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मेलघाट के विकास हेतु समर्पित हैं विधायक राजकुमार पटेल

मेलघाट की भोली-भाली जनता दुनिया के सारे प्रपंचों से परे है. दुनिया में कहा क्या हो रहा है, इससे यहां की जनता को कोई सरोकार नहीं, कितनी ही सरकारी योजनाएं उनके लिए बनी है और यहां के लोग उन योजना का लाभ लेकर अपना जीवन संवार सकते हैं. स्वास्थ्य सेवा का लाभ लेकर अच्छा स्वास्थ्य पा सकते हैं. इन बातों का ज्ञान मेलघाटवासियों को नहीं है. इन लोगों की सादगी, भोलेपन का फायदा लेकर अब तक कई लोगोें ने अपना भला कर लिया. आदिवासी बंधुओं की इसा सादगी पूर्ण मनोवृत्ति का लाभ लेने के कारण उनका आज तक विकास नहीं हो पाया. वहीं इन सारी परेशानियों को देखते हुए राजकुमार पटेल ने अपने पिता के पदचिन्हों पर चलते हुए राजनीति में उतरने का फैसला किया और आज वे यहां के सबसे अधिक लोकप्रिय विधायक है. जरूरतमंद को मदद करनेवाले, स्वास्थ्य सेवा के लिए जूझ रहे मरीजों को अपनी जिम्मेदारी पर मुंबई, नागपुर जैसे शहरों में इलाज के लिए भेजनेवाले राजकुमार पटेल स्थानीय जनता के सभी जरूर काम पूर्ण करने को अधिक महत्व देते है. उनका यही स्वभाव उन्हें जनता की पहली पसंद बनाता है.
राजकुमार दयाराम पटेल प्रहार जनशक्ति पार्टी में एक भारतीय राजनीतिज्ञ हैं. उन्हें मेलघाट से महाराष्ट्र विधानसभा के सदस्य के रूप में चुना गया है. 24 अक्तूबर 2019 को तीसरे बार विधायक (विधानसभा के सदस्य), मेलघाट क्षेत्र से आदिवासी कोरकू समुदाय से चुने गये थे. वे जिले के सबसे लोकप्रिय नेताओं में से एक हैं राजकुमार पटेल, जो वन विभाग स्थानीय जनता के साथ अपनी सीधी कार्य योजना के लिए जाने जाते है. राजकुमार पटेल के पिता दिवंगत विधायक दयाराम पटेल वरिष्ठ कांग्रेस नेता और राज्य के वन कैबिनेट मंत्री थे. दयाराम पटेल के घर में 1967 में जन्म हुआ, जिसका नाम उन्होंने बडे चाव से राजकुमार रखा. राजकुमार पटेल की परवरिश मेलघाट के आदिवासी नागरिकों के बीच उनके साथ ही हुई. प्राथमिक शिक्षा पूर्ण की ओर इसके बाद राजकुमार पटेल ने राजनीति में प्रवेश किया. राजनीति का सफर काफी कठिनाइयों से भरा रहा, परन्तु अपने पिता दयाराम पटेल द्वारा दिखाये गए मार्ग पर चलते हुए राजनीति में धीरे-धीरे अपने पांव जमाए, मगर मेलघाट की जनता की सेवा करना कम नहीं किया और 1995 में बसपा के टिकट पर राजकुमार पटेल ने पहली बार विधायक का चुनाव लड़ा, मगर इसमें उन्हें हार का सामना करना पड़ा. परन्तु यह हार काफी कम वोटों के अंतर से थी. इसलिए यह बात उन्हें काफी चुभी. इसके बाद राजकुमार पटेल पूरी तैयारी के साथ 1999 में फिर से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़े और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता स्व. रामू पटेल का बचाव करते हुए एक उच्च वोट अंतर के साथ जीते और 2004 में एक और जीत हासिल की. वर्तमान में वे प्रहार पार्टी से चुनाव जीते और मेलघाट के विधायक पद पर विराजमान हैं.
राज्यमंत्री बच्चू कडू के मार्गदर्शन पर विधायक राजकुमार पटेल द्वारा मेलघाट में चुनाव जीतने के बाद से अनेक विकास कार्यों को पूर्ण किये गए. जिसमें गांव-गांव में शिविर लगाकर कर्तव्यपूर्ति यात्रा के माध्यम से गरीब आदिवासी जनता के सभी सरकारी प्रमाण पत्र, दाखिले बनाकर देने का काम किया गया. जिसके कारण यहां की जनता को काफी राहत मिली है. जिस काम को पूरा करने के लिए आदिवासियों को सरकारी कार्यालय अचलपुर, अमरावती के चक्कर लगाने पड़ते हैं, वे काम बैठे बिठाये होने से आदिवासी बंधुओं ने राजकुमार पटेल को अनेक बधाईयां दी हैं. इसके साथ ही मेलघाट क्षेत्र में विविध विकास कार्यों को किया जा रहा है. जिसमें धारणी नगर पंचायत विकास के लिए विशेष निधि 15 करोड़ मंजूर व काम प्रगति स्तर पर है. सात ही चिखलदरा नगर परिषद विकास के लिए विशेष निधि 3 करोड़ मंजूर व काम प्रगतिपथ पर है. धारणी, चिखलदरा व अचलपुर ग्रामीण विकास के लिए 10 करोड़ मंजूर किए गए हैं और कार्य प्रगतिपथ पर है. धारणी तहसील में 50 से अधिक गांव के किसान व सिंचाई के लिए गड़गा प्रकल्प बिजुधावड़ी के माध्यम से 150 करोड़ मंजूर किए गए हैं. धारणी उपजिला अस्पताल में 50 बेड कम पड़ने से 100 बेड के लिए शासन द्वारा मंजूरी दी गई. इसके साथ ही रक्त संकलन केंद्र मंजूर किया गया. जारिदा, चिखलदरा में 9.5 करोड़ रुपए का सब स्टेशन मंजूर किया गया है. मेलघाट ग्रामीण अंचल के लिए दलित बस्ती सुधार योजना अंतर्गत 3 करोड़ रुपए मंजूर किए गए. जिसका कार्य प्रगति पर है. चिखलदरा में क्रीड़ा संकुल मंजूर व काम प्रगति पर है. इतना ही नहीं, गड़गा प्रकल्प बिजुधावड़ी, धारणी में 10 वर्ष से बंद पड़े काम को राजकुमार पटेल के अथक प्रयासों से फिर से शुरु किया गया. सुसर्दा, धारणी में 1 करोड़ रुपए की राशि से आदिवासी संस्कृति भवन मंजूर किया गया. जिसका काम किया जा रहा है. धारणी व चिखलदरा तहसील के लिए नया तहसील कार्यालय इमारत निर्माण हेतु 12 करोड़ रुपए मंजूर किए गए.
आदिवासी बंधुओं के हर सुख-दुख में पहले दौड़ने वाले, गरीब जरुरतंद लोगों को स्वास्थ्य विषयक मदद की जरुरत पर वे तत्परता से सभी मरीजों को अपनी जिम्मेदारी पर मुंबई भेजते हैं. उन्हीं के प्रयासों से विगत छह माह पूर्व गंभीर बीमारियों से जूझ रहे दोद बालकों को नया जीवन मिला है. ऐसे सामान्य जनता के दिलों में राज करने वाले राजकुमार पटेल को जन्मदिन की ढेरों बधाईयां.

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