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महाराष्ट्र की रेल परियोजनाओं के काम में तेजी

मोदी सरकार के आने के बाद बजट में 345 फीसदी की वृद्धि

नई दिल्ली/१९ – केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार आने के बाद महाराष्ट्र में पडऩे वाली रेल परियोजनाओं के बजट में 345 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी की गई है. महाराष्ट्र में फिलहाल लगभग 6722 किलोमीटर लंबी 39 रेल परियोजनाओं पर काम किया जा रहा है.
लगभग 87000 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाली इन परियोजनाओं में नई 16 नई लाइन परियजनाएं, 5 अमान परिवर्तन तथा 18 लाइनों का दोहरीकरण शामिल है. इनमें 2 ऐसी परजिोयजनाएं भी शामिल हैं जो पिछले 25 साल से पूरी होने का इंतजार कर रही हैं.
रेलमंत्री पीयूष गोयल (Railway Minister Piyush Goyal) के अनुसार 2009 से 2014 के बीच महाराष्ट्र की रेल परियोजनाओं के लिए वार्षिक बजट में से 1171 करोड़ रुपए दिए गए लेकिन 2014-19 के बीच प्रतिवर्ष 5,214 करोड़ रुपए किया गया है. 2020-21 में बजट आबंटन में 40 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी करके 6,700 करोड़ रुपए किया गया है.
लोकसभा में एक सवाल के जवाब में मंत्री द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार राज्य में 2017 किलोमीटर लंबाई की 16 नई लाइन परियजनाएं बनाई जा रही हैं. जिनमें 62 किलोमीटर पर काम पूरा कर लिया गया है.
42,003 करोड़ रुपए लागत वाली की इन परियोजनाओं पर मार्च 2020 तक 4141 करोड़ रुपए खर्च किए जा चुके थे. इसके अतिरिक्त 1,146 किलोमीटर की 5 परियोजनाओं में 1146 किलोमीटर लंबाई में अमान परिवर्तन का काम किया जा रहा है. इनमें से 589 किलोमीटर पर काम पूरा कर लिया गया है. 11,080 करोड़ रुपए की लागत में वाली इन परियोजनाओं पर मार्च 2020 तक 5048 करोड़ रुपए खर्च किए गए.
मंत्री ने बताया कि प्रदेश में 18 रेल लाइनों के दोहरीकरण का काम किया जा रहा है. जिनमें से 375 किलोमीटर पर काम पूरा हो चुका है. मार्च 2020 तक 33,613 करोड़ रु पए की कुल लागत में से इन परियोजनाओं पर 8,652 करोड़ रु पए खर्च किए जा चुके थे.
इन परियोजनाओं में नई अहमदनगर-बीड-पाली-वैजनाथ के बीच 261.25 किलोमीटर नई लाइन तथा बालाघाट-कंटगी सदहत जबलपुर-गोंदिया में 300 किलोमीटर अमान परिवर्तन के काम को 25 वर्ष पहले 1996-97 में स्वीकृत किया गया था.

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