: शहर पुलिस ने स्पष्ट करना चाहिए कि, शिवसेना उबाठा के पदाधिकारियों के खिलाफ ही इस तरह की भूमिका क्यों अपनाई गई. इस आशय का सवाल शिवसेना उबाठा के शहर पुलिस प्रवीण हरमकर द्वारा उठाया गया.
आज यहां बुलाई गई पत्रवार्ता में उपरोक्त सवाल उठाते हुए प्रवीण हरमकर का कहना रहा कि, गत रोज किये गये आंदोलन की खबर मिलते ही पीडब्ल्यूडी कार्यालय में पहुंचे पुलिस वालों ने पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों को जबरन शिकायत दर्ज करने पर मजबूर किया और फिर उसी शिकायत के आधार पर शिवसेना उबाठा के पदाधिकारियों के खिलाफ अपराध दर्ज किये गये. जबकि शिवसेना उबाठा के पदाधिकारियों द्वारा इस आंदोलन के दौरान कोई गलत कृत्य नहीं किया गया था. बल्कि सभी लोग केवल मुख्य अभियंता दोषी का उनके कक्ष में घेराव करते हुए उनसे सेमाडोह हादसे की घटना को लेकर सवाल जवाब कर रहे थे.
अमरावती शहर पुलिस पर राजनीतिक दबाव में रहकर काम करने का आरोप लगाते हुए शिवसेना उबाठा के शहर प्रमुख प्रवीण हरमकर ने कहा कि, अमरावती शहर पुलिस का कामकाज काफी हद तक लचर और संदेहास्पद हो चुका है. जिसके चलते शहर मेें अपराधिक तत्वों के हौसले बेहद बुलंद है. साथ ही शहर में लगातार संगीन अपराध घटित हो रहे है. हरमकर के मुताबिक वलगांव थाना क्षेत्र अंतर्गत गोपाल अरबट के वाहन पर हुई फायरिंग के मामले का असली सच अब तक उजागर नहीं हुआ है. वहीं दूसरी ओर अमरावती शहर में आये दिन एक के बाद एक संगीन हत्याकांड घटित हो रहे है और हत्या जैसे गंभीर अपराधों में नाबालिगों के सहभाग की बात भी स्पष्ट हो गई है. साथ ही यह तथ्य भी उजागर हो गया है कि, अमरावती शहर में कई नाबालिग युवा खुलेआम चायना चाकू लेकर घुमते है. इसके चलते अब अमरावती के आम नागरिकों को अपनी आत्मरक्षा हेतु अपने साथ हथियार रखने की नौबन बन गई है. इसके अलावा प्रवीण हरमकर ने यह भी कहा कि, शहर पुलिस द्वारा केवल शांतता मिटींग का दिखावा करते हुए मीडिया में समाचार प्रकाशित कर अपनी पीठ थपथपाई जाती है. जबकि अमरावती शहर में कही पर कोई शांतता नहीं है और आये दिन जाति और धार्मिक तनाव के मामले घटित होते है. इन सभी बातों की ओर ध्यान देने की बजाय अमरावती शहर पुलिस द्वारा सत्ताधारी दलों के नेताओं की मर्जी संभालने का काम किया जा रहा है. जिसके चतले पुलिस की कार्यप्रणाली पर अब सवालियां निशान उपस्थित हो रहे है और धीरे-धीरे अमरावती पुलिस अमरावती शहरवासियों का भरोसा हो रही है.
इस पत्रवार्ता में शिवसेना उबाठा के शहर प्रमुख प्रवीण हरमकर सहित अन्य कई प्रमुख पदाधिकारी भी उपस्थित थे.

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