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इस बार ब्रेकलेस होगा संसदीय मानसून सत्र

लगातार संसद के दोनों सदनों में चलेगी १८ बैठकें

  • आगामी १४ सितंबर से १ अक्टूबर तक चलेगा दोनों सदनों का कामकाज

नई दिल्ली/दि.२८- कोविड-19 महामारी (Covid-19 Epidemic) के बीच भी सरकार ने मानसून सत्र को चलाने की योजना तय कर ली है. आगामी १४ सितंबर से मानसून सत्र की शुरूआत होगी. यह मानसून सत्र १ अक्टूबर तक चलेगा. इस मानसून सत्र की खासियत यह है कि पहली बार सत्र में कोई अवकाश नहीं लिया जाएगा.
गा. संसद के दोनों सदनों की कुल 18 बैठकें होंगी. हर दिन के पहले चार घंटे राज्यसभा काम करेगी, और अगले चार घंटे लोकसभा. सत्र के शुरुआती दिन पहले हॉफ में लोकसभा की बैठक होगी. क्योंकि नियमों के मुताबिक, स्पीकर ओम बिरला को औपचारिक रूप से सदन के सदस्यों से अनुमति लेनी होगी ताकि अपने कक्ष का इस्तेमाल किसी अन्य प्रायोजन के लिए किया जा सके. मसलन राज्यसभा का कामकाज, जिसके सदस्य कार्यवाही के दौरान निचले सदन के कक्ष में भी बैठेंगे.
केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बताया कि प्रत्येक सदन की 4 घंटे ही बैठक होगी. अगर आप हफ्ते के आखिर में छुट्टी देते हैं तो सासंदों के यात्रा करने से जोखिम रहेगा. अवकाश हुआ तो हमें सत्र को 1 अक्टूबर से आगे भी बढ़ाना पड़ेगा. ये सुरक्षित वक्त नहीं है कि सत्र को इतना लंबा चलाया जाए.आगामी सत्र में सरकार दोनों सदनों में पास कराने के लिए 11 अध्यादेश लाने को तैयार है. अन्यों के साथ ये संसदीय कार्य मंत्रालय, स्वास्थ्य मंत्रालय, वित्त मंत्रालय और कृषि मंत्रालय से संबंधित हैं.
संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि सरकार संसद सत्र में किसी भी चर्चा से बचना नहीं चाहती. जोशी ने कहा, समय की कमी के दबाव के बीच, सरकार किसी भी चर्चा के लिए तैयार है.
परिसर में हर किसी की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य प्रोटोकॉल का पालन करने पर खास जोर रहेगा. इस मानसून सत्र में कई चीज़ें पहली बार दिखेंगी. बड़े डिस्प्ले स्क्रीन, दीर्घाओं से भागीदारी के लिए ढांचे, अल्ट्रावायलेट कीटाणुनाशक प्रकाश, दोनों सदनों के बीच स्पेशल केबल्स, पॉली कार्बोनेट सेपरेटर्स आदि.
सत्र के लिए दोनों चैम्बर्स और दीर्घाओं का इस्तेमाल 1952 के बाद भारतीय संसद के इतिहास में पहली बार होगा. अधिकारियों की गैलरी और प्रेस गैलरी में बैठना भी सोशल डिस्टेंसिंग के मानदंडों के मुताबिक होगा. सचिवालय के सीमित संख्या में अधिकारियों को सदन के टेबल पर बैठने की अनुमति होगी. पत्रकारों को विदेशी गणमान्य व्यक्तियों के लिए बने विशेष बॉक्स में समायोजित किया जाएगा.

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