मेडिकल पाठ्यक्रमों में कायम रहेगा 27 फीसद ओबीसी आरक्षण
सर्वोच्च न्यायालय ने सुनाया महत्वपूर्ण फैसला
नई दिल्ली/दि.20– ओबीसी आरक्षण को लेकर सर्वोच्च न्यायालय ने एक ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए कहा कि, आरक्षण और गुणवत्ता एक-दूसरे के विरूध्द नहीं है, बल्कि सामाजिक न्याय के लिए आरक्षण बेहद आवश्यक है. साथ ही न्यायालय ने वैद्यकीय महाविद्यालय में एमबीबीएस व बीडीएस सहित सभी पदव्युत्तर पाठ्यक्रमों को 27 फीसद ओबीसी आरक्षण को संवैधानिक रूप से कायम रखा है. इस बारे में आज विस्तृत फैसला सुनाते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि, यदि आरक्षण की वजह से एक विशिष्ट वर्ग की आर्थिक स्थिति सुधर गई है, इसके आधार पर आरक्षण को गलत साबित करना अयोग्य होगा.
बता दें कि, जून 2021 में केंद्र सरकार ने ऑल इंडिया कोटा में भी 27 फीसद ओबीसी आरक्षण लागू करने का निर्णय लिया था. जिसे चुनौती देते हुए कई विद्यार्थी सुप्रीम कोर्ट पहुंच गये थे. जिसकी वजह से 28 सितंबर को मेडिकल पीजी नीट परीक्षा का परिणाम घोषित होने के बाद भी प्रवेश प्रक्रिया शुरू नहीं हो पायी थी. ऐसे में सुप्रीम कोर्ट ने तत्काल ही प्रवेश प्रक्रिया को शुरू करने का निर्देश दिया है.