नई दिल्ली/दि. ३१ – फाइजर ने दावा किया है कि फाइजर-बायोएनटेक कोविड-19 टीका बारह से पंद्रह साल के बच्चों पर 100 फीसदी असरदार है. बता दें कि अमेरिका में 16 वर्ष और उससे अधिक उम्र के युवाओं को फाइजर की वैक्सीन दी जा रही है. वहीं, एक स्टडी में यह बात सामने आई है कि अमेरिकी फार्मा कंपनी फाइजर और जर्मन जैवप्रौद्योगिकी कंपनी बायोएनटेक द्वारा संयुक्त रूप से निर्मित कोविड-19 टीका, कोरोना वायरस के उस नए प्रकार से सुरक्षा दे सकता है जो पहले ब्रिटेन और फिर दक्षिण अफ्रीका में पाया गया. भारत में फिलहाल 45 साल से अधिक उम्र और फ्रंटलाइन वारियर्स को टीके लगाए जा रहे हैं. बच्चों को टीके नहीं दिए जा रहे हैं.
मॉडर्ना इंक ने भी पिछले हफ्ते ऐसी एक ट्रायल लॉन्च की थी. 6 महीने तक के बच्चे को भी टीका दिया गया था. वर्तमान में केवल फाइजर-बायोएनटेक वैक्सीन का उपयोग संयुक्त राज्य अमेरिका में 16- और 17 साल के बच्चों में किया जा रहा है. मॉडर्ना का शॉट 18 साल और उससे अधिक उम्र के लोगों को दिया जा रहा है. इस बीच भारत में एक अप्रैल से 45 साल से अधिक उम्र के लोगों के लिए कोविड-19 रोधी टीकाकरण की तैयारियों के बीच केंद्र ने बुधवार को राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के साथ समीक्षा बैठक की तथा उनसे ऐसे क्षेत्रों की पहचान करने को कहा जहां टीकाकरण कराने वाले लोगों की संख्या कम है. इसने खास तौर पर ऐसे जिलों को भी चिह्नित करने को कहा जहां संक्रमण के नए मामलों में वृद्धि हो रही है.
केंद्र ने राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को उचित कार्रवाई करने का निर्देश भी दिया. स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस संबंध में एक बयान में कहा कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण (एनएचए) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं कोविड टीकाकरण अधिकारप्राप्त समूह के अध्यक्ष डॉ. आर एस शर्मा और केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के स्वास्थ्य सचिवों, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अभियान निदेशकों और टीकाकरण अधिकारियों की उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता की. मंत्रालय ने कहा कि वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से हुई बैठक में देशभर में टीकाकरण अभियान और अप्रैल 2021 की तैयारियों (जब 45 साल से अधिक उम्र के सभी लोगों का टीकाकरण किया जाएगा) की समीक्षा की गई.
बयान में कहा गया कि बैठक में राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से यह भी कहा गया कि वे ऐसे क्षेत्रों, जहां लोगों ने कम टीकाकरण कराया है, तथा खास तौर पर ऐसे जिलों को चिह्नित करें जहां कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में वृद्धि हो रही है. इसमें कहा गया कि राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से उचित कार्रवाई करने को भी कहा गया. बैठक में स्वास्थ्यकर्मियों और अग्रिम पंक्ति के कर्मियों के टीकाकरण के बारे में राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को यह सुनिश्चित करने की सलाह दी गई कि संबंधित श्रेणियों में केवल लाभार्थियों का ही पंजीकरण और टीकाकरण हो. राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से निजी कोविड टीकारकण केंद्रों में क्षमता इस्तेमाल की नियमित समीक्षा करने को भी कहा गया.