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9 वीं, 10 वीं व 11 वीं के आधार पर 12 वीं के अंक देने का पर्याय

कोरोना के चलते सीबीएसई ने तैयार किया नया प्रस्ताव

परीक्षा को लेकर सरकार कल ले सकती है निर्णय

नई दिल्ली/दि.31 – कोविड संक्रमण के खतरे को देखते हुए कक्षा 12 वीं की परीक्षा ली जाये अथवा न ली जाये, इस बारे में केंद्र सरकार द्वारा कल मंगलवार 1 जून को निर्णय लिये जाने की संभावना है. वहीं सीबीएसई बोर्ड द्वारा एक नया प्रस्ताव पेश करते हुए कहा गया है कि, कक्षा 9 वीं, 10 वीं व 11 वीं इन तीन वर्षों के परिणामों का विचार करते हुए संंबंधित विद्यार्थी को कक्षा 12 वीं के अंक दिये जाये और बिना परीक्षा लिये परिणाम घोषित किया जाये.
इसके अलावा सीबीएसई द्वारा इससे पहले यह पर्याय भी दिया गया था कि, कक्षा 12 वीं के सभी विषयों की बजाय कुछ महत्वपूर्ण विषयों की परीक्षा ली जाये. जिसके लिए डेढ घंटे का कालावधि तय किया जाये. किंतु इस पर्याय को कई राज्यों ने नकार दिया था. साथ ही कुछ राज्यों द्वारा मांग की गई थी कि, कक्षा 12 वीं के विद्यार्थियोें को पहले कोविड प्रतिबंधात्मक वैक्सीन दी जाये और उसके बाद ही उनकी परीक्षा ली जाये.
केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में विभिन्न राज्योें के शिक्षा मंत्रियों की कक्षा 12 वीं की परीक्षा को लेकर हाल ही में एक बैठक आयोजीत की गई थी. जिसमें मौजूदा हालात की समीक्षा की गई.

दो चरणों में परीक्षा का पर्याय

– कोविड संक्रमण के खतरे को देखते हुए कक्षा 12 वीं की परीक्षा रद्द की जाये. इस मांग को लेकर कुछ विद्यार्थी अदालत की शरण में गये है.
– वहीं सीबीएसई द्वारा प्रस्ताव रखा गया है कि, यह परीक्षा दो चरणों में ली जाये.
– सीबीएसई के मुताबिक 1 से 20 अगस्त के दौरान कक्षा 12 वीं की परीक्षा ली जाये अथवा 15 जुलाई से 26 अगस्त के दौरान विद्यार्थियों की शालाओं में ही उनकी परीक्षा ली जाये. जिसमें उन्हें ऑब्जेक्टिव पध्दति के पश्न पूछे जाये.

शालाओं को जानकारी संकलित करने के निर्देश

– कौन्सिल फॉर दी इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एक्झामिनेशन (सीआयएससीई) संस्था द्वारा विगत 27 मई को कहा गया कि, कक्षा 11 वीं में विद्यार्थियों द्वारा अलग-अलग विषयों में औसत कितने अंक हासिल किये गये, इसकी जानकारी संकलित करने हेतु शालाओं को निर्देश दिये गये है.
– साथ ही कक्षा 12 वीं के सत्र दौरान शालांतर्गत हुई परीक्षाओं में विद्यार्थियों को कितने अंक मिले, इसकी भी जानकारी संकलित की जा रही है. इन अंकों का विचार करते हुए 12 वीं के विद्यार्थियों का अंतिम परिणाम घोषित किये जाने के पर्याय पर विचार चल रहा है.

राज्य शिक्षा मंडलों की भी फैसले पर नजर

कक्षा 12 वीं की परीक्षा लेने के संदर्भ में केंद्र सरकार द्वारा क्या निर्णय लिया जाता है, इसकी ओर महाराष्ट्र सहित सभी राज्यों के शिक्षा मंडलों का ध्यान लगा हुआ है. यदि परीक्षा नहीं लेने का निर्णय हुआ, तो कक्षा 12 वीं के विद्यार्थियों को अंक कैसे दिये जाये और उनका परीक्षा परिणाम कैसे घोषित किया जाये, इस पर भी शिक्षा मंडलों को विचार-विमर्श करना होगा.
– परीक्षा रद्द होने पर राज्य शिक्षा मंडलों द्वारा भी सीबीएसई की तरह कक्षा 9 वीं, 10 वीं व 11 वीं के अंकों का आधार लेते हुए कक्षा 12 वीं के अंक तय करने का पर्याय स्वीकार जा सकता है

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