नई दिल्ली/दि.19 – देश में जल्द ही एटीएम का प्रयोग करना महंगा हो जायेगा. जिसके तहत अपनी ही बैंक के अलावा एटीएम से किये जानेवाले पांच व्यवहार तो नि:शुल्क रहेंगे लेकिन इसके बाद किये जानेवाले प्रत्येक व्यवहार के लिए अब 20 रूपये की बजाय 1 जनवरी 2022 से 21 रूपये का शुल्क लगेगा. साथ ही कर की रकम अधिक वसूली जायेगी.
‘इंटरचेंज फीस’ यानी क्या?
यदि किसी एटीएम कार्डधारक द्वारा अपने बैंक के एटीएम की बजाय किसी अन्य बैंक के एटीएम का का प्रयोग किया जाता है, तो कार्ड जारी करनेवाली बैंक को उस एटीएम ऑपरेटर को एक निश्चित रकम अदा करनी पडती है. इस रकम को ‘इंटरचेंज फीस’ कहा जाता है.
पहले पांच व्यवहार रहेेंगे नि:शुल्क
बता देें कि, मेट्रो शहरों में प्रतिमाह तीन व अन्य शहरों में प्रतिमाह पांच व्यवहार अपनी बैंक के अतिरिक्त अन्य बैंकों के एटीएम पर नि:शुल्क किये जाते है. इसमें फिलहाल कोई बदलाव नहीं किया जायेगा. किंतु इसके बाद होनेवाले हर व्यवहार के लिए बैंकों द्वारा अपने ग्राहकों से 20 रूपये की बजाय 21 रूपये का शुल्क वसूला जायेगा. साथ ही अतिरिक्त भी लगाया जायेगा.
1987 में आया था पहला एटीएम
भारत में एटीएम सेवा का प्रारंभ वर्ष 1987 में हुआ था. जब एचएससीबी बैंक ने मुंबई में पहला एटीएम स्थापित किया था. इसके पश्चात बारह वर्ष की कालावधि के दौरान देश में एटीएम की संख्या 1500 तक जा पहुंची.
अब 1,15,605 एटीएम
31 मार्च 2021 तक देश में 1 लाख 15 हजार 605 ऑनसाईट एटीएम कार्यरत है. वहीं ऑफसाईट एटीएम की संख्या 97 हजार 970 है. देश के विविध बैंकों द्वारा करीब 90 करोड डेबिट कार्ड वितरित किये गये है. जिनके जरिये बैंक के ग्राहकों द्वारा एटीएम से व्यवहार किये जाते है.