अमरावतीमहाराष्ट्र

कृत्रिम रेतन से 90 फीसद मादा बछिया का होगा जन्म

पशुसंवर्धन विभाग की ओर से सुविधा उपलब्ध

* पशुधन पालकों का होगा फायदा
अमरावती /दि.18– नर अथवा मादा बछडों के जन्म हेतु मवेशियों पर कृत्रिम रेतन यानी सिमेंस की प्रक्रिया की जाती है. इस जरिए नर बछडा पैदा होने पर दूध अथवा कोई अन्य उत्पादन प्राप्त नहीं होता, बल्कि किसानों को केवल जानवरों के संगोपन पर खर्च करना पडता है. ऐसे में अब उपाय के तौर पर पशुसंवर्धन विभाग द्वारा जानवरों का लिंग विनिश्चित वीर्य मात्रा का प्रयोग करते हुए कृत्रिम रेतन किया जाएगा. इस जरिए 90 फीसद मादा बछिया का जन्म होगा. जिसके चलते किसानों को दूध प्राप्त हुआ करेगा. जिसकी विक्री से उन्हें आर्थिक लाभ भी होगा.
इस हेतु पशुसंवर्धन विभाग द्वारा किसानों को अल्प दर में पशुओं के लिए कृत्रिम रेतन की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है. पशुसंवर्धन विभाग की इस योजना के चलते पशुपालकों को आर्थिक लाभ होगा. इन दिनों खेतीकिसानी के साथ पुरक व्यवसाय के तौर पर किसानों द्वारा दुग्ध व्यवसाय भी किया जाता है. जिसके लिए किसानों द्वारा गाय व भैंस का पालन किया जाता है. इन जानवरों पर हजारों रुपए खर्च करने के साथ ही रोजाना कम से कम 6 घंटे काम करने के बाद किसानों को थोडेबहुत पैसे प्राप्त होते है. अमुमन किसी गाय को गर्भवती कर उससे बछडा प्राप्त करने हेतु उसका कृत्रिम रेतन किया जाता है और कृत्रिम रेतन के जरिए नर अथवा मादा बछडे की पैदाईश की संभावना 50-50 फीसद होती है. नर बछडा पैदा होने पर उसका पालनपोषण करना किसानों के लिए भारी पडता है. चूंकि नर बछडों से किसानों कोई आय व उत्पादन नहीं मिलते. जिसके चलते कई बार किसानों द्वारा नर बछडों का पालनपोषण भी नहीं किया जाता. इस पर उपाय के तौर पर मादा बछडों की पैदाईश हेतु पशुसंवर्धन विभाग ने लिंग विनिश्चित वीर्य मात्र योजना को अमल में लाया है. जिससे पशुपालकों को आर्थिक लाभ होगा.
जानवरों का लिंग विनिश्चित वीर्य मात्रा के जरिए कृत्रिम रेतन करने हेतु निजी पशु चिकित्सकों द्वारा डेढ से दो हजार रुपए का शुल्क लिया जाता है. परंतु अब सरकारी दवाखानों में इसी पद्धति के जरिए महज 180 से 200 रुपए में कृत्रिम रेतन की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी. जिसके चलते ग्रामीण क्षेत्र में निजी डॉक्टरों की बजाए सरकारी पशुसंवर्धन विभाग के पास जानवरों के कृत्रिम रेतन को लेकर मांग बढने की संभावना जताई जा रही है.

* नाविण्यपूर्ण योजना के तहत पशुवैद्यकीय दवाखानों के मार्फत जानवरों को कृत्रिम रेतन दिया जाएगा. इस योजना के लिए सरकार ने निधि मंजूर की है. जिससे विनिश्चित वीर्य मात्रा खरीदी कर जानवरों को दी जाएगी. पशुसंवर्धन विभाग द्वारा कृत्रिम रेतन की यह सुविधा अल्प दर में उपलब्ध कराई जाएगी.
डॉ. पुरुषोत्तम सोलंके
जिला पशुसंवर्धन अधिकारी.

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