सौभाग्य हेतु महिलाएं करेगी हरितालिका पूजा
शहर में तैयार मिल रहे जवारे और विविध पेडों के पत्ते

अमरावती – /दि.30 चातुर्मास में सावन बीतने के साथ त्यौहारों की श्रृंखला आरंभ हो जाती है. गणपति गौरी की स्थापना पूजा से ही पहले सौभाग्यवती महिलाएं अपने पति की दीर्घायु और कुमारीका श्रेष्ठ वर के लिए ही हरितालिका की पूजा करती है. मंगलवार शाम महिलाएं यह पूजन करेेंगी. आज-कल उनकी व्यस्थता और अन्य जिम्मेदारी को देखते हुए बाजार में विविध पेडों के पत्ते के साथ जवारे भी तैयार मिल रहे है. हरितालिका में 16-16 प्रकार के पेडों के पत्तों, बेलपत्ते और धतुरे के फल की आवश्यकता होती है.
बदला दौर, आस्था कायम
परंपरा को कायम रखने के साथ हरितालिका पूजन का प्रचलन अभी है. किंतु दौर थोडा बदल गया है. महिलाएं भी कामकाज में व्यस्थ हो गई है. जिसके कारण बाजार में तैयार जवारे और पत्ते की लडिया मिल रही है. जिसके दाम 30 से 70 रुपए होने की जानकारी वाठोडा वाकी के पत्ते विक्रेता सोपान नांदने ने दी. उन्होंने बताया कि, महिलाएं अन्य जिम्मेदारियों के कारण अभी घर पर जवारे नहीं उगा सकती. इसलिए जवारे की विक्री भी अच्छी मात्रा में हो रही है. हरितालिका व्रत करने के साथ हाथों पर मेहंदी सजाने का भी प्रचलन है. युवतियां मनपसंद मेहंदी डिझाईन बनाती देखी गई. मंगलवार शाम शहर के अनेक घरों में हरितालिका की सामूहिक पूजा देखने मिलेगी.