महाराष्ट्र में 8 लाख से ज्यादा महिला एमएसएमई उद्यमी
संपूर्ण देश में एमएसएमई उद्योगों में 2.65 करोड महिला कामगार

नई दिल्ली/दि.20 – सूक्ष्म, लघु तथा मध्यम (एमएसएमई) उद्योगों में 2.65 करोड महिलाओं को रोजगार मिला है. इसमें से 17.97 से अधिक महाराष्ट्र में है. इसके अतिरिक्त राज्य में 8 लाख से ज्यादा महिला उद्यमी सूक्ष्म, लघु व मध्यम (एमएसएमई) उद्योगों का स्वामित्व भी संभाल रही हैं. जिन्होंने प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के तहत 204.18 करोड रुपए की मार्जिन मनी इस्तेमाल की.
सूक्ष्म, लघु व मध्यम उद्योग मंत्री नारायण राणे के मुताबकि संपूर्ण देश में 1.24 करोड महिलाएं (एमएसएमई) उद्योगों का स्वामित्व कर रही हैं. उद्योग मंत्री नारायण राणे व्दारा संसद में दी गई जानकारी के मुताबिक उद्योगों में सर्वाधिक 29 लाख से अधिक महिलाएं पं.बंगाल की है. इसके बाद 12.85 लाख महिलाएं तमिलनाडु, 9.72 लाख, 9.36 लाख कर्नाटक, 8.62 लाख उत्तर प्रदेश, 8.38 लाख आंध्रप्रदेश और 8.26 लाख गुजरात में एमएसएमई उद्योग चला रही हैं. इसी तरह एमएसएमई उद्योगों में काम करने वाली कुल 2.64 करोड महिला कामगारों में से सर्वाधिक 43.50 लाख पं.बंगाल, 32.26 लाख तमिलनाडु, 27.27 लाख यूपी, 21 लाख आंध्रप्रदेश, 19.73 लाख कर्नाटक और 15.24 लाख तेलंगाना में काम कर रही हैं. उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार के सार्वजनिक उपक्रमों की सार्वजनिक खरीद नीति के तहत एमएसएमई उद्योगों से 25 प्रतिशत खरीद करना अनिवार्य है. इनमें 3 प्रतिशत खरीद महिलाओं के स्वामित्व वाले एमएसएमई उपक्रमों से की जाती है.
एमएसएमई उद्योगों में महिलाओं की स्थिति
राज्य कामगार उद्यमी
पं.बंगाल 43.5 29.01
तमिलनाडु 326 12.85
कर्नाटक 19.73 9.36
उत्तरप्रदेश 27.27 8.62
आंध्रप्रदेश 21 8.38
गुजरात 13.71 8.26
महाराष्ट्र 17.97 8.01
अभा 264.97 123.9
तीन सालों में 10,035 महिलाओं को लाभ
मंत्री व्दारा दी गई जानकारी के मुताबिक केंद्र सरकार के सार्वजनिक उपक्रमों ने महिलाओं के स्वामित्व वाले एमएसएमई इकाइयों से 1 हजार 344 करोड रुपए से ज्यादा की खरीद की है. इससे बीते तीन वर्षों में 10 हजार 35 से ज्यादा महिला उद्यमियों को लाभ मिला है.
204.81 करोड रुपए की मार्जिन मनी का उपयोग
योजना के जरिये महाराष्ट्र की महिलाओं ने 6 हजार 574 परियोजनाओं में 204.81 करोड रुपए की मार्जिन मनी का इस्तेमाल किया है. इसमें से चालू वित्त वर्ष के दौरान 715 परियोजनाओं के लिए 31.42 करोड व 2020-21 में 1 हजार 179 परियोजनाओं में 36.48 करोड रुपए से अधिक की मार्जिन मनी का इस्तेमाल हुआ.