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शहर में 250 बच्चों की मोबाइल फोन से तौबा

बोहरा जमात में धर्मगुरू के आदेश का पालन

* 260 परिवारों की पहल
अमरावती/ दि. 3- एक और जहां कोई बच्चा रोता है तो उसके माता-पिता उसे मोबाइल फोन थमा देते हैं. दूसरी ओर शहर में अपने धर्मगुरू के आदेश का पालन करते हुए 260 दाउदी बोहरा परिवारों के 15 वर्ष आयु से कम आयु के 250 बच्चों ने मोबाइल फोन से तौबा कर ली है. शहर में बोहरा समाज की आबादी 1500 से अधिक है जो जवाहर गेट के भीतर बरतन बाजार, हबीब नगर, कैम्प, जमील कॉलोनी और पैराडाइज़ कॉलोनी क्षेत्र में रहते हैं. दाउदी बोहरा मस्जिद बरतन बाजार के आमिल साहब शेख यूसुफभाई खरगौनवाला ने बताया कि, मोबाइल फोन के बढ़ते इस्तेमाल की वजह से अब बच्चों के भविष्य पर भी ख़तरा मंडराने लगा है. इससे बचने अखिल दाऊदी बोहरा समाज के धर्मगुरु डॉ. सैयदना मुफ़द्दल सै़फुद्दीन साहब के आदेश पर इस अनोखी पहल पर अमल शुरू किया है. जिसके तहत समाज के 15 वर्ष से कम उम्र के सभी बच्चों के लिए मोबाइल फोन बैन कर दिया गया है. उनके शैक्षणिक काम के लिए भी मोबाइल फोन के इस्तेमाल को भी बैन हैं. इसका सभी स्वयंफूर्त रूप से शत प्रतिशत पालन कर रहे हैं. बोहरा समाज के विचारवंत कहते हैं कि, हमारे समाज के वरिष्ठ लोगों ने मोबाइल फोन के प्रति बच्चों के ज्यादा लगाव को देखते हुए चिंता व्यक्त की थी. उनकी इस चिंता को देखते हुए बोहरा समाज ने बच्चों को मोबाइल फोन से दूर रखने का निर्णय लिया. आज-कल साइबर अपराध बढ़ गए हैं. जिससे बड़े तक नहीं बच पाए है, तो बच्चे कैसे बचेंगे. अधिकतम बच्चों के पास मोबाइल माता-पिता का होता है. किसी ने कोई लिंक भेजना, ओटीपी भेज के खाते से पैसे निकाल लेना अब आम बात हो गई है. इससे बच्चे मोबाइल के आदी होते जा रहे हैं. स्कूल से आने के बाद बच्चे सीधे मोबाइल फोन की ओर भागते हैं. बच्चा दिन भर मोबाइल फोन चलाएगा तो उसकी शारीरिक फिजिकल एक्टिविटी कैसे होगी. बच्चे मोबाइल फोन से जितना दूर रहेंगे उनकी पढ़ाई लिखाई दुरुस्त होगी. घर परिवार के साथ ज्यादा समय देंगे तो वे एक अच्छे समाज की ओर आगे बढ़ेंगे.

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