सांसद, विधायक के खिलाफ मुकदमे कहा अधिक
मुंबई./ दि.28 – महाराष्ट्र के वर्तमान-निवर्तमान विधायक व सांसद के खिलाफ राज्यभर के कौन-कौन से जिले में मुकदमे प्रलंबित है और सबसे ज्यादा मुकदमे किस जिले में है, इसकी रिपोर्ट 15 जून को दे, ऐसे निर्देश मुंबई उच्च न्यायालय ने बुधवार को उच्च न्यायालय के रजिस्ट्री को दिेये. इसी तरह यह रिपोर्ट आने के बाद सबसे अधिका प्रलंबित रहने वाले जिले से ऐसे मामलों पर देखरेख करने की शुरुआत करने के संकेत भी अदालत ने दिये.
वर्तमान-निवर्तमान सांसद, विधायक के खिलाफ दर्ज मुकदमों की तेज गति से सुनवाई होना चाहिए और ऐसे मुकदमे में दोषी साबित होने वाले राजनीतिक नेताओं पर चुनाव लडने के लिए स्थायी तौर पर पाबंदी लगाना चाहिए, ऐसी विनंती करने वाली जनहित याचिका भाजपा के नेता व वकील अश्विनीकुमार उपाध्याय ने सर्वोच्च न्यायालय में दायर की थी. इस बारे में सुनवाई के बाद सर न्यायाधिश एन.वी.रमणा के नेतृत्व वाली तीन सदस्यीय पीठ ने इस मामले के लिए विशेष न्यायालय की स्थापना करने के निर्देश राज्य सरकार को दिये थे. इसी तरह उच्च न्यायालय की अनुमति के बगैर ऐसे जनप्रतिनिधियों के विरोध के मुकदमे पीछे नहीं ले सकते, ऐसा भी आदेश में कहा था. हर जिले के प्रलंबित मुकदमे की प्रगती के बारे में राज्य के मुख्य न्यायमूर्ति देखरेख रख रहे है, ऐसा कहा था. जिसके आधार पर मुख्य न्यायमूर्ति दिपांकर दत्ता व न्यायमूर्ति संदीप शिंदे की विशेष खंडपीठ ‘सुओ मोटो’ रिठ याचिका व्दारा इस प्रश्न की समीक्षा ले रहे है. राज्य के महाधिवक्ता आशुतोष कुंभकोणी उसमें खंडपीठ की सहायता कर रहे है.